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Ind vs Aus: दूसरे टेस्ट में डरने नहीं, डराने के लिए तैयार टीम इंडिया

तेज व बाउंसी पिच पर दूसरे टेस्ट में टीम इंडिया की असली परीक्षा होगी।

By Sanjay SavernEdited By: Published: Thu, 13 Dec 2018 09:02 PM (IST)Updated: Thu, 13 Dec 2018 09:17 PM (IST)
Ind vs Aus: दूसरे टेस्ट में डरने नहीं, डराने के लिए तैयार टीम इंडिया
Ind vs Aus: दूसरे टेस्ट में डरने नहीं, डराने के लिए तैयार टीम इंडिया

अभिषेक त्रिपाठी, पर्थ। स्वान नदी के करीब बना ऑप्टस स्टेडियम शुक्रवार को अपने पहले टेस्ट मैच की मेजबानी करने के लिए तैयार है। हालांकि, इस समय यहां पर चर्चा का विषय सिर्फ और सिर्फ 22 गज की हरी पट्टी (पिच) है। लगभग 34 डिग्री सेंटीग्रेड तापमान और सूरज की रोशनी में चमचमा रही इसकी हरी घास 44 टेस्ट मैचों की मेजबानी करने वाले वाका स्टेडियम की कहानी को ही दोहराने को तैयार है। यही कारण है कि भारतीय टीम ने ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ शुक्रवार से शुरू हो रहे दूसरे टेस्ट मैच में चार तेज गेंदबाजों के साथ उतरने का विकल्प खुला रखा है। हालांकि इस पर अंतिम फैसला शुक्रवार की सुबह ही होगा।

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इससे पहले भारतीय टीम जब भी ऑस्ट्रेलिया, दक्षिण अफ्रीका और इंग्लैंड में जाती थी तो घसियाली पिच देखकर उसके खिलाड़ी सिहर जाते थे, लेकिन अब उनका तेज गेंदबाजी आक्रमण इतना कातिलाना है कि वे यहां खेलने को बेताब हैं, क्योंकि उन्हें भी पता है कि अगर ऑस्ट्रेलियाई तेज गेंदबाज मिशेल स्टार्क, पैट कमिंस और जोश हेजलवुड भारतीय बल्लेबाजों को परेशान करेंगे तो इशांत शर्मा, जसप्रीत बुमराह और मुहम्मद शमी में भी मेजबान टीम के 20 विकेट लेने का माद्दा है। भारतीय टीम के आत्मविश्वास को इसी से भांपा जा सकता है कि एक दिन पहले भारतीय कप्तान विराट कोहली ने बेबाकी से कहा, हम नर्वस नहीं बल्कि इस पिच पर खेलने को उत्साहित हैं। टीम ने अपने अंतिम-13 में तेज गेंदबाज उमेश यादव और भुवनेश्वर कुमार के अलावा स्पिनर रवींद्र जडेजा को शामिल किया है। चोटिल अश्विन की जगह इन तीनों में से एक को अंतिम एकादश में शामिल किया जा सकता है।

स्वान नदी के एक ओर वाका है तो दूसरी ओर ऑप्टस। दोनों ही जगह 'ड्रॉप इन' पिच का प्रयोग किया जाता है। विराट के पास चार तेज गेंदबाज और तीन तेज गेंदबाज व एक स्पिनर को खिलाने का विकल्प है। अगर टीम को यह उम्मीद होगी कि ऑप्टस की पिच में वाका की तरह तीसरे और चौथे दिन दरारें आएंगीं तो जडेजा अंतिम एकादश में जगह बना सकते हैं।

मजबूत गेंदबाजी : भारतीय तेज गेंदबाजों ने इस साल दक्षिण अफ्रीका, इंग्लैंड और अब ऑस्ट्रेलिया में पहले टेस्ट में अपनी उपयोगिता साबित की है। यही कारण है कि इसे टीम इंडिया का सर्वश्रेष्ठ तेज गेंदबाजी आक्रमण कहा जा रहा है। एडिलेड में 20 में से 14 विकेट भारतीय तेज गेंदबाजों ने लिए थे। इशांत ने तीन, जसप्रीत ने छह और शमी ने पांच विकेट लिए। इन तीनों ने मिलकर कुल 123.4 ओवर गेंदबाजी की। जोहानिसबर्ग की उधड़ी हुई पिच पर भारत ने इन्हीं गेंदबाजों के दम पर मैच जीता था। यही नहीं, विराट ने एडिलेड की दूसरी पारी में 34 रन बनाए, जबकि चेतेश्वर पुजारा व अजिंक्य रहाणे भी फॉर्म में हैं।

विजयी संयोजन में बदलाव : भारतीय टीम ने चार टेस्ट मैचों की सीरीज का पहला मुकाबला एडिलेड में 31 रनों से जीता था, लेकिन मध्य क्रम के बल्लेबाज रोहित शर्मा व ऑफ स्पिनर रविचंद्रन अश्विन के चोटिल होने और घसियाली पिच के कारण विराट को यहां विजयी संयोजन में बदलाव करना होगा। पहले टेस्ट में फील्डिंग करते समय रोहित के पिछले हिस्से में चोट आ गई थी। वहीं अश्विन के पेट में खिंचाव है। दोनों ही फिट नहीं हैं। वहीं अभ्यास मैच में बायीं एड़ी चोटिल कर बैठे ओपनर पृथ्वी शॉ की चोट में तेजी से सुधार हो रहा है। अंतिम एकादश में रोहित की जगह अतिरिक्त बल्लेबाज के तौर पर हनुमा विहारी को शामिल किया जा सकता है। वह स्पिन गेंदबाजी भी कर सकते हैं। सिडनी में क्रिकेट ऑस्ट्रेलिया एकादश के खिलाफ अभ्यास मैच के दौरान भी विहारी ने 12 ओवर किए थे। विजय भी कुछ ओवर कर सकते हैं। यहां के पिच क्यूरेटर ने कहा है कि हरियाली पिच पर बाउंस के साथ स्विंग भी मिलेगी। इस पिच पर ऐसे गेंदबाज की जरूरत होगी जो स्विंग के साथ बल्लेबाजी कर सकें। ऐसे में भारतीय थिंक टैंक भुवी पर दांव लगा सकता है। भारत पहले भी पर्थ के वाका स्टेडियम में चार तेज गेंदबाजों के साथ उतर चुका है। इस साल के शुरुआत में दक्षिण अफ्रीका के खिलाफ जोहानिसबर्ग के वांडरर्स स्टेडियम में टीम इंडिया चार तेज गेंदबाज व एक तेज गेंदबाजी ऑलराउंडर हार्दिक पांड्या के साथ उतरी थी। हालांकि विराट ने गुरुवार को कहा कि उन्होंने वांडरर्स जैसी पिच पर कभी नहीं खेला है।

लगातार दो टेस्ट जीतने पर नजर : टीम इंडिया ने एडिलेड में खेले गए पहले टेस्ट में ऑस्ट्रेलिया को 31 रन से हराया था। उसकी नजर लगातार दूसरा टेस्ट जीतने पर है। भारतीय टीम ऑस्ट्रेलिया में लगातार दो टेस्ट केवल एक बार ही जीती है। बिशन सिंह बेदी की कप्तानी में 1977-78 सीरीज में उसे मेलबर्न और सिडनी टेस्ट में जीत मिली थी। मेलबर्न सीरीज का तीसरा और सिडनी चौथा टेस्ट था।

ऑस्ट्रेलियाई टीम में बदलाव नहीं : हाल के रिकॉर्ड पर गौर करें तो पश्चिम आस्ट्रेलिया ने न्यू साउथ वेल्स के खिलाफ नवंबर में यहा शेफील्ड शील्ड मैच खेला था। उस मैच में जो 40 विकेट गिरे उनमें से आठ विकेट स्पिनरों ने लिए थे। इनमें से सात विकेट अकेले ऑफ स्पिनर नाथन लियोन ने हासिल किए थे। ऑफ स्पिनर लियोन ने यहां से मिल रही उछाल का फायदा उठाया था। यही कारण है कि ऑस्ट्रेलियाई टीम ने अपने अंतिम एकादश में कोई बदलाव नहीं करने का फैसला लिया है। दोनों पारियों में फेल होने के बावजूद आरोन फिंच जगह बचाने में सफल हुए हैं, जबकि कप्तान टिम पेन ने खुद को फिट घोषित किया है। एडिलेड में उनके दायें हाथ में चोट लग गई थी। ऑस्ट्रेलिया स्टार्क, हेजलवुड, कमिंस और लियोन के साथ भारत पर हमला करेगा। स्टार्क ने पिछले मैच में भले ही पांच विकेट लिए थे, लेकिन वह पिछले पांच टेस्ट में 48.66 के औसत से सिर्फ 12 विकेट ले पाए हैं। उनसे मेजबानों को बेहतर प्रदर्शन की उम्मीद है।

दूसरे टेस्ट के लिए भारतीय टीम 

विराट कोहली (कप्तान), मुरली विजय, केएल राहुल, चेतेश्वर पुजारा, अजिंक्य रहाणे, हनुमा विहारी, रिषभ पंत, रवींद्र जडेजा, इशांत शर्मा, मुहम्मद शमी, जसप्रीत बुमराह, भुवनेश्वर कुमार और उमेश यादव में से

दूसरे टेस्ट के लिए ऑस्ट्रेलिया की टीम

टिम पेन (कप्तान), आरोन फिंच, उस्मान ख्वाजा, पीटर हैंड्सकांब, शॉन मार्श, ट्रेविस हेड, पैट कमिंस, मिशेल स्टार्क, नाथन लियोन, जोश हेजलवुड, मार्कस हैरिस।

ऑस्ट्रेलिया के टेस्ट मैदान पर भारत का प्रदर्शन

मैदान, टेस्ट, जीते, हारे, ड्रॉ

एडिलेड, 12, 2, 7, 3

ब्रिसबेन, 6, 0, 5, 1

मेलबर्न, 12, 2, 8, 2

सिडनी, 11, 1, 5, 5

पर्थ (वाका), 4, 1, 3, 0


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