सागर हत्याकांड में एक और ट्विस्ट, वारदात में कुख्यात असौदा गैंग के बदमाशों के शामिल होने का शक
छत्रसाल स्टेडियम में 4 मई की देर रात जूनियर पहलवान सागर धनखड़ की हत्या के मामले में बरामद कारों की जांच में कई चौंकाने वाले तथ्य सामने आए हैं। जांच में यह शक गहरा गया है कि कहीं बरामद कारों के तार चोरी से तो नहीं जुड़े हैं।
नई दिल्ली, जागरण संवाददाता। बाहरी दिल्ली के मॉडल टाउन स्थित नामी छत्रसाल स्टेडियम में 4 मई की देर रात पहलवान सागर धनखड़ की हत्या के मामले में बरामद कारों की जांच में कई चौंकाने वाले तथ्य सामने आए हैं। मौके पर पहुंची दिल्ली पुलिस ने छत्रसाल स्टेडियम से पांच कारें बरामद की थीं। पुलिस को कार में कई हथियार भी मिले थे। ऐसे में पुलिस ने जब नंबरों के आधार पर बरामद कारों के बारे में पता लगाना शुरू किया तो उनमें एक ब्रेजा कार गत वर्ष दिसंबर में रोहिणी सेक्टर-16 से चोरी की निकली। उक्त कार पर फर्जी नंबर प्लेट लगाया गया था।
जांच में वह नंबर रोहतक के एक कारोबारी की कार का निकला। वह कारोबारी जनवरी माह से बिना वजह के ही चालान झेल रहा था। जांच में यह भी सामने आया है कि बाकी चार कारों में एक कार मामले के आरोपित मोहित की है, जबकि तीन कारें गुरुग्राम स्थित एक कंपनी के नाम पर रजिस्टर्ड निकलीं। ऐसे में पुलिस जब कंपनी के पते पर गुरुग्राम पहुंची तो वहां उस नाम की कोई कंपनी नहीं मिली। ऐसे में पुलिस यह मान रही है कि उक्त तीनों कार के नंबर फर्जी कंपनी के नाम से जारी कराए गए हैं।
दिल्ली पुलिस सूत्रों के अनुसार जांच में पता चला है कि मामले में आरोपित बदमाश उक्त कारों से ही वारदात की रात छत्रसाल स्टेडियम पहुंचे थे। ऐसे में सागर की हत्या में सुनियोजित तरीके से चोरी की कारों का इस्तेमाल किया गया है। इस बात को इसलिए भी बल मिल रहा है कि पुलिस को जांच में अब वारदात में कुख्यात असौदा गैंग के बदमाशों के शामिल होने की जानकारी मिली है। यह गिरोह लूट, हत्या आदि आपराधिक गतिविधियों में संलिप्त रहा है। ऐसे में पुलिस यह मान रही है कि स्टेडियम से बरामद कारों का इस्तेमाल गिरोह के बदमाशों ने ही किया होगा।