दिल्ली-एनसीआर के लोगों को कब मिलेगी वायु प्रदूषण राहत, बता रहे हैं मौसम विज्ञानी
भारतीय मौसम विज्ञान विभाग के मुताबिक अगले 2 दिनों तक वायु प्रदूषण के हालात कमोबेश ऐसे ही रहेंगे। कुलदीप श्रीवास्तव की मानें तो पूर्वी हवाओं के चलते दिल्ली-एनसीआर के लोगों को 12-13 नवंबर तक राहत मिल सकती है।
नई दिल्ली, एएनआइ। हरियाणा और पंजाब में पराली जलाए जाने के साथ ही स्थानीय कारकों की वजह से दिल्ली-एनसीआर में वायु प्रदूषण की स्थिति बेहद गंभीर हो गई है। दिल्ली-एनसीआर के तकरीबन सभी इलाके रेड जोन में हैं और यहां पर वायु गुणवत्ता स्तर 500 के आसपास है। वहीं, इस बाबत कुलदीप श्रीवास्तव (Dr. Kuldeep Srivastava, head of regional weather forecast, New Delhi) ने बताया कि पिछले 4 दिनों से वायु प्रदूषण लगातार गंभीर श्रेणी में बना हुआ है। सोमवार सुबह ठंड के साथ धुंध भी रही। इस दौरान विजिबिलिटी भी कम रही है। मौसम विभाग के मुताबिक, अगले 2 दिनों तक वायु प्रदूषण के हालात कमोबेश ऐसे ही रहेंगे। कुलदीप श्रीवास्तव की मानें तो पूर्वी हवाओं के चलते दिल्ली-एनसीआर के लोगों को 12-13 नवंबर तक राहत मिल सकती है।
शारीरिक रूप से बहुत नुकसान पहुंचाता है वायु प्रदूषण
वायु प्रदूषण सिर्फ आंखों में जलन ही नहीं पैदा करता है, बल्कि लंबे समय बाद शरीर के कई अंगों को भी नुकसान पहुंचाता है। विशेषज्ञों के मुताबिक, वायु प्रदूषण शरीर के सभी अंगों को प्रभावित करता है। सबसे ज्यादा फेफड़ों को प्रभावित करता है क्योंकि इनके माध्यम से प्रदूषण शरीर के अंदर प्रवेश करता है। फिर प्रदूषण में पाए जाने जहरीले पदार्थ रक्त के माध्यम से शरीर के सभी अंगों के अंदर प्रवेश कर जाते हैं। इससे सभी अंग प्रभावित होते हैं। साथ ही बुजुर्गो, गर्भवती महिलाओं और गर्भस्थ शिशु के स्वास्थ्य को अधिक नुकसान पहुंचाता है। कोरोना का असर भी फेफड़े पर सबसे अधिक होता है। इस वजह से मौजूदा हालात फेफड़े के लिए ज्यादा नुकसानदायक हैं।
गौरतलब है कि राजधानी दिल्ली और एनसीआर में वायु प्रदूषण में इजाफा होने से यहां की आबोहवा भी सांस लेने लायक नहीं रही। फिलहाल वायु प्रदूषण बेहद खतरनाक स्थिति में है। वायु गुणवत्ता स्तर 500 के करीब बना हुआ है, जो स्वास्थ्य के लिहाज से बेहद खतरनाक है।
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