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ग्रेजुएशन करने के बाद कैसे भविष्य संवारें स्टूडेंट, करियर काउंसलर ने दिए सफलता के मंत्र

ढ़ाई और करियर विकल्‍पों को लेकर अक्‍सर युवा इस दुविधा में रहते हैं कि वे अब आगे क्‍या करें। इस स्तंभ के तहत युवाओं के मन के इन्‍हीं दुविधाओं को दूर करते हुए उनके लिए उपयुक्त राह दिख रहे हैं वरिष्ठ करियर काउंसलर अरुण श्रीवास्तव...

By Mangal YadavEdited By: Published: Tue, 09 Nov 2021 04:42 PM (IST)Updated: Tue, 09 Nov 2021 04:42 PM (IST)
ग्रेजुएशन करने के बाद कैसे भविष्य संवारें स्टूडेंट, करियर काउंसलर ने दिए सफलता के मंत्र
ग्रेजुएशन करने के बाद कैसे भविष्य संवारें स्टूडेंट, करियर काउंसलर ने दिए सफलता के मंत्र

नई दिल्ली। पढ़ाई और करियर विकल्‍पों को लेकर अक्‍सर युवा इस दुविधा में रहते हैं कि वे अब आगे क्‍या करें। इस स्तंभ के तहत युवाओं के मन के इन्‍हीं दुविधाओं को दूर करते हुए उनके लिए उपयुक्त राह दिख रहे हैं वरिष्ठ करियर काउंसलर अरुण श्रीवास्तव...

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मैंने हाल ही में एलएलबी पूरा किया है और एलएलएम करना चाहता हूं, लेकिन एलएलएम के बाद करियर अवसरों को लेकर दुविधा में हूं। कृपया एलएलएम के बाद अवसरों के बारे में बताएं। -जतिन मल्होत्रा, गुरुग्राम, ईमेल से

एलएलएम मास्टर डिग्री है, जिससे आपको विधि के क्षेत्र में कहीं अधिक विशेषज्ञता हासिल हो जाती है। यदि आप एलएलएम करने में रुचि रखते हैं, तो इससे अपनी योग्यता बढ़ाकर एलएलबी की तुलना में कहीं अधिक बड़े अवसर प्राप्त करने के लिए कर सकते हैं। ये अवसर सरकारी और निजी दोनों ही क्षेत्रों में हैं। सरकारी क्षेत्र की बात करें, तो इसमें आपको न्यायाधीश, लोक अभियोजक/अभियोजन अधिकारी, उपभोक्ता न्यायालय आदि में अवसर मिल सकते हैं। न्यायाधीश के रूप में आपको राज्य लोक सेवा आयोग और राज्य के उच्च न्यायालय द्वारा आयोजित प्रतियोगिता परीक्षा में शामिल होकर उसे क्वालिफाई करना होगा।

इसके अलावा, यदि अध्यापन में रुचि है, तो नेट/पीएचडी करके कालेज/विश्वविद्यालय में विधि शिक्षक के रूप में करियर को आगे बढ़ा सकते हैं। स्वतंत्र रूप से एक अधिवक्ता के रूप में सत्र न्यायालय, उच्च न्यायालय और सर्वोच्च न्यायालय में विशेषज्ञता के साथ प्रैक्टिस करने का सदाबहार विकल्प तो है ही। साथ ही, लीगल फर्म्स, कारपोरेट सेक्टर में लीगल एडवाइजर/कंसल्टेंट के रूप में भी काम करने का विकल्प भी है, जहां आप नियमित जाब या फ्रीलांस आधार पर काम कर सकते हैं। एनजीओ में कंसल्टेट के रूप में भी सेवाएं दे सकते हैं।

-मैंने ग्रेजुएशन पूरा कर लिया है, पर मुझे दूसरे विषय से भी ग्रेजुएशन करना है। क्या केवल आखिरी वर्ष किसी एक विषय से हो सकता है? मुझे हिंदी से करना है, जिसे मैंने ग्रेजुएशन के एक भी वर्ष में नहीं लिया था।

-सुरुचि, ईमेल से

यदि ग्रेजुएशन के किसी वर्ष में उस विषय को नहीं पढ़ा है, तो ऐसे में उस विषय की पढ़ाई तीनों वर्ष करके उसकी परीक्षा देनी होगी। केवल आखिरी वर्ष परीक्षा देकर ग्रेजुएशन करने का कोई विकल्प नहीं है। बेहतर होगा कि आप एक-एक वर्ष के लिए आवेदन करके और परीक्षा देकर अपनी पसंद के विषय में ग्रेजुएशन करें।

-मैं अभी दसवीं कक्षा में जाने वाली हूं। मैं आगे आइएएस बनना चाहती हूं, पर मम्मी आगे बायो से पढ़ाना चाहती हैं। कृपया मुझे बताएं कि क्या बायो से आइएएस बन सकते हैं?

-कृष्णा शुक्ला, ईमेल से

यदि आपकी रुचि भी बायो में है, तो इस स्ट्रीम से पढ़ाई करने में कोई दिक्कत नहीं है। आप इससे बारहवीं और फिर ग्रेजुएशन करने के बाद आइएएस की परीक्षा (सिविल सेवा परीक्षा) दे सकती हैं। सिविल सेवा मुख्य परीक्षा में एक ऐच्छिक विषय चुनना होता है। यदि उस समय आप बायो में खुद को सक्षम समझेंगी, तो इसे चुन सकती हैं। यदि ऐसा नहीं होता है, तो भी आप अपनी पसंद का कोई भी विषय चुन सकती हैं, चाहे आपने उसे ग्रेजुएशन में पढ़ा हो या नहीं।

(वरिष्ठ करियर काउंसलर अरुण श्रीवास्तव)


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