'शाहिद' और 'ओमेर्टा' के बीच है ये चीज़ कॉमन, राजकुमार राव ने खोला राज़
आतंकवाद के मुद्दे के बारे में वह कहते हैं कि पूरा विश्व आतंकवाद की चपेट में है। हम जब भी अपने घर से बाहर ट्रेन या किसी पॉश होटल में ही क्यों न हों, हमें डर लगा रहता है।
अनुप्रिया वर्मा, मुंबई। राजकुमार राव की आनेवाली फ़िल्म 'ओमार्टा' है और राजकुमार अपनी इस फ़िल्म को लेकर उत्साहित भी हैं। वह कहते हैं कि हंसल सर को मैं सालों से जानता हूं और वह मेरे लिए फादर फीगर हैं। हमारे बीच आॅफर जैसा कुछ नहीं होता है। फ़िल्म 'शाहिद' की शूटिंग के दौरान ही उन्होंने मुझसे इस फ़िल्म की चर्चा कर दी थी।
राजकुमार कहते हैं कि वह ओमर के बारे में काफी कुछ पढ़ चुके थे और वह जानते थे कि वह कितना खूंखार आतंकवादी है। हंसल ने उन्हें एक दिन अचानक बोला कि जून जुलाई में फ्री हो तो चलो एक फ़िल्म करते हैं। राजकुमार राव कहते हैं कि उन्हें दुनिया में उन लोगों पर बहुत गुस्सा आता है, जो अनप्रोफेशनल होते हैं। वह कहते हैं कि मुझे ऐसे लोगों को देख कर गुस्सा आता है। वरना वह शांत होकर काम करने वालों में से ही हैं। वह कहते हैं कि उनके लिए अपना काम ईमानदारी से करना बेहद जरूरी है।
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आतंकवाद के मुद्दे के बारे में वह कहते हैं कि पूरा विश्व आतंकवाद की चपेट में है। हम जब भी अपने घर से बाहर ट्रेन या किसी पॉश होटल में ही क्यों न हों, हमें डर लगा रहता है। इसी आतंकवाद की समस्या को एक नये नज़रिए से समझाने की कोशिश इस फ़िल्म में है। वह कहते हैं कि हम फ़िल्म के माध्यम से यह देख सकते हैं कि असल में हमारी आस-पास की दुनिया में क्या हो रहा है। हमने कहानी इसी ढंग से कहने की कोशिश की है कि युवा पीढ़ी देखे और सबक ले कि यह गलत है। राजकुमार कहते हैं कि मैंने 'शाहिद' भी की थी। दर्शकों को देखना और समझना चाहिए कि शाहिद और ओमर दोनों ही एक ही बैकग्राउंड से आये थे। दोनों ही विक्टिम थे, लेकिन दोनों ने अलग-अलग रास्ता चुना। एक ने लोगों को बचाने का चुना, दूसरे ने लोगों को मारने का। राजकुमार की आने वाली फ़िल्में हैं 'फन्ने खान', 'मेंटल' और स्त्री।