धौनी ने आखिरकार खोल ही दिया IPL स्पॉट फिक्सिंग पर अपना मुंह, जानें क्या बोले
इतने सालों से लोगों को धौनी के बोलने का इंतजार था...
नई दिल्ली, जेएनएन। भारतीय क्रिकेट के इतिहास में फिक्सिंग के कई दाग हैं और इनमें सबसे ताजा और गाढ़ा दाग आइपीएल स्पॉट फिक्सिंग का है। इस फिक्सिंग के बाद जहां कई क्रिकेट खिलाड़ियों के खेलने पर जिंदगी भर के लिए बैन लग गया था, वहीं दो क्रिकेट टीमों को भी आइपीएल से बाहर का रास्ता देखना पड़ा था। हालांकि, इस साल से दोनों टीमें- चेन्नई सुपरकिंग्स और राजस्थान रॉयल्स फिर से वापसी कर रही हैं। इस मामले से गहरे से जुड़े रहे महेंद्र सिंह धौनी ने अब इस मामले पर अपना मुंह 'खोला' है।
इस दाग की आंच में भारत के सबसे सफल कप्तान कहे जाने वाले महेंद्र सिंह धौनी भी आए थे। इसकी वजह यह थी कि वह चेन्नई सुपर किंग्स टीम के कप्तान थे। तब स्पॉट फिक्सिंग की व्यापक पैमाने पर जांच हुई थी और इस मामले में धौनी से भी पूछताछ हुई थी।
चेन्नई सुपरकिंग्स टीम के मालिक गुरुनाथ मयप्पन और उनके ससुर और पूर्व बीसीसीआइ अध्यक्ष एन श्रीनिवासन पर तमाम अनियमितताओं के आरोप लगे थे। आपको बता दें कि धौनी पर श्रीनिवासन और गुरुनाथ मयप्पन को बचाने के गंभीर आरोप लगे थे।
तब ऐसी खबरें आई थीं कि धौनी ने मयप्पन को क्रिकेट का कीड़ा (शौकीन, असल शब्द अंग्रेजी का Enthusiast था) कहा था। मयप्पन की क्रिकेट गतिविधियों को सुप्रीम कोर्ट द्वारा गठित जांच समिति ने आजीवन प्रतिबंधित कर दिया था। धौनी पर भी भ्रष्ट व्यवहार के आरोप तक लगे थे। बीसीसीआइ के वकील सीए सुंदरम ने कहा था कि बिहार क्रिकेट एसोसिएशन के वकील हरीश साल्वे ने धौनी को इस मामले में नाहक ही बदनाम किया था। हालांकि, कई लोगों को उनकी बातों पर यकीन नहीं हुआ था।
अब धौनी की बातें उनके मुंह से सामने आई हैं पत्रकार राजदीप सरदेसाई की किताब, 'डेमोक्रेसी इलेवन' में। धौनी ने इस किताब में सरदेसाई को इस घटना के बारे में बताया है, 'मैं आपको बता दूं कि मेरे बारे में यह सरासर झूठ फैलाया गया था कि मैंने मयप्पन को क्रिकेट एन्थुजियास्ट (Enthusiast) कहा था। मैंने सुप्रीम कोर्ट द्वारा गठित जांच समिति से कहा था कि मयप्पन का चेन्नई सुपर किंग्स टीम के मैदान पर लिए जाने वाले फैसलों से कोई लेना-देना नहीं था। मैं सच बताऊं तो एन्थुजियास्ट शब्द को ठीक से बोल भी नहीं पाता हूं।' सुंदरम ने भी कहा था कि धौनी ने मयप्पन के लिए ऐसे किसी शब्द का इस्तेमाल नहीं किया था। अब धौनी ने खुद इस मामले पर अपनी बात सामने रखी है तो शायद लोगों को उनकी बात पर कुछ यकीन आ जाए।