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दिल्ली दंगा : मोबाइल से नष्ट संदेश को रिकवर कर पुलिस ने बनाया सुबूत, जमानत अर्जी खारिज

कोर्ट ने आदेश में कहा कि आरोपित वीडियो में दंगाइयों के बीच लोहे की रॉड लेकर घूम रहा है जिससे उसकी सक्रियता जाहिर होती है। वहीं मोबाइल से डिलीट किए गए भड़काऊ संदेश भी पुलिस ने एक्सपर्ट की मदद से निकाल लिए हैं।

By Prateek KumarEdited By: Published: Thu, 03 Dec 2020 10:13 PM (IST)Updated: Thu, 03 Dec 2020 10:13 PM (IST)
दिल्ली दंगा : मोबाइल से नष्ट संदेश को रिकवर कर पुलिस ने बनाया सुबूत, जमानत अर्जी खारिज
मोबाइल से नष्ट संदेश को रिकवर कर पुलिस ने बनाया सुबूत।

नई दिल्ली, आशीष गुप्ता। दिल्ली दंगे के दौरान जाफराबाद इलाके में हिंसा करने और एक युवक की हत्या के मामले में आरोपित रिफाकत अली की जमानत अर्जी कड़कड़डूमा कोर्ट ने खारिज कर दी। कोर्ट ने आदेश में कहा कि आरोपित वीडियो में दंगाइयों के बीच लोहे की रॉड लेकर घूम रहा है, जिससे उसकी सक्रियता जाहिर होती है। वहीं मोबाइल से डिलीट किए गए भड़काऊ संदेश भी पुलिस ने एक्सपर्ट की मदद से निकाल लिए हैं।

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24 फरवरी को जाफराबाद इलाके में पुलिस पर गोलियां चलाई गई थीं। पत्थरबाजी और आगजनी भी की गई थी। इस दौरान 19 पुलिस कर्मी गंभीर रूप से घायल हो गए थे। आमान नाम के युवक की गोली लगने से मौत हो गई थी। इस मामले में दर्ज मुकदमे में रिफाकत अली को आरोपित बनाया गया था। इस आरोपित ने जमानत के लिए कड़कड़डूमा कोर्ट में अर्जी दायर की थी। उस पर अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश अमिताभ रावत की कोर्ट में सुनवाई के दौरान आरोपित के वकील ने पक्ष रखा कि रिफाकत को गलत फंसाया गया है।

अभियोजन पक्ष के वकील ने जमानत अर्जी का विरोध करते हुए दलील दी कि जाफराबाद इलाके की 66 फुटा रोड पर मौजपुर की तरफ जा रहे दंगाइयों ने पुलिस पर पथराव किया और गोलियां चलाई थीं। एक युवक की गोली लगने से मौत हो गई थी। वहां दंगाइयों की भीड़ में आरोपित भी मौजूद था। वीडियो फुटेज में रिफाकत अली लोहे की रॉड लिए स्पष्ट दिखाई दे रहा है। उसने दंगे के दौरान जो टोपी पहनी हुई थी, वह भी पुलिस ने बरामद की है। वकील ने कोर्ट को बताया कि आरोपित रिफाकत अली ने लोगों को उकसाने के लिए मोबाइल से भड़काऊ संदेश भेजे थे, जो उसने डिलीट कर दिए थे। एक्सपर्ट ने उसके मोबाइल से डिलीट डाटा निकाल लिया था। दोनों पक्षाें को सुनने के बाद कोर्ट ने आरोपित की जमानत अर्जी खारिज कर दी।

धार्मिक स्थल में आगजनी करने के आरोपित को मिली जेल

करावल नगर इलाके में दंगे के दौरान धार्मिक स्थल में आग लगाने के मामले में आरोपित वीरेंद्र कुमार को अतिरिक्त सत्र न्यायाधीश विनोद यादव की कोर्ट ने जमानत दे दी। आरोपित के वकील ने पक्ष रखा था कि उनके मुव्वकिल को झूठे मामले में फंसाया गया है। यह भी कहा कि इस मामले में अन्य आरोपितों को जमानत मिल चुकी है। वहीं अभियोजन पक्ष के वकील ने जमानत अर्जी का विरोध किया। कोर्ट ने दोनों पक्षों को सुनने के बाद आरोपित की जामनत अर्जी मंजूर कर दी।

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