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Bihar Election 2020: चुनावी ड्यूटी से बचने को जागा 35 साल पुराना दर्द पर नहीं गली दाल, जानिए किन्‍हें मिली छूट

Bihar Assembly Election 2020 चुनावी ड्यूटी से बचने के लिए कर्मचारी तरह-तरह के बहाने बना रहे हैं। कुछ मामलों में सही समस्‍या रहने के बावजूद राहत नहीं मिल रही है। दरअसल चुनाव ड्यूटी से राहत के लिए स्‍पष्‍ट प्रावधान बने हुए हैं।

By Amit AlokEdited By: Published: Fri, 16 Oct 2020 11:43 AM (IST)Updated: Fri, 16 Oct 2020 11:43 AM (IST)
Bihar Election 2020: चुनावी ड्यूटी से बचने को जागा 35 साल पुराना दर्द पर नहीं गली दाल, जानिए किन्‍हें मिली छूट
बिहार विधानसभा चुनाव मेे मतदान। प्रतीकत्‍मक तस्‍वीर।

पटना, पवन कुमार मिश्र। कोरोना काल में चुनावी ड्यूटी से बचाने के लिए कर्मचारी तरह-तरह की जुगत लगा रहे हैं। कुछ लोग उच्च पदासीन रिश्तेदारों-परिचितों से सिफारिश करवा रहे हैं। कई लोग मेडिकल बोर्ड के सामने मजबूती से अपना दावा रखने के लिए 30 से 35 साल पुराना मेडिकल रिकॉर्ड लेकर पहुंच रहे हैं। हालांकि, कोरोना के कारण बूथ की संख्या 40 फीसद बढ़ने के कारण अधिक कर्मचारियों की जरूरत को देखते हुए किसी की दाल नहीं गल रही है। चुनाव ड्यूटी से मुक्ति के स्पष्ट मानक हैं।  

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एक डॉक्टर ने बताया कि एक कर्मचारी को 35 साल पहले हृदय संबंधी समस्या हुई थी। वे उस समय से आजतक का मेडिकल रिकॉर्ड लेकर आए, लेकिन हृदय की स्थिति सामान्य होने के कारण उन्हें ड्यूटी से छूट नहीं मिल सकी।

आवेदन देने के बाद भी आधे लोग नहीं हुए उपस्थित

मेडिकल बोर्ड में शामिल डॉक्टरों के अनुसार, पहले दिन 1367 और दूसरे दिन 850 लोग ही उपस्थित हुए। तैनात मजिस्ट्रेट के अनुसार, चिकित्सा कारणों का हवाला देते हुए चार हजार से अधिक लोगों ने चुनावी ड्यूटी से मुक्ति का आवेदन दिया था।

महिलाओं के लिए अधिक पैरवी  

अधिकारियों के अनुसार, महिलाओं के लिए ज्यादा पैरवी आई है। बच्चों की देखभाल से लेकर अकेले रहते हैं और पति-पत्नी दोनों काम करते हैं, ऐसे में चुनावी ड्यूटी से होने वाली परेशानी का हवाला देकर पैरवी की गई।

इन लोगों को मिली ड्यूटी से छूट  

- गर्भवती और ऐसी महिलाएं जिनके बच्चे 10 माह से कम उम्र के हैं।

- विकलांग के साथ ऐसे लोग जिनके हाथ कांपते हैं और वे हस्ताक्षर तक नहीं कर पा रहे हों।

- कैंसर रोगी। मधुमेह के ऐसे रोगी जो इंसुलिन लेते हों।

- ऐसे हृदय रोगी जिनकी हालत गंभीर हो।  

- ऐसे लोग जिनकी हाल में सर्जरी हुई हो।

- उच्च रक्तचाप और शुगर के ऐसे रोगी जो दूसरे गंभीर रोग से पीडि़त हों।


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