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दुबलेपन से परेशान होकर युवती ने फंदा लगाकर दे दी जान

मंडावली इलाके में एक युवती ने दुबलेपन से परेशान होकर फंदा लगाकर अपनी जान दे दी। मृतक की पहचान प्रियंका (22) के रूप में हुई है। पुलिस को उसके पास से बिना हस्ताक्षर के एक सुसाइड नोट बरामद हुआ है। इसमें उसने बताया है कि वह फैशन डिजाइनर बनना चाहती थी। लेकिन शरीर ने हर जगह उसे अपमानित कर दिया। इसके अलावा पुलिस को उसके मोबाइल से पता चला है कि वह यूट्यूब पर वह फांसी लगाने के तरीके देखा करती थी। पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम के बाद परिजनों को सौंप दिया है। पोस्टमार्टम रिपोर्ट करने वाले डॉक्टरों की मानें तो वह शारीरिक रूप ेसे स्वस्थ थी। इसके पीछे अवसाद का कारण हो सकता है। वहीं पुलिस अधिकारी पूरे मामले की जांच के बाद ही किसी तरह की टिप्पणी की बात कर रहे हैं।

By JagranEdited By: Published: Fri, 24 Aug 2018 10:07 PM (IST)Updated: Fri, 24 Aug 2018 10:07 PM (IST)
दुबलेपन से परेशान होकर युवती ने फंदा लगाकर दे दी जान
दुबलेपन से परेशान होकर युवती ने फंदा लगाकर दे दी जान

फोटो फाइल नंबर : 24 ईएनडी 205 से 206 हादसा

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- सुसाइड नोट बरामद, फैशन डिजाइनर बनने की थी ख्वाहिश

- यू-ट्यूब पर देखती थी फांसी लगाने के तरीके

जागरण संवाददाता, पूर्वी दिल्ली : मंडावली इलाके में एक युवती ने दुबलेपन से परेशान होकर फंदा लगाकर जान दे दी। मृतक की पहचान प्रियंका (22) के रूप में हुई है। पुलिस को उसके पास से बिना हस्ताक्षर के एक सुसाइड नोट बरामद हुआ है। इसमें उसने बताया है कि वह फैशन डिजाइनर बनना चाहती थी लेकिन दुबलेपन के कारण वह हर जगह अपमानित हुई। पुलिस को उसके मोबाइल से पता चला है कि वह यू-ट्यूब पर फांसी लगाने के तरीके देखा करती थी। पुलिस ने शव को पोस्टमार्टम के बाद परिजनों को सौंप दिया है।

पोस्टमार्टम रिपोर्ट करने वाले डॉक्टरों की मानें तो वह शारीरिक रूप से स्वस्थ थी। खुदकशी के पीछे अवसाद का कारण हो सकता है। वहीं पुलिस अधिकारी पूरे मामले की जांच के बाद ही किसी तरह की टिप्पणी की बात कर रहे हैं।

जानकारी के मुताबिक, प्रियंका परिवार के साथ तालाब चौक, मंडावली में रहती थी। पिता की कुछ साल पहले मौत हो गई थी। परिवार में मां और एक छोटा भाई है। प्रियंका फैशन डिजाइनर बनना चाहती थी। पिता की मौत की वजह से वह इसकी पढ़ाई नहीं कर पाई तो बीए के बाद फैशन डिजाइनरों के पास इंटर्नशिप करने लगी। इन जगहों पर वह खरी नहीं उतर पाई। प्रियंका इसकी वजह से तनाव में रहती थी। कुछ समय के लिए उसने लक्ष्मीनगर स्थित एक कंपनी में नौकरी भी की। बाद में यह नौकरी भी छूट गई। इसके बाद से वह तनाव में थी। परिजनों का कहना है कि वह मोबाइल पर काफी समय व्यतीत करती थी। बृहस्पतिवार शाम को जब मां उसे खाना खाने के लिए बुलाने के लिए कमरे में गई तो वह फंदे पर लटकी हुई थी। पड़ोसियों की मदद से तुरंत उसे उतारकर निजी अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने उसे मृत घोषित कर दिया।

पुलिस जांच में पता चला कि प्रियंका आत्महत्या से पहले अकेलापन कैसे दूर किया जाए और कैसे फांसी लगाई जाए, यह सब अपने मोबाइल पर यू-ट्यूब पर देखती थी। साथ ही वह यू-ट्यूब में कैसे खुश रहा जाए, इस तरह का वीडियो भी देखती थी। फिलहाल पुलिस परिजनों से पूछताछ कर मामले की जांच कर रही है।

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मैं उड़ना चाहती थी..

पुलिस को कमरे की तलाशी में सुसाइड नोट मिला। इसमें प्रियंका ने लिखा है कि मैं बिना पंख की चिड़िया थी। मैं उड़ना चाहती थी, लेकिन मुझे मरना था। मैंने भगवान में विश्वास कभी नहीं खोया लेकिन मैंने जो किया उसमें मेरी खुशी है। मैं बहुत कुछ करना चाहती थी लेकिन शरीर ने हर जगह अपमानित किया। इसकी वजह से ¨पजरे में बंध गई थी। और कुछ नहीं कहना चाहती हूं, मुझे आजादी मिल गई।


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