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Republic Day Tractor Rally: किसान रिंग रोड पर ट्रैक्टर रैली निकालने पर अड़े, जानें अब क्‍या होगा आगे

कृषि कानून के विरोध में दिल्ली की सीमाओं पर प्रदर्शन कर रहे किसान और पुलिस के बीच दूसरे चरण की बृहस्पतिवार को हुई वार्ता बेनतीजा रही। अपनी मांगों के समर्थन में किसान संगठन के नेताओं ने पुलिस से रिंग रोड पर ट्रैक्टर रैली निकालने की अनुमति देने की मांग की।

By Prateek KumarEdited By: Published: Fri, 22 Jan 2021 07:45 AM (IST)Updated: Fri, 22 Jan 2021 10:31 AM (IST)
Republic Day Tractor Rally: किसान रिंग रोड पर ट्रैक्टर रैली निकालने पर अड़े, जानें अब क्‍या होगा आगे
पुलिस के केएमपी एक्सप्रेसवे पर रैली निकालने के प्रस्ताव पर नहीं बनी बात।

नई दिल्ली, संतोष शर्मा। तीन नए कृषि कानून के विरोध में दिल्ली की सीमाओं पर प्रदर्शन कर रहे किसान संगठनों और पुलिस के बीच दूसरे चरण की बृहस्पतिवार को हुई वार्ता बेनतीजा रही। अपनी मांगों के समर्थन में किसान संगठन के नेताओं ने पुलिस से रिंग रोड पर ट्रैक्टर रैली निकालने की अनुमति देने की मांग की। लेकिन गणतंत्र दिवस की सुरक्षा और कोरोना महामारी के मद्देनजर पुलिस अधिकारियों ने किसान नेताओं को केएमपी एक्सप्रेसवे पर रैली निकालने के प्रस्ताव दिया। घंटों चली इस बैठक में कोई बात नहीं बनी। किसान नेता रिंग रोड पर ट्रैक्टर रैली निकालने की बात पर अड़े रहे। हालांकि, पुलिस अधिकारी ने बताया कि किसानों से बातचीत अभी जारी है। उम्मीद है जल्द कोई समाधान निकल जाएगा।

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पुलिस सूत्रों के मुताबिक पुलिस और किसान नेताओं के बीच सिंघु बार्डर के समीप एक रिसोर्ट में ट्रैक्टर रैली को लेकर बैठक शुरू हुई थी। बृहस्पतिवार की सुबह करीब 11 बजे शुरू हुई बैठक का समन्वय संयुक्त पुलिस आयुक्त (उत्तरी रेंज) एसएस यादव कर रहे थे। वहीं, इस मौके पर विशेष आयुक्त (कानून और व्यवस्था-पश्चिमी क्षेत्र) संजय सिंह और विशेष पुलिस आयुक्त (खुफिया) देपेंद्र पाठक मौजूद थे। जबकि किसानों का प्रतिनिधित्व स्वराज अभियान के नेता योगेंद्र यादव सहित सात प्रमुख किसान नेता कर रहे थे। पुलिस के मुताबिक बैठक के दौरान किसान नेताओं ने पुलिस को 26 जनवरी को दिल्ली में आउटर रिंग रोड पर ट्रैक्टर रैली निकालने देने की मांग की। नेताओं ने कहा कि उनकी रैली शांतिपूर्ण रहेगी।

इधर, पुलिस अधिकारियों ने उन्हें आउटर रिंग रोड के बजाय कुंडली-मानेसर-पलवल (केएमपी) एक्सप्रेसवे पर ट्रैक्टर रैली आयोजित करने का आग्रह किया। इस प्रस्ताव को किसान नेताओं ने नहीं माना। वे दिल्ली में ट्रैक्टर रैली निकालने की मांग करते रहे। लेकिन, पुलिस ने सुरक्षा कारणों से रैली से अशंति फैलने की आशंका के तहत इसकी इजाजत देने से इंकार कर दिया। बैठक में दिल्ली के अलावा हरियाणा और उत्तर प्रदेश पुलिस के वरिष्ठ अधिकारी भी शामिल थे। इससे पहले भी 26 जनवरी को प्रस्तावित रैली के मार्ग और व्यवस्थाओं पर चर्चा के लिए दिल्ली, उत्तर प्रदेश और हरियाणा पुलिस और किसान नेताओं की बुधवार को दिल्ली में बैठक हुई थी। लेकिन दोनों के बीच अंतिम राय नहीं बन सकी थी। दरअसल सरकार द्वारा लागू किए गए तीन कृषि कानून के विरोध में दिल्ली की सीमाओं पर किसान कई दिनों से प्रदर्शन कर रहे हैं।

मांग को लेकर उनकी सरकार से भी वार्ता चल रही है, लेकिन इसका कोई नतीजा अभी तक नहीं निकला है। इसी बीच किसानों ने 26 जनवरी को दिल्ली में ट्रैक्टर रैली के आयोजन की घोषणा की है। इसके तहत पंजाब में कई किसानों ने ट्रैक्टर में बदलाव भी कर लिए हैं। ताकि अवरोधक लगाए जाने के बावजूद ट्रैक्टर को रोका ना जा सके। इन मामले को लेकर पुलिस के माथे पर बल पड़ा हुआ है। गणतंत्र दिवस के दिन पूरे विश्व की नजर दिल्ली में पर रहेगी। पुलिस अधिकारियों को डर है कि यदि इस दौरान कोई गड़बड़ी होती है तो इसका सीधा असर देश की प्रतिष्ठा पर पड़ेगा। इसलिए पुलिस अधिकारी फूंक-फूंक कर कदम रख रहे हैं।

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