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क्यों विराट कोहली ने छोड़ दी टेस्ट में टीम इंडिया की कप्तानी? क्या चल रहा था बोर्ड और कप्तान के बीच

विराट कोहली केवल टी-20 की कप्तानी छोड़ना चाहते थे। लेकिन बीसीसीआइ कोई भी आइसीसी टूर्नामेंट खासतौर पर विश्व कप नहीं दिला पाने के कारण उन्हें टी-20 और वनडे की कप्तानी से हटाकर टेस्ट का कप्तान बनाए रखना चाहता था। दोनों ने एक दूसरे को खुलकर अपनी बात नहीं बताई।

By TaniskEdited By: Published: Sun, 16 Jan 2022 09:31 AM (IST)Updated: Sun, 16 Jan 2022 10:56 AM (IST)
क्यों विराट कोहली ने छोड़ दी टेस्ट में टीम इंडिया की कप्तानी? क्या चल रहा था बोर्ड और कप्तान के बीच
बोर्ड और कप्तान एक-दूसरे को समझा नहीं सके। (फाइल फोटो)

अभिषेक त्रिपाठी, नई दिल्ली। पहले विराट सिर्फ टी-20 की कप्तानी छोड़ना चाहते थे और वनडे व टेस्ट में कमान अपने पास रखना चाहते थे, लेकिन बीसीसीआइ कोई भी आइसीसी टूर्नामेंट, खासतौर पर विश्व कप नहीं दिला पाने के कारण उन्हें टी-20 और वनडे की कप्तानी से हटाकर टेस्ट में बरकरार रखना चाहता था। लेकिन दोनों ने कभी भी एक-दूसरे को खुलकर अपनी चाहत नहीं बताई, सिर्फ संकेतों में शह-मात का खेल चलता रहा। इसी कारण बातें प्रेस कांफ्रेंस में खुलीं और दक्षिण अफ्रीका से टेस्ट सीरीज हारने के बाद विराट को लगा कि बीसीसीआइ उन्हें सबसे बड़े फार्मेट की कप्तानी से भी कहीं न हटा दे। इससे पहले उन्होंने खुद ही उसे छोड़ने का फैसला कर दिया।

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ऐसे हुई शुरुआत

न्यूजीलैंड के खिलाफ डब्ल्यूटीसी फाइनल हारने के बाद बीसीसीआइ के पदाधिकारी विराट की कप्तानी से खफा हो गए। एक बैठक हुई। उसकी खबरें बाहर आई तो विराट ने खुद ही टी-20 विश्व कप से पहले ही घोषणा कर दी कि वह इस टूर्नामेंट के बाद सबसे छोटे फार्मेट की कप्तानी छोड़ देंगे। उनको लगा कि ऐसा करके वह वनडे की कप्तानी बचा लेंगे लेकिन बीसीसीआइ के पदाधिकारी कुछ और ही मूड में थे।

वनडे की कप्तानी 

टी-20 विश्व कप में पाकिस्तान और न्यूजीलैंड से हारने के बाद यह तय हो गया कि विराट की वनडे कप्तानी भी जाएगी। टीम अपनी मेजबानी में भी सेमीफाइनल में नहीं पहुंची। बोर्ड के पदाधिकारी चाहते थे कि विराट खुद कप्तानी छोड़ दें लेकिन उन्होंने ऐसा नहीं किया गया। इसके बाद चयनकर्ताओं ने आठ दिसंबर को जब दक्षिण अफ्रीका के लिए टेस्ट टीम घोषित की तो साथ में यह भी बताया कि रोहित वनडे व टी-20 के कप्तान होंगे। बीसीसीआइ की प्रेस रिलीज में तब लिखा गया था कि चयन समिति ने आगे बढ़ने के दौरान रोहित को वनडे और टी-20 टीमों का कप्तान बनाने का फैसला किया है।

विराट 2023 वनडे विश्व कप तक अगुआई करना चाहते थे

विराट 2023 वनडे विश्व कप तक इस फार्मेट की कप्तानी करना चाहते थे लेकिन वह चयनकर्ताओं के फैसले से आहत हो गए। इस बीच बीसीसीआइ अध्यक्ष सौरव गांगुली ने बयान दिया कि उन्होंने विराट को टी-20 की कप्तानी छोड़ने से रोका था। हालांकि जब विराट दक्षिण अफ्रीका में जाने से पहले प्रेस कांफ्रेंस में आए तो उन्होंने गांगुली को झूठा साबित कर दिया। उन्होंने कहा कि मुझे टी-20 प्रारूप की कप्तानी छोड़ने के लिए मना नहीं किया था। इसके बाद मुख्य चयनकर्ता ने वनडे टीम की घोषणा के दौरान प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि हमने विराट से कहा था कि इस बात पर टी-20 विश्व कप के बाद फैसला लिया जा सकता है। सभी चयनकर्ताओं को लगा कि कोहली के इस फैसले का असर विश्व कप पर होगा। वहां मौजूद सभी लोगों ने कहा कि आप ऐसा मत करें। हमने विराट से कहा कि इस पर विश्व कप के बाद बात करेंगे। ये विराट का फैसला था कि वह टी-20 में कप्तान नहीं रहें। 50 ओवर मैच में उन्हें हटाने का हमारा फैसला था। चयनसमिति ने जब इस ओर चर्चा की तो विराट को दोपहर में फोन किया। मीटिंग पूरी होते ही उन्हें फोन कर बताया कि सफेद गेंद का एक ही कप्तान होगा। वह इस पर सहमत थे।

दक्षिण अफ्रीका सीरीज में हार ने किया परेशान

ऐसा पहली बार लग रहा था कि भारत दक्षिण अफ्रीका में पहली बार टेस्ट सीरीज जीत लेगा लेकिन नहीं हो सका। 1-0 की बढ़त के बाद दूसरे दर्जे की दक्षिण अफ्रीकी टीम से 1-2 से टेस्ट सीरीज हारना विराट के लिए निजी नुकसान था। वह दक्षिण अफ्रीका में भारत को टेस्ट सीरीज दिलाने वाले इकलौते कप्तान बन सकते थे। उन्होंने ही भारत को आस्ट्रेलिया में टेस्ट सीरीज दिलाई थी। उनकी कप्तानी में ही भारत ने इंग्लैंड में पिछले दौरे में टेस्ट सीरीज में 2-1 की बढ़त हासिल की थी। उस सीरीज का एक मैच अभी होना बाकी है। आस्ट्रेलिया, इंग्लैंड और दक्षिण अफ्रीका में टेस्ट सीरीज जीतने वाले वह इकलौते भारतीय कप्तान बन सकते थे लेकिन ऐसा नहीं हुआ। शुक्रवार को जब वह प्रेस कांफ्रेंस में भाग लेने आए थे उनकी बाडी लेंग्वेज बता रही थी कि वह खुश नहीं हैं।

कप्तानी की कहानी

कोहली की कप्तानी का दौर खुद में एक शानदार दास्तां रहा है। 'कूल' महेंद्र सिंह धौनी ने अपने नेतृत्व में कोहली को तैयार किया और फिर जब उन्हें लगा कि समय आ गया तो उन्होंने सफेद गेंद की जिम्मेदारी उन्हें सौंप दी। अगले दो वर्षो में कोहली टीम के ताकतवर कप्तान बन गए, जो अपने हिसाब से चीजें करते। फिर सुप्रीम कोर्ट द्वारा गठित की गई प्रशासकों की समिति थी, जिन्होंने उनकी हर मांग (कुछ सही और कुछ गलत) को पूरा किया। फिर पारंपरिक प्रशासकों की वापसी हुई, जिसमें बहुत ताकतवर सचिव और अध्यक्ष आ गए। गांगुली खुद ही सफल कप्तान रहे हैं।

कोई भी आइसीसी टूर्नामेंट नहीं जिता पाए विराट

भारतीय टीम संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) में भारत की मेजबानी में हुए टी-20 विश्व कप के सेमीफाइनल में भी नहीं पहुंच पाई थी। विराट की कप्तानी में भारत 2017 चैंपियंस ट्राफी, 2019 वनडे विश्व कप और 2021 चैंपियंस ट्राफी हारा। यही नहीं इस साल पहले विश्व टेस्ट चैंपियनशिप फाइनल में भी उसे हार मिली।


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