Delhi Metro: दिल्ली में जल्द मेट्रो चलने की अटकलों पर केजरीवाल के मंत्री ने दिया जवाब
Delhi Metro Service News गहलोत ने कहा कि दिल्ली मेट्रो रेल सेवाओं को फिर से शुरू करने के मामले में उन्हें अभी तक कोई जानकारी नही है।
नई दिल्ली, एएनआइ। Delhi Metro Service News: लॉकडाउन-4 खत्म होने पर दिल्ली में मेट्रो सेवाएं फिर से चालू की जा सकती हैं। इन अटकलों पर दिल्ली के परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत ने जवाब दिया है। कैलाश गहलोत ने कहा कि दिल्ली मेट्रो रेल सेवाओं को फिर से शुरू करने के मामले में उन्हें अभी तक कोई जानकारी नही है। जब भी ऐसा कोई निर्देश आता है तो DMRC को तैयारियों के लिए न्यूनतम 2 दिन की आवश्यकता होगी।
दिल्ली के परिवहन मंत्री ने कहा कि दिल्ली सरकार चाहती है कि मेट्रो ट्रेन सेवाओं को जल्द फिर से शुरू किया जाए।
बता दें कि कोरोेना संक्रमण और लॉकडाउन की वजह से दिल्ली मेट्रो की सेवाएं करीब दो महीने से बंद हैं। अब अकटलें है कि घरेलू विमान सेवाएं शुरू होने के बाद मेट्रो चलने की इजाजत मिल सकती है। दरअसल दिल्ली में कोरोना के बढ़ते मामलों के बीच उद्योगों को संचालित करने की मंजूरी अभी हाल में ही दी गई थी। इसके अलावा सभी निजी और सरकारी दफ्तर भी खोल दिए गए हैं।
ऑटो व रिक्शा चालकों ने वसूला मनमाना किराया
दरअसल मेट्रो बंद होने से कोरोना से जंग के बीच लॉकडाउन में छूट मिलने पर लोगों को घर और कार्यालय की बीच की दूरी तय करने के लिए जंग लड़नी पड़ रही है। बसों के लिए जहां धूप और गर्मी में घंटों तक इंतजार करना पड़ रहा है, वहीं ऑटो और रिक्शा चालक लोगों की मजबूरी का जमकर फायदा उठा रहे हैं। ऑटो चालकों ने किराया दो से तीन गुना बढ़ा दिया है, जिसका भुगतान करना हर किसी के बस की बात नहीं है।
इसके अलावा जाम में लोगों के पसीने छूट रहे हैं। बसों के मुकाबले यात्रियों की संख्या काफी अधिक होने के कारण लोगों को घंटों तक बसों का इंतजार करना पड़ा। अधिकांश स्थानों पर हालत यह रही कि बस के आते ही लोगों ने बिना थर्मल स्क्रीनिंग के बसों में घुसने का प्रयास किया। इस दौरान लोगों में खूब धक्का मुक्की हुई। हालांकि बसों के अंदर 20 से अधिक सवारी को प्रवेश नहीं मिला। ऐसे में 20 से अधिक होने पर लोगों को वापस बस से उतार दिया गया। इसके बाद उन्हें फिर से बस का इंतजार करना पड़ा। लोगों की इस मजबूरी का फायदा ऑटो चालकों ने जमकर उठाया। 50-70 रुपये किराए के बजाय सीधे 250 से 300 रुपये की मांग सवारियों से की गई। जिस कारण लोग ऑटो से भी अपने गंतव्य तक पहुंचने में असर्मथ रहे।