राजस्थानः पीएम को पत्र लिख पूछा, किस मुंह से मुस्लिम समाज से मांगूं वोट
राजस्थान विधानसभा चुनाव में भाजपा की 131 प्रत्याशियों की जारी पहली सूची में किसी भी मुस्लिम उम्मीदवार नहीं होने पर अल्पसंख्यक मोर्चा की नाराजगी।
जयपुर, जेएनएन। राजस्थान विधानसभा चुनाव के लिए भाजपा की 131 प्रत्याशियों की जारी पहली सूची में किसी भी मुस्लिम उम्मीदवार का नाम नहीं होने पर पार्टी के अल्पसंख्यक मोर्चा ने नाराजगी जाहिर की है।
मोर्चा के प्रदेश उपाध्यक्ष सादिक खान ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, पार्टी अध्यक्ष अमित शाह और मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे को पत्र लिखकर पूछा है कि अब हम किस मुंह से समाज में भाजपा के लिए वोट मांगें। इस घटनाक्रम के बाद नाराजगी बढ़ गई है। सादिक खान ने पार्टी आलाकमान को लिखे पत्र में यह भी कहा है कि राजस्थान में हिंदू- मुस्लिम का भेद नहीं है। यहां गुजरात या उत्तर प्रदेश जैसे हालात भी नहीं हैं।
जयपुर का जवाहरात व्यवसाय इसका उदाहरण है। पिछले चुनाव में पार्टी ने चार टिकट मुस्लिम समुदाय को दिए थे, जबकि इस बार एक भी प्रत्याशी की घोषणा नहीं की है। सादिक खान ने कहा है कि वह पार्टी में रहकर अपनी बात उठाएंगे और पार्टी नेताओं को मजबूर करेंगे कि वह अपनी नीतियों में बदलाव करें।
गौरतलब है कि भाजपा अल्पसंख्यक मोर्चा ने इस बार 14 सीटों से अल्पसंख्यक प्रत्याशियों को टिकट देने की मांग की थी। गौरतलब है कि टिकट कटने से नाराज मंत्री व पांच बार विधायक रहे सुरेंद्र गोयल ने भी पार्टी की सदस्यता से इस्तीफा दे दिया है। उन्होंने निर्दलीय के रूप में नामांकन दाखिल करने की घोषणा की है।
विधायक हबीबुर्रहमान ने दिया इस्तीफा
इसी बीच, टिकट काटे जाने से नाराज मुस्लिम विधायक हबीबुर्रहमान ने पार्टी से इस्तीफा दे दिया है। बताया जा रहा है कि वे दिल्ली में कांग्रेस के बड़े नेताओं के संपर्क में हैं। उधर, भाजपा ने राजस्थान में दूसरे मुस्लिम चेहरे और परिवहन मंत्री युनूस खान का टिकट भी अभी तक घोषित नहीं किया है।
बगावत और विरोध जारी, पार्टी ने शुरू किया डैमेज कंट्रोल
राजस्थान भाजपा में प्रत्याशियों की पहली सूची जारी होने के बाद उठे बगावत के सुर मंगलवार को भी सामने आए। दो मौजूदा विधायकों ने निर्दलीय चुनाव लड़ने की घोषणा के अलावा बाड़मेर में नगर विकास न्यास की अध्यक्ष प्रियंका चौधरी ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया। इस बीच पार्टी ने डैमेज कंट्रोल की कार्रवाई भी शुरू कर दी।
मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे और चुनाव प्रबंधन समिति के प्रमुख सदस्यों मसलन, गजेंद्र सिंह शेखावत, अर्जुनराम मेघवाल, ओम प्रकाश माथुर, ओंकार सिंह लखावत आदि को क्षेत्रवार जिम्मेदारियां सौंपी गई हैं। इसके अलावा संघ से जुड़े नेताओं को भी सक्रिय किया गया है और संगठन महामंत्री चंद्रशेखर भी बागी नेताओं से संपर्क कर रहे हैं। इसके नतीजे भी सामने आए और टिकट कटने के बाद बागी तेवर अपनाने वाले दो मौजूदा विधायकों चंद्रकांता मेघवाल और भागीरथ चौधरी ने कहा कि पार्टी का निर्णय उन्हें स्वीकार है और वे पार्टी के साथ हैं।