EPF Scheme Benefits: रिटायरमेंट फंड तक ही सीमित नहीं है पीएफ के फायदे, जानिए और क्या-क्या हैं सुविधाएं
EPF Scheme Benefits सबसे पहला बड़ा फायदा तो यह है कि ईफीएफ रिटायरमेंट सेविंग्स स्कीम भारतीय कर एक्ट की धारा 80सी के तहत कर छूट की पेशकश करती है।
नई दिल्ली, बिजनेस डेस्क। वेतनभोगी कर्मचारिओं के लिए पीएफ में निवेश सिर्फ रिटायरमेंट फंड तक ही सीमित नहीं है, बल्कि इसके कई फायदे हैं। ईपीएफ (EPF) या पीएफ (PF) एक रिटायरमेंट स्कीम है, जिसका प्रबंधन सरकार के कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (EPFO) द्वारा किया जाता है। 20 या इससे अधिक कर्मचारियों वाली कंपनी के लिए अपने कर्मचारिओं का पीएफ काटना जरूरी होता है। साथ ही इसमें कुछ नियम व शर्ते भी हैं। कर्मचारी के पीएफ अकाउंट में उसकी बेसिक सैलरी, डीए और आरए का 12 फीसद नियोक्ता द्वारा और इतना ही कर्मचारी द्वारा जमा कराया जाता है। आइए जानते हैं कि ईपीएफ अकाउंट के रिटायरमेंट सेविंग्स के अलावा और क्या-क्या फायदे हैं।
1. सबसे पहला बड़ा फायदा तो यह है कि ईफीएफ रिटायरमेंट सेविंग्स स्कीम भारतीय कर एक्ट की धारा 80सी के तहत कर छूट की पेशकश करती है।
2. ईफीएफ खाते में नियमित रूप से योगदान दे रहे किसी कर्मचारी की मृत्यु हो जाने पर उसके परिवार को इंश्योरेंस स्कीम 1976 (EDLI) का लाभ प्रदान किया जाता है। इस तरह परिवार के सदस्य को योजना के तहत ईपीएफ खाता धारक की सैलरी के 20 गुना तक की राशि दी जाती है। हालांकि, इस बीमा भुगतान की अधिकतम सीमा 6 लाख रुपये होती है।
3. ईपीएफ योजना पेंशन स्कीम 1995 (EPF) के तहत जीवनभर पेंशन की पेशकश भी करती है। ईपीएफ पेंशन या कर्मचारी पेंशन योजना (EPS) ईपीएफओ द्वारा उपलब्ध एक सामाजिक सुरक्षा योजना है। इसके अंदर कम से कम 10 साल काम कर चुका वेतनभोगी कर्मचारी 58 साल की आयु में रिटायरमेंट के बाद पेंशन पाने के योग्य होता है। ईपीएस 1995 में लॉन्च की गई थी।
4. ईपीएफ योजना की एक अच्छी बात यह भी है कि यहां एफडी (FD) आदि से भी बेहतर ब्याज मिलता है। हितग्राहियों के ईपीएफ कोष पर सरकार द्वारा दी जाने वाली ब्याज दर हर साल सरकार द्वारा तय की जाती है। इपीएफ पर ब्याज दर साल 2015-16 के 8.80 फीसद से लगातार घटकर साल 2019-20 में 8.50 फीसद पर आ गयी है, लेकिन फिर भी यह इस समय काफी बेहतर ब्याज दर है।