कैदियों के लिए स्थापित किया जाए वेब-लिक
याचिकाकर्ता अधिवक्ता सार्थक मग्गोन ने इसके साथ ही 25 मार्च के उस आदेश को भी रद करने की मांग की जिसमें भौतिक रूप से कानूनी मुलकात को निलंबित कर दिया है। याचिका के अनुसार भौतिक रूप से मुलाकात बंद करके टेलीफोनिक कानूनी मुलाकात की व्यवस्था करना की जानी थी लेकिन अभी तक ऐसी सुविधा नहीं दी गई है। याचिका के अनुसार कैदियों से मुलाकात करने और उन्हें न्याय दि
जासं, नई दिल्ली : कैदियों को न्याय दिलाना सुनिश्चित करने के लिए वीडियो कान्फ्रेंसिग के माध्यम से कानूनी मुलाकात की सुविधा उपलब्ध कराने की मांग को लेकर हाई कोर्ट में जनहित याचिका दायर की गई है। याचिका में मांग की गई है कि जेल अधिकारियों को जेल के अंदर वेब-लिक स्थापित करने का निर्देश दिया जाए।
याचिकाकर्ता अधिवक्ता सार्थक मग्गोन ने इसके साथ ही 25 मार्च के उस आदेश को भी रद करने की मांग की जिसमें भौतिक रूप से कानूनी मुलाकात को निलंबित कर दिया गया है।
याचिका के अनुसार, कैदियों से मुलाकात करने और उन्हें न्याय दिलाने में देरी हो रही है। याचिकाकर्ता ने कहा कि इस तरह के प्रतिबंध से कैदियों की व्यक्तिगत स्वतंत्रता के मौलिक अधिकार खतरे में है। याचिका में कहा गया कि वेब लिक की स्थापना के माध्यम से मुलाकात स्थापित करने से कैदियों के अधिकारों की रक्षा होगी। याचिका पर 29 जून को मुख्य पीठ सुनवाई करेगी।