रैपिड रेल पर तनातनी, सुनीता नारायण पर लगा धमकी का आरोप
दिल्ली सरकार ने कोर्ट में हलफनामा देकर कहा था कि इस योजना के लिए पैसे नहीं हैं। हालांकि इस योजना को दिल्ली सरकार ने सैद्धांतिक मंजूरी दे दी है।
नई दिल्ली, जेएनएन। दिल्ली से मेरठ तक प्रस्तावित रैपिड रेल योजना को लेकर केंद्र और दिल्ली सरकार के बीच टकराव और बढ़ने के आसार हैं। दिल्ली सरकार ने आरोप लगाया है कि शुक्रवार को ईपीसीए (इन्वायरनमेंट पॉल्यूशन (प्रीवेंशन एंड कंट्रोल) अथॉरिटी) की सदस्य सुनीता नारायण ने बैठक में इस योजना के लिए पैसे न देने पर दिल्ली सरकार के अधिकारियों को धमकी दी। दिल्ली सरकार का कहना है कि नारायण ने अधिकारियों से कहा कि देखती हूं कि दिल्ली सरकार कैसे काम करती है। अदालत आप के समर्थन में कैसे फैसला सुनाती है।
दिल्ली सरकार ने स्पष्ट कर दिया है कि इस योजना के लिए वह हिस्सेदारी नहीं देगी। जबकि केंद्र सरकार दबाव बना रही है और इसके लिए 1300 करोड़ रुपये का फंड मांग रही है। इस योजना को लेकर शुक्रवार को एक बैठक हुई थी, इस बैठक में दिल्ली सरकार के अधिकारियों ने सरकार का पक्ष रखा। साथ ही कहा कि आर्थिक स्थिति अच्छी नहीं होने के चलते दिल्ली सरकार इस योजना के लिए मांगा गया बजट आवंटित नहीं करेगी।
आरोप है कि इस पर ईपीसीए सदस्य सुनीता नारायण ने अधिकारियों को धमकी दी कि सरकार को योजना के लिए प्रस्तावित बजट आवंटित करना ही होगा। वहीं इस संबंध में ईपीसीए सदस्य सुनीता नारायण का कहना है कि ऐसी कोई बात नहीं है। अधिकारियों से केवल परिवहन क्षेत्र में आवंटित फंड के बारे में जानकारी मांगी गई थी। अधिकारियों को धमकी देने की बात गलत है।
वह केवल दिल्ली के पर्यावरण को सुधारने का प्रयास कर रही हैं। दिल्ली सरकार ने कोर्ट में हलफनामा देकर कहा था कि इस योजना के लिए पैसे नहीं हैं। हालांकि इस योजना को दिल्ली सरकार ने सैद्धांतिक मंजूरी दे दी है। सराय काले खां में प्रस्तावित एलिवेटेड स्टेशन के लिए भी सरकार राजी हो गई है।