Move to Jagran APP

Startups Patents Filings: बीते वित्त वर्ष में भारतीय स्टार्टअप्स ने फाइल किए 83 हजार पेटेंट, नैसकॉम ने जारी की रिपोर्ट

स्टार्टअप और एमएसएमई (सूक्ष्मलघु और मध्यम उद्यमों) के आइपी पंजीकरण के लिए सरकार ने सब्सिडी सुविधा केंद्र मजबूत अनुसंधान और विकास ईकोसिस्टम बनाने में भरपूर मदद की है। नैसकॉम ने शुक्रवार को अपने वार्षिक भारत में पेटेंट रुझान अध्ययन का सातवां संस्करण जारी किया। रिपोर्ट के अनुसार वित्त वर्ष 2023 में पेटेंट दाखिल करने में 24.6 प्रतिशत की वार्षिक वृद्धि दर पिछले दो दशकों के बाद सर्वाधिक है।

By Agency Edited By: Praveen Prasad Singh Published: Fri, 26 Apr 2024 09:30 PM (IST)Updated: Fri, 26 Apr 2024 09:30 PM (IST)
नैस्काम की एक रिपोर्ट के अनुसार, पेटेंट फाइल करने में एआइ, इंटरनेट आफ ¨थग्स और न्यूरो टेक्नोलाजी स्टार्टअप आगे रहे।

पीटीआई, नई दिल्ली। भारत में नवाचार या इनोवेशन की अद्भुत क्षमता है। अनुकूल माहौल मिलने से भारत की यह क्षमता अब स्पष्ट तौर पर नजर आ रही है। सरकार की उदार नीतियों के कारण स्टार्टअप्स ईकोसिस्टम फल फूल रहा है। इनमें गजब का आत्मविश्वास आया है। पिछले वित्त वर्ष में भारतीय स्टार्टअप्स ने 83 हजार पेटेंट फाइल किए हैं। पेटेंट फाइल करने में आटिफिशियल इंटेलिजेंस (एआइ), इंटरनेट आफ थिंग्‍स (आइओटी) और न्यूरो टेक्नोलॉजी स्टार्टअप आगे रहे।

loksabha election banner

स्टार्टअप और एमएसएमई (सूक्ष्म,लघु और मध्यम उद्यमों) के आइपी पंजीकरण के लिए सरकार ने सब्सिडी, सुविधा केंद्र, मजबूत अनुसंधान और विकास ईकोसिस्टम बनाने में भरपूर मदद की है। नेशनल एसोसिएशन ऑफ सॉफ्टवेयर एंड सर्विसेज कंपनीज (नैसकाम) ने शुक्रवार को अपने वार्षिक 'भारत में पेटेंट रुझान' अध्ययन का सातवां संस्करण जारी किया। इसमें बौद्धिक संपदा (आइपी) अधिकार के साथ डिजिटल अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने का विशेष उल्लेख किया गया है।

रिपोर्ट के अनुसार वित्त वर्ष 2023 में पेटेंट दाखिल करने में 24.6 प्रतिशत की वार्षिक वृद्धि दर पिछले दो दशकों के बाद सर्वाधिक है। भारत में महिलाओं द्वारा दायर पेटेंट की हिस्सेदारी एक साल पहले के 10.2 प्रतिशत से बढ़कर वित्त वर्ष 2022 में 11.6 प्रतिशत हो गई है। वित्त वर्ष 2023 के दौरान कुल पेटेंट फाइलिंग में 9.3 प्रतिशत के साथ तमिलनाडु ने महाराष्ट्र (6.8 प्रतिशत का योगदान) को पीछे छोड़ शीर्ष स्थान हासिल किया है।

2019 से 2023 के बीच पेटेंट की संख्या में दोगुनी से अधिक वृद्धि

रिपोर्ट के अनुसार वित्त वर्ष 2019 और वित्त वर्ष 2023 के बीच दिए गए पेटेंट की संख्या में दो गुना से अधिक की उल्लेखनीय वृद्धि दर्ज की गई है। नैसकाम ने अनुमान लगाया कि मार्च 2023 और मार्च 2024 के बीच एक लाख से अधिक पेटेंट दिए जाने का अनुमान लगाया है। पिछले दशक में निवासियों (भारत में मौजूद फाइल करने वाले) द्वारा दायर पेटेंट का अनुपात लगभग दोगुना हो गया है। यह वित्तीय वर्ष 2019 में कुल फाइलिंग के 33.6 प्रतिशत से बढ़कर वित्त वर्ष 2023 में 50 प्रतिशत से अधिक हो गया है।

इनोवेशन पर जोर दे रहा भारत

अध्ययन में कहा गया है, भारत का इनोवेशन पर जोर बढ़ रहा है। प्रमुख भारतीय स्टार्टअप्स द्वारा 2008 के बाद से 900 से अधिक पेटेंट दाखिल करने के साथ-साथ अन्य देशों द्वारा भारत में 32 हजार पेटेंट सहयोग संधि (पीसीटी) आवेदन जमा करना इसका प्रमाण है। डीपटेक स्टार्टअप्स द्वारा फाइलिंग में चेन्नई पेटेंट कार्यालय का हिस्सा लगभग 70 प्रतिशत है। इनमें से अधिकांश आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआइ) और स्वास्थ्य सेवा क्षेत्र में हैं। डीप टेक स्टार्टअप इंजीनियरिंग नवाचार या वैज्ञानिक खोजों में नवाचार को बढ़ावा देता है। सामान्यत: ऐसे स्टार्टअप कृषि, लाइफ साइंस, रसायन विज्ञान, एयरोस्पेस और हरित ऊर्जा पर काम करते हैं, हालांकि इन तक ही सीमित नहीं हैं।

रिपोर्ट में कहा गया है कि वैश्विक स्तर पर दायर पेटेंट में भारत की हिस्सेदारी सिर्फ दो प्रतिशत से कुछ अधिक है। इस दिशा में पहल की आवश्यकता है। नैसकाम की अध्यक्ष देबजानी घोष ने कहा, पिछले कुछ वर्षों में पेटेंट फाइलिंग में वृद्धि भारत की बढ़ती नवाचार क्षमता का स्पष्ट संकेत है, खासकर एआइ जैसे क्षेत्रों में। घरेलू पेटेंट गतिविधि को और बढ़ाने के लिए बौद्धिक संपदा अधिकारों के बारे में जागरूकता बढ़ाने के लिए प्रमुख हितधारकों के बीच सहयोग आवश्यक है।

 


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.