मेसी के सहारे अर्जेंटीना के सितारे, क्रोएशिया के खिलाफ होगी करो या मरो की जंग
आइसलैंड के खिलाफ 1-1 से ड्रॉ रहे मुकाबले में मेसी ने पांच मौके गंवाए जिसमें एक पेनाल्टी किक भी शामिल था।
नोवगोरोड, एएफपी। फीफा विश्व कप में खिताबी जीत की जुगत में जुटे अर्जेंटीना के सुपर स्टार स्ट्राइकर लियोन मेसी क्रोएशिया के खिलाफ ग्रुप-एच में गुरुवार को एक अहम मुकाबले में उतरने जा रहे हैं। आइसलैंड के खिलाफ पहला मुकाबला ड्रॉ खेलने के बाद रूस विश्व कप में अर्जेंटीना की संभावनाओं पर प्रश्न चिन्ह खड़ा हो गया है जहां मेसी ने एक अहम पेनाल्टी किक को जाया किया था।
मेसी पर बढ़ा दबाव
इस हफ्ते लियोन मेसी अपना 31वां जन्मदिन मनाने जा रहे हैं जो कि उन्हें याद दिलाएगा कि रूस में वह अपना आखिरी विश्व कप खेल रहे हैं जहां उनके पास अर्जेंटीना के महान फुटबॉलर डिएगो मैराडोना जैसी उपलब्धि हासिल करने का भी संभवत: आखिरी मौका होगा। स्पेनिश क्लब बार्सिलोना के साथ मेसी ने अपने करियर में तमाम सफलताएं हासिल कीं, लेकिन अंतरराष्ट्रीय स्तर पर विश्व कप और कोपा अमेरिका जैसे बड़े खिताब वह अपनी राष्ट्रीय टीम को अब तक नहीं दिला पाए हैं।
मैराडोना की बराबरी करने का आखिरी मौका
ला पुल्गा के नाम से मशहूर मेसी को भले ही मौजूदा दौर का सर्वश्रेष्ठ फुटबॉलर माना जाता हो लेकिन वह वैसी उपलब्धि हासिल नहीं कर पाए हैं जैसी 1986 विश्व कप में उनके हमवतन मैराडोना ने खिताबी जीत में हासिल की थी। क्वालीफाइंग मुकाबलों से ही अर्जेंटीना का प्रदर्शन डांवाडोल रहा है और मेसी का मैराडोना जैसा बनने का सपना रूस में काफी मुश्किल नजर आ रहा है। आइसलैंड के खिलाफ 1-1 से ड्रॉ रहे मुकाबले में मेसी ने पांच मौके गंवाए जिसमें एक पेनाल्टी किक भी शामिल था लेकिन बावजूद इसके 57 वर्षीय मैराडोना ने मेसी का बचाव किया।
मेसी ले सकते हैं संन्यास
उम्मीद की जा रही है कि मेसी रूस विश्व कप के बाद अंतरराष्ट्रीय फुटबॉल से संन्यास ले लेंगे। यह स्थिति दो साल पहले भी सामने आई थी जब चिली के खिलाफ 2016 कोपा अमेरिका कप के फाइनल में मेसी पेनाल्टी लेने से चूक गए थे। मेसी ने क्लब स्तर पर एक खिलाड़ी के तौर पर सब कुछ हासिल किया है। इस दौरान पांच बार उन्हें साल का सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ी चुना गया है जबकि उनकी मौजूदगी में उनकी टीम ला लीगा और चैंपियंस लीग में ढेरों सफलताएं हासिल करने में सफल रही। 2014 फीफा विश्व कप में मेसी को सर्वश्रेष्ठ खिलाड़ी के तौर पर गोल्डन बॉल दिया गया लेकिन वह फाइनल की बाधा को पार नहीं कर पाए थे। मेसी को मैराडोना जैसी सफलता मिले या ना मिले, लेकिन वह अपने देश के प्रशंसकों की सहानुभूति मैराडोना की तरह नहीं हासिल कर सकते। मैराडोना स्लम से निकलकर ड्रग्स और शराब की लत से लड़कर एक मिसाल बने। अगर रूस में मेसी असफल रहे तो अपने देश के लिए सर्वाधिक गोल करने के बावजूद लोग उन्हें भूल जाएंगे।
अर्जेंटीना पर खतरा
बेशक मेसी अपने अंतरराष्ट्रीय करियर को एक बड़े खिताब के साथ खत्म करने का सपना संजो रहे हों, लेकिन फिलहाल अर्जेंटीना को ग्रुप चरण की बाधा पार करने की चुनौती है। अर्जेंटीना को 2002 विश्व कप जैसा डर सता रहा है। तब अर्जेंटीना को ग्रुप स्टेज से ही बाहर होना पड़ा था। खबर है कि क्रोएशिया के खिलाफ मुकाबले में अर्जेंटीना के कोच जॉर्ज साम्पोली कई बदलाव कर सकते हैं जहां युवा स्ट्राइकर क्रिस्टियन पावोन को एंजेल डि मारिया की जगह शुरुआती लाइन-अप में शामिल किया जा सकता है। वहीं मिडफील्ड में पेरिस सेंट जर्मेन के गियोवानी लो सेल्सो को भी मौका दिया जा सकता है। साम्पोली मुकाबले में 3-3-3-1 की रचना के साथ अर्जेंटीना को मैदान में उतार सकते हैं।
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कम नहीं है क्रोएशिया
अपने पहले मुकाबले में नाइजीरिया को 2-0 से हराने वाली क्रोएशिया की टीम को हल्के में नहीं आंका जा सकता। यह टीम रूस विश्व कप में विवादों के बीच भाग लेने पहुंची थी जहां टीम के कप्तान लुका मोड्रिड पर भ्रष्टाचार के केस में झूठी गवाही का आरोप लगा था। वहीं स्ट्राइकर निकोला कैलिनिक के स्थानापन्न खिलाड़ी के रूप में खेलने से इन्कार करने के बाद उन्हें टीम से हटा दिया गया। इससे कोच ज्लाटको डालिक के सामने गंभीर समस्या आन खड़ी हुई थी। हालांकि मैदान से बाहर की स्थिति ने मैदान में टीम के प्रदर्शन पर ज्यादा असर नहीं डाला और नाइजीरिया पर धमाकेदार जीत के साथ टीम ने नॉकआउट में पहुंचने की अपनी संभावनाओं को पुख्ता किया।