पीएफसी ने वित्तीय वर्ष 2019-20 में पॉवर प्रोजेक्ट के लिए 1 लाख रुपए से अधिक के लोन की दी मंजूरी
कर्ज देने वाली इस संस्था ने पिछले वित्तीय वर्ष में लगभग 68000 करोड़ रुपए के कर संवितरण के साथ 1 लाख करोड़ रुपए से अधिक के कर्जों की मंजूरी दी।
नई दिल्ली, बिजनेस डेस्क। सरकारी स्वामित्व वाली प्रमुख एनबीएफसी पावर फाइनेंस कॉरपोरेशन (पीएफसी) ने कोविड- 19 के प्रकोप के कारण उत्पन्न अनेक चुनौतियों के बावजूद वित्तीय वर्ष 2019-20 (अप्रैल-मार्च) में मजबूत वित्तीय प्रदर्शन किया।
कर्ज देने वाली इस संस्था ने पिछले वित्तीय वर्ष में लगभग 68,000 करोड़ रुपए के कर संवितरण के साथ 1 लाख करोड़ रुपए से अधिक के कर्जों की मंजूरी दी। कोविड- 19 के फैलाव को रोकने के लिए लागू देशव्यापी लॉकडाउन के बावजूद मार्च 2020 के अंतिम सप्ताह में 11,000 करोड़ रुपए का संवितरण किया गया। कंपनी के मजबूत आईटी इन्फ्रास्ट्रक्चर के कारण पीएफसी के कर्मचारियों ने बड़े पैमाने पर वर्क फ्रॉम होम मॉडल को अपनाया।
वर्ष के दौरान पीएफसी ने अपने स्टैंडअलोन राजस्व में 16 फीसद की वृद्धि दर्ज की, जबकि उसने फंड की लागत में 16 बीपीएस की कमी दर्ज की। कंपनी का शुद्ध एनपीए 4.55 फीसद से घटकर 3.8 फीसद हो गया, जो कंपनी के मजबूत प्रदर्शन को दर्शाता है। इसके अलावा, कंपनी ने अपने लोन एसेट्स में 10 फीसद की वृद्धि दर्ज की, फंड की लागत में 16 फीसद बीपीएस की कमी, और ब्याज दर में 16 बीपीएस की वृद्धि हुई।
चुनौतीपूर्ण वातावरण के बावजूद, सालाना आधार पर शुद्ध लाभ जो वित्त वर्ष 2019 में 6953 करोड़ रुपए की तुलना में वित्त वर्ष 2020 में 6788 करोड़ रुपए रहा। वित्त वर्ष 2020 के पिछले 45 दिनों में असाधारण विनिमय दर में 6 फीसद की भिन्नता के कारण भी लाभ प्रभावित हुआ है।