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Fact Check Story: भावुक पोस्ट शेयर कर बटोरे जा रहे हैं लाइक्स, इस बच्ची का 2017 में ही हो चुका है निधन

सोशल मीडिया पर एक बच्ची की तस्वीर वायरल हो रही है जिसका दिल उसके शरीर से बाहर निकला हुआ नज़र आ रहा है। दावा है कि बच्ची बीमार है और पोस्ट पर हर लाइक पर उसे 2 रुपये दिए जाएंगे। विश्वास न्यूज़ के पड़ताल में यह दावा गलत है।

By TaniskEdited By: Published: Thu, 25 Nov 2021 07:22 PM (IST)Updated: Thu, 25 Nov 2021 07:22 PM (IST)
Fact Check Story: भावुक पोस्ट शेयर कर बटोरे जा रहे हैं लाइक्स, इस बच्ची का 2017 में ही हो चुका है निधन
भावुक पोस्ट शेयर कर बटोरे जा रहे हैं लाइक्स।

नई दिल्‍ली (विश्‍वास न्‍यूज)। सोशल मीडिया पर वायरल एक तस्वीर में एक बच्ची को देखा जा सकता है जिसका दिल उसके शरीर से बाहर निकला हुआ नज़र आ रहा है। तस्वीर के साथ दावा किया जा रहा है कि यह बच्ची बीमार है और इस पोस्ट पर किये गए हर लाइक पर उसे 2 रुपये दिए जाएंगे। दैनिक जागरण की फैक्ट चेकिंग वेबसाइट विश्वास न्यूज़ ने अपनी पड़ताल में पाया कि यह दावा गलत है।

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विश्‍वास न्‍यूज ने वायरल तस्वीर की सच्‍चाई जानने के लिए सबसे पहले इस तस्वीर को गूगल रिवर्स इमेज पर सर्च किया। हमें यह तस्वीर mirror . co. uk की 2017 में पब्लिश्ड एक खबर में मिली। खबर के अनुसार, "इस बच्ची का नाम हेमलता पटेल है और इसका जन्म 5 अप्रैल 2017 को मध्य प्रदेश के छतरपुर में हुआ है। खबर के अनुसार, इस बच्ची को इक्टोपिया कॉर्डिस नाम की दुर्लभ बीमारी थी, जिसके कारण उसका दिल उसकी छाती से बाहर था।

विश्‍वास न्‍यूज को यह तस्वीर express. co . uk की एक खबर में भी मिली। इस खबर में एक वीडियो भी इम्बेडेड था। खबर के अनुसार, भी इस बच्ची का जन्म 5 अप्रैल 2017 को मध्य प्रदेश के छतरपुर में हुआ था।

कीवर्ड्स के साथ ढूंढ़ने पर विश्‍वास न्‍यूज को टाइम्स ऑफ़ इंडिया की 18 अप्रैल 2017 को पब्लिश्ड एक खबर मिली। जिसके अनुसार, "मध्य प्रदेश के छतरपुर जिले में अपने शरीर के बाहर दिल की धड़कन के साथ जन्मी, नन्ही हेमलता एम्स दिल्ली में डॉक्टरों के कड़े प्रयासों के बावजूद जीवन से अपनी लड़ाई हार गई।"

विश्‍वास न्‍यूज ने इस विषय में दैनिक जागरण के सहयोगी अख़बार नईदुनिया के छतरपुर संवादताता अर्जुन सिंह से बात की। उन्होंने कन्फर्म किया कि इस बच्ची का जन्म मध्य प्रदेश के छतरपुर में अप्रैल 2017 में हुआ था और इसका इलाज दिल्ली के एम्स में हुआ था। पर गंभीर अवस्था के चलते बच्ची बच न सकी थी।

विश्‍वास न्‍यूज ने पड़ताल के अंत में इस पोस्ट को शेयर करने वाले यूजर Sahil Khowaja की जांच की। सोशल स्‍कैनिंग में पता चला कि यूजर पकिस्तान का रहने वाला है।

निष्कर्ष: विश्वास न्यूज़ ने अपनी पड़ताल में पाया कि यह दावा गलत है। इस बच्ची की मृत्यु 2017 में ही हो चुकी है।

पूरी खबर को विश्वास न्यूज़ की वेबसाइट पर पढ़ने के लिए यहाँ क्लिक करें।


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