लियोन के करीब है अपना 'देसी मेसी', सुनील छेत्री के 128 मैचों में ही हो चुके हैं 83 गोल
सुनील छेत्री अंतरराष्ट्रीय मैचों में गोल के मामले में दुनिया के महान फुटबालरों में शुमार अर्जेंटीना के लियोन मेसी के तेजी से करीब पहुंचते जा रहे हैं। मेसी के इस समय 162 अंतराष्ट्रीय मैचों में 86 गोल हैं जबकि छेत्री के 128 मैचों में ही 83 गोल हो चुके हैं।
विशाल श्रेष्ठ, कोलकाता। भारतीय फुटबाल टीम के कप्तान सुनील छेत्री अंतरराष्ट्रीय मैचों में गोल के मामले में दुनिया के महान फुटबालरों में शुमार अर्जेंटीना के लियोन मेसी के तेजी से करीब पहुंचते जा रहे हैं। मेसी के इस समय 162 अंतराष्ट्रीय मैचों में 86 गोल हैं, जबकि छेत्री के 128 मैचों में ही 83 गोल हो चुके हैं और वह अब मेसी से महज तीन गोल पीछे हैं। छेत्री इस समय जिस जबर्दस्त फार्म में हैं, उससे नहीं लगता कि उन्हें यह फासला तय करने में ज्यादा समय लगेगा। वह कोलकाता में चल रहे एएफसी एशियन कप के क्वालीफाइंग राउंड के पहले दो मैचों में तीन गोल दाग चुके हैं। उन्होंने कंबोडिया के खिलाफ पहले मैच में दो और अफगानिस्तान के खिलाफ एक गोल किया। भारत का अगला मुकाबला 14 जून को हांगकांग से है। वैसे अंतराष्ट्रीय मैचों में सबसे ज्यादा गोल करने का रिकार्ड पुर्तगाल के क्रिस्टियानो रोनाल्डो (189 मैचों में 117 गोल) के नाम दर्ज हैं।
पाकिस्तान के खिलाफ उसी की सरजमी पर दागा था पहला अंतरराष्ट्रीय गोल : छेत्री ने 17 साल पहले 12 जून, 2005 को महज 20 साल की उम्र में पाकिस्तान के खिलाफ उसी की सरजमीं पर अपना पहला अंतरराष्ट्रीय मैच खेला था। क्वेटा के अयूब नेशनल स्टेडियम में हुए उस मैच में शानदार गोल दागकर उन्होंने संकेत दे दिया था कि वह लंबी रेस का घोड़ा हैं। भारतीय टीम की जर्सी पहनकर छेत्री ने सबसे ज्यादा बार विरोधी टीमों का गोलपोस्ट सैफ चैंपियनशिप (22 मैचों में 18 गोल) में भेदा है। फीफा विश्वकप क्वालीफायर के 19 मैचों में भी उनके नाम 9 गोल दर्ज हैं। छेत्री ने अंतरराष्ट्रीय करियर में सबसे ज्यादा गोल (17 मैचों में 13) 2011 में किए हैं। इस साल अब तक तीन मैचों में उन्होंने तीन गोल किए हैं। छेत्री ने अंतरराष्ट्रीय फुटबाल में सबसे ज्यादा गोल नेपाल व मालदीव (8-8) के खिलाफ किए हैं। उन्होंने नेपाल के खिलाफ 12 तो मालदीव के खिलाफ महज छह मैचों में 8 गोल दागे हैं। अंतरराष्ट्रीय मैचों में छेत्री ने तीन बार गोल की हैट्रिक की है।
उपलब्धियां बहुत मायने नहीं रखतीं : अंतरराष्ट्रीय फुटबाल में 17 साल पूरा कर चुके 37 साल के छेत्री ने कहा, मेरे लिए उपलब्धियां बहुत मायने नहीं रखतीं। मैं इतने लंबे समय तक राष्ट्रीय टीम की जर्सी पहन पाने के लिए खुद को सम्मानित और भाग्यशाली महसूस कर रहा हूं। हम हांगकांग के खिलाफ आखिरी क्वालीफायर जीतने के लिए भी पूरा जोर लगाएंगे। हांगकांग एक मजबूत टीम है लेकिन हम घरेलू मैदान पर खेल रहे हैं और हमें प्रशंसकों का पूरा समर्थन प्राप्त है।
हार से तिलमिलाए अफगानी फुटबालरों ने की बदसलूकी
कोलकाता। शनिवार को कोलकाता के विवेकानंद युवाभारती क्रीड़ांगन में भारत के हाथों 2-1 गोल से हार के बाद अफगानी फुटबालर इस कदर तिलमिला गए कि उन्होंने भारतीय खिलाडिय़ों के बाद बदसलूकी शुरू कर दी। इसका वीडियो इस समय इंटरनेट मीडिया पर खूब वायरल हो रहा है। अफगानी फुटबालरों ने अपने भारतीय समकक्षों को धक्का देना शुरू कर दिया। एक खिलाड़ी का तो उन्होंने कालर भी पकड़ लिया। भारतीय गोलकीपर गुरप्रीत सिंह ने जब स्थिति को संभालने की कोशिश की तो अफगानी फुटबालरों ने उन्हें भी धक्का दिया। इसके बाद भारतीय खिलाड़ी भी उनसे भिड़ गए। स्थिति बिगड़ते देख स्टेडियम में मौजूद एशियाई फुटबाल परिसंघ (एएफसी) के अधिकारी मैदान में उतरे और हालात को नियंत्रित किया। टूर्नामेंट की आयोजन समिति की तरफ से इस घटना पर अब तक कोई प्रतिक्रिया जाहिर नहीं की गई है, हालांकि एक मैच अधिकारी ने नाम प्रकाशित नहीं करने की शर्त पर इतना ही कहा कि यह हीट आफ द मोमेंट था। फुटबाल मैचों के दौरान ऐसी घटनाएं होती रहती हैं।