खुदरा महंगाई में राहत की उम्मीद अगले साल, ब्याज दरों में और कमी की संभावना कमः SBI की रिपोर्ट
कोरोना संक्रमण का फैलाव अब तेजी से हो रहा है और यह ग्रामीण इलाकों को भी अपनी चपेट में ले रहा है। इकोरैप की रिपोर्ट के मुताबिक अनाज आलू टमाटर और प्रोटीन के महंगे होने के आसार हैं।
नई दिल्ली, जागरण ब्यूरो। सप्लाई चेन के प्रभावित होने से खुदरा महंगाई दर में फिलहाल राहत की उम्मीद नहीं दिख रही है। एसबीआई इकोरैप की रिपोर्ट के मुताबिक अगस्त में खुदरा महंगाई दर सात फीसद या उससे अधिक रह सकती है। रिपोर्ट के मुताबिक महंगाई दर में बढ़ोत्तरी को देखते हुए चालू वित्त वर्ष में ब्याज दरों में और कटौती की संभावना काफी कम दिख रही है। उद्योग जगत ब्याज दरों में और कटौती के लिए दबाव बना रहा है।
कोरोना संक्रमण का फैलाव अब तेजी से हो रहा है और यह ग्रामीण इलाकों को भी अपनी चपेट में ले रहा है। इकोरैप की रिपोर्ट के मुताबिक अनाज, आलू, टमाटर और प्रोटीन के महंगे होने के आसार हैं। जुलाई में मांस, मछली जैसे प्रोटीन प्रचुर आइटम की कीमत में 18.81 फीसद और दाल में 15.92 फीसद का इजाफा रहा।
रिपोर्ट में कहा गया है कि इस वर्ष दिसंबर के बाद ही महंगाई दर के चार फीसद या उससे नीचे आने की उम्मीद की जा सकती है। अगस्त के खुदरा महंगाई दर के आंकड़े अगले सप्ताह के सोमवार को आने वाले हैं। जुलाई में खुदरा महंगाई दर 6.93 फीसद पर रही थी।
औद्योगिक उत्पादन में दिखने लगा सुधार
देशव्यापी अनलॉक का असर औद्योगिक उत्पादन पर दिखने लगा है। औद्योगिक उत्पादन सूचकांक (आईआईपी) में इस साल जुलाई महीने में पिछले साल जुलाई के मुकाबले 10.4 फीसद की गिरावट रही, लेकिन इस साल जून के मुकाबले औद्योगिक उत्पादन का प्रदर्शन बेहतर रहा। इस साल जून में औद्योगिक उत्पादन में 16.6 फीसद की गिरावट दर्ज की गई थी। कुल मैन्यूफैक्चरिंग में होने वाली गिरावट में भी कमी आई है। जून महीने में मैन्यूफैक्चरिंग में 17.1 फीसद की गिरावट आई थी।