Delhi Crime: आकर्षक ब्याज का झांसा देकर लोगों से ठगी में कंपनी का निदेशक गिरफ्तार
पुलिस ने छानबीन में पाया कि आरोपित अवैध रूप से कंपनी चला रहा था। जांच में मनी भंडार के तीन बैंकों के दस्तावेज हासिल किए गए। जब आरोपित की तलाश शुरू की गई तो पता चला कि वह हरिद्वार स्थित आशाराम बापू के आश्रम में छुपकर रह रहा है।
नई दिल्ली, जेएनएन। दिल्ली पुलिस की आर्थिक अपराध शाखा (ईओडब्ल्यू) ने लोगों से करोडो़ं की ठगी में मनी भंडार नाम की कंपनी के निदेशक कपिल देव पसरिचा को गिरफ्तार किया है। आकर्षक ब्याज का झांसा देकर आरोपित ने लोगों से रुपये कंपनी में निवेश करा दिए। बाद में वह रुपये लेकर फरार हो गया था। उसने लोगों से करीब सात करोड़ रुपये की ठगी कर रखी है। आरोपित ने मुख्य रूप से पश्चिम बंगाल, असम और ओडिशा के लोगों को अपना शिकार बनाया था। पुलिस के डर से वह नौ वर्ष से फरार था और उत्तराखंड के टिहरी गढ़वाल में छुपकर रह रहा था। सूचना मिलने पर पुलिस ने आरोपित को उत्तराखंड से गिरफ्तार कर लिया।
रेखा पाल, सुबोध मंडल और अरिंदम डे ने संयुक्त रूप पुलिस में ठगी की शिकायत की थी। शिकायत दर्ज नहीं होने पर पड़ितों ने अदालत में गुहार लगाई थी। अदालत के निर्देश पर सितंबर 2012 में पुलिस ने इस संबंध में मुकदमा दर्ज कर जांच शुरू की। ईओडब्ल्यू के संयुक्त आयुक्त डा.ओपी मिश्रा ने बताया कि आरोपित कपिल देव पसरिचा ने जनकपुरी के जैना टावर और पश्चिम विहार इलाके में कंपनी कार्यालय खोल रखा था। उसने लोगों को एक तय समय तक कंपनी में रुपये निवेश करने पर आकर्षक ब्याज देने का झांसा दिया था। वहीं, लोगों से करोड़ों रुपये एकत्र करने के बाद वह कार्यालय बंद कर फरार हो गया था।
पुलिस ने छानबीन में पाया कि आरोपित अवैध रूप से कंपनी चला रहा था। जांच में मनी भंडार के तीन बैंकों के दस्तावेज हासिल किए गए। जब आरोपित की तलाश शुरू की गई तो पता चला कि वह हरिद्वार स्थित आशाराम बापू के आश्रम में छुपकर रह रहा है। लेकिन छापा मारने पर वह वहां नहीं मिला। जिसके बाद पुलिस की टीम ने आरोपित को उत्तराखंड के टिहरी गढ़वाल स्थित ठिकाने से दबोच लिया। वह वहां नाम बदलकर कपिल शर्मा के रूप में रह रहा था। पहले वह अकाउटेंट काम करता था। बाद में अय्याशीपूर्ण जीवन के लिए शेयर मार्केट कारोबार में रुपये निवेश की बात बता आरोपित लोगों से धोखाधड़ी करने लगा था।