50 साल पूरे होने पर बदल जाएगी नेहरू प्लेस की तस्वीर, पढ़िए डीडीए का प्लान
पिछले दो साल से नेहरू प्लेस के नवीनीकरण का काम चल रहा है। इसमें इसकी फर्श से लेकर इमारतों की रंगाई-पुताई तक का काम किया जा रहा है। इसके तहत सेंटर के सभी 89 भवनों की रंगाई व सीढ़ियों की मरम्मत की जा रही है।
नई दिल्ली, जागरण संवाददाता। इस वर्ष नेहरू प्लेस डिस्टिक्ट सेंटर को बने 50 साल पूरे हो रहे हैं। इस साल के अंत तक पूरा नेहरू प्लेस बदला-बदला सा नजर आएगा। पिछले दो साल से नेहरू प्लेस के नवीनीकरण का काम चल रहा है। इसमें इसकी फर्श से लेकर इमारतों की रंगाई-पुताई तक का काम किया जा रहा है। इसके तहत सेंटर के सभी 89 भवनों की रंगाई व सीढ़ियों की मरम्मत की जा रही है।
डिस्टिक्ट सेंटर के खुले क्षेत्र में टूट चुकी पुरानी टाइलों को बदलकर नए पत्थर लगाए जा रहे हैं। दक्षिणी दिल्ली नगर निगम की ओर से अप्रूवल मिलने के बाद वर्ष-2019 में डीडीए ने यह काम शुरू किया था। इस साल जून तक काम पूरा होने की उम्मीद है। गौरतलब है कि 1972 में डीडीए ने 94 एकड़ में फैले इस डिस्टिक्ट सेंटर का निर्माण करवाया था, जिसे बाद में दक्षिणी निगम को सौंप दिया गया था।
यहां छोटी-बड़ी पांच हजार दुकानें और आफिस हैं। इनमें 50 हजार से अधिक लोग काम करते हैं। एक लाख से अधिक लोग प्रतिदिन यहां खरीदारी करने आते हैं। 50 साल के दौरान यहां के भवन, बेसमेंट, पार्किंग एरिया व सीढ़ियां काफी जर्जर हो गई हैं। दुकानदार लंबे समय से इनकी मरम्मत व सुंदरीकरण की मांग कर रहे थे। वर्ष 2019 में निगम की ओर से अप्रूवल मिलने के बाद काम शुरू करवाया गया था। यहां नए टायलेट ब्लाक भी बनाए जा रहे हैं।
मल्टीलेवल पार्किंग से दूर होगी समस्या : यहां दिल्ली-एनसीआर के अलावा अन्य राज्यों से भी लोग आते हैं। इसलिए पार्किंग की समस्या भी होती है। पीक टाइम में सर्विस लेन तक वाहन खड़े रहते हैं, जिससे आउटर रिंग रोड पर जाम भी लगता है। इस समस्या को दूर करने के लिए मार्केट के सामने आउटर रिंग रोड की ओर बहुमंजिला कार पार्किंग का निर्माण करवाया जा रहा है। इसमें 800 कारें पार्क की जा सकेंगी। पार्किंग का रखरखाव व संचालन निगम की ओर से किया जाएगा। इस पार्किंग के चालू होने से यह फायदा होगा कि यहां की दुकानों के मालिक व स्टाफ और विभिन्न आफिसों के स्टाफ जो यहां पूरा दिन रुकते हैं उनके वाहन इस पार्किंग में खड़े हो जाएंगे।
हालांकि दो साल से चल रहे सुंदरीकरण के कारण यहां के दुकानदारों का भी बहुत नुकसान हो रहा है। आल दिल्ली कंप्यूटर ट्रेडर्स एसोसिएशन के अध्यक्ष महेंद्र अग्रवाल ने बताया कि शुरू में तय हुआ था कि सुंदरीकरण का काम एक बार में छह-छह बिल्डिंगों के सामने होगा। जब उधर का काम पूरा हो जाएगा तब अगली छह बिल्डिंगों के सामने होगा, लेकिन डीडीए ने एक साथ पूरी मार्केट में काम शुरू कर दिया।
हर ओर खोदाई करके छोड़ दिया गया, लेकिन अब तक कहीं का काम पूरा नहीं हुआ है। पूरी मार्केट में धूल व गंदगी है, जिस कारण ग्राहक भी नहीं आ पाते हैं। कोरोना के कारण वैसे ही कारोबार ठप था। इस सुंदरीकरण के कारण धंधा और चौपट हो गया है। हालांकि इस बारे में डीडीए का पक्ष जानने के लिए पीआरओ बिजय शंकर पटेल को काल व मेसेज किया गया, लेकिन उन्होंने कोई जवाब नहीं दिया।
नेहरू प्लेस मेट्रो स्टेशन से जोड़ने के लिए स्काईवाक: अभी नेहरू प्लेस मार्केट से नेहरू प्लेस मेट्रो स्टेशन आने-जाने के लिए इलाके के लोगों को सड़क का डिवाइडर फांदना पड़ता है। इसकी वजह से यहां पर जाम भी लगता है। मार्केट व मेट्रो स्टेशन को जोड़ने के लिए यहां एक स्काईवाक बनाया जा रहा है। इसके जरिये लोग सड़क पार करके सीधे मेट्रो स्टेशन आ-जा सकेंगे।
इसके बन जाने के बाद सड़क के डिवाइडर को ऊंचा करके उसमें हरियाली की जाएगी। गौरतलब है कि इस 89 टावर वाली मार्केट में छोटे-बड़े करीब 15 हजार दुकानें, शोरूम व आफिस आदि हैं। इनमें एक लाख लोग काम करते हैं। वहीं, करीब एक लाख से ज्यादा ग्राहक मार्केट में रोजाना आते हैं। परिसर में 32 बैंक शाखाएं व 38 एटीएम बूथ हैं।