बॉलीवुड में एंग्री यंग मैन की एंट्री
सिद्धार्थ मल्होत्रा के रूप में इंडस्ट्री को नया एंग्री यंग मैन मिल गया है। ‘एक विलेन’ में उनका विद्रोही अवतार दिखा था। अब ‘ब्रदर्स’ में वे एक बार फिर इंटेंस अवतार में हैं। उनके किरदार का नाम मोंटी फर्नांडीस है। वह बड़ा बॉक्सर बनना चाहता है। फिल्म में मिक्स मार्शल
सिद्धार्थ मल्होत्रा के रूप में इंडस्ट्री को नया एंग्री यंग मैन मिल गया है। ‘एक विलेन’ में उनका विद्रोही अवतार दिखा था। अब ‘ब्रदर्स’ में वे एक बार फिर इंटेंस अवतार में हैं। उनके किरदार का नाम मोंटी फर्नांडीस है। वह बड़ा बॉक्सर बनना चाहता है। फिल्म में मिक्स मार्शल आर्ट बैकड्रॉप में है। अक्षय कुमार तो उस विधा के महारथी हैं। सिद्धार्थ के लिए यह किरदार निभाना मुश्किल रहा। महीनों की ट्रेनिंग के बाद वह बॉक्सर के किरदार में खुद को ढाल सके।
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मेहनत का मिलेगा फल
फिल्म में किरदार को जीवंत बनाने के लिए सिद्धार्थ मल्होत्रा ने काफी मेहनत की है। अपने कैरेक्टर क्रिएशन के बारे में वे विस्तार से बताते हैं, ‘शूटिंग से पहले काफी तैयारी करनी पड़ी। बॉक्सर के किरदार के लिए मैंने आठ महीने लगातार ट्रेनिंग ली। मैंने मार्शल आर्ट के अलग-अलग फॉर्म भी सीखे। एक्शन सीन के फिल्मांकन के लिए लॉस एंजिल्स से एक्शन टीम बुलाई गई। मैंने और अक्षय कुमार ने उनसे एक्शन सीन की ट्रेनिंग ली। शूटिंग से पहले अपनी सहनशक्ति बढ़ानी पड़ी। ट्रेनिंग के दौरान मुझे एक ही समय पर दो चीजों पर फोकस करना पड़ता था। फाइटिंग शॉट के लिए मुझे लड़ने की योग्यता बढ़ानी थी। विभिन्न प्रकार की फाइटिंग शैली सीखी। मुझे रोज दिन में पांच घंटे प्रैक्टिस करनी पड़ती थी। किरदार के लिए दस किलो वजन बढ़ाना भी एक अलग टास्क था, क्योंकि मैं ताउम्र स्लिम रहा हूं। फाइटिंग सीखने के लिए ट्रेनिंग के दौरान ढेर सारी कैलोरी भी बर्न हो जाती थी। क्लाइमेक्स में मेरे और अक्षय कुमार के बीच फाइटिंग सीन है। उसे फिल्माने में हमें कई दिन खर्चने पड़े।’
फैमिली एक्शन फिल्म
मिक्स मार्शल आर्ट की तैयारी पर वह बताते हैं, ‘शूटिंग से पहले मैैंने मार्शल आर्ट से संबंधित वीडियो देखे। खासकर फाइटर जॉन जॉन्स और एंडरसन सिल्वा के फाइटिंग वीडियो देखे। मैं काफी डर गया था। वे जिस तरह की फाइटिंग करते हैैं, उससे शरीर को नुकसान पहुंच सकता है। मुझे लगा कि यह तो कोई पागल ही कर सकता है। वैसे वह भी एक खेल है। फाइटर बनने के लिए जिगर लगता है। यह आसान नहीं है। उक्त वीडियो से मुझे काफी सीखने को मिला। एक दिन-एक समय में चार ट्रेनर मुझे मार्शल आर्ट के विभिन्न फार्म की ट्रेनिंग देते थे। यह हॉलीवुड की फिल्म ‘वॉरियर्स’ की आधिकारिक रीमेक है। इसे फैमिली एक्शन फिल्म कह सकते हैं। रिश्तों की गहन पड़ताल भी है फिल्म में। अक्षय कुमार डेविड फर्नांडीस की भूमिका में हैं, जो मोंटी का बड़ा भाई है। बचपन में बड़ी घटना हो जाती है, जिससे दोनों भाई अलग हो जाते हैैं। परिवार टूट जाता है। फिर फाइट के जरिए उनका परिवार कैसे जुड़ता है, यह फिल्म उस बारे में है। इस तरह फिल्म में एक्शन के साथ साथ फैमिली ड्रामा भी है।’
न कोई हीरो न विलेन
सिद्धार्थ बताते हैं, ‘एक चीज और यह कि हम दोनों के किरदारों की प्रेरणाएं भिन्न हैं। मोंटी थोड़ा गुस्सेवाला है। डेविड पारिवारिक है। वह सोच-विचार के अपना काम करता है। मोंटी खुद की काबिलियत साबित करना चाहता है। यहां फिल्म में न कोई हीरो है न विलेन। दोनों भाई अपनी-अपनी जगह सही हैं। फिर भी उन्हें फाइट करनी पड़ती है। ऐसे में दो सही लोगों की जंग में कौन जीतता है, फिल्म उस बारे में है। फिल्म ‘एक विलेन’ में मेरा लुक ‘ब्रदर्स’ के लुक की तरह है। मुझे डर था कि मैं इस फिल्म में वैसा न दिखाई दूं। अपने किरदार को अच्छी तरह से जानने के बाद मैैंने जाना कि ढांचे एक तरह के लग सकते हैैं, मगर किरदार काफी अलग हैं। मुझे उसकी खुशी है। मुझे वह किरदार निभाने का मौका मिला। करण मल्होत्रा बेहतरीन निर्देशक हैं। मैं उन्हें काफी समय से जानता हूं। उनके निर्देशन में एक्टर को किरदार निभाने में आसानी हो जाती है। ऐसे में ‘एक विलेन’ का हैंगओवर इस फिल्म पर नहीं था। इस फिल्म में मेरा किरदार मेरी पहले की फिल्मों से बिल्कुल अलग है।’
प्राची दीक्षित