कोरोना काल में 1.3 लाख से अधिक कंपनियां पंजीकृत, इस दौरान दिवालिया प्रक्रिया से भी गुजरीं 283 कंपनियां
लोकसभा में एक प्रश्न के उत्तर में ताजा आंकड़े उपलब्ध कराते हुए केंद्रीय वित्त राज्यमंत्री अनुराग ठाकुर ने कहा कि अप्रैल 2020 से लेकर फरवरी 2021 तक अलग-अलग कारणों से कुल 10113 कंपनियों का पंजीकरण रद भी किया गया।

नई दिल्ली, आइएएनएस। चालू वित्त वर्ष में फरवरी के अंत तक कुल 1,38,051 कंपनियों का पंजीकरण हुआ है। कोरोना से उपजे कठिन हालात के बीच नई कंपनियों का इस संख्या में गठन उत्साहजनक है। लोकसभा में एक प्रश्न के उत्तर में ताजा आंकड़े उपलब्ध कराते हुए केंद्रीय वित्त राज्यमंत्री अनुराग ठाकुर ने कहा कि अप्रैल, 2020 से लेकर फरवरी, 2021 तक अलग-अलग कारणों से कुल 10,113 कंपनियों का पंजीकरण रद भी किया गया।
पिछले वर्ष कोरोना महामारी व उसकी रोकथाम के लिए देशभर में लॉकडाउन के चलते आर्थिक मोर्चे पर कारोबार जगत को गंभीर संकट से गुजरना पड़ा था।इससे संबंधित एक महत्वपूर्ण जानकारी में ठाकुर ने संसद को बताया कि महामारी के दौरान गत वर्ष कुल 283 कंपनियां दिवालिया प्रक्रिया में भी गई।
देश में नेशनल कंपनी लॉ ट्रिब्यूनल (एनसीएलटी) की विभिन्न पीठों के समक्ष 76 दिवालिया मामलों का निपटारा किया गया। ऐसे 128 मामले आपसी समझौते व अन्य तरीकों से सुलझा लिए गए। वहीं कर्जदाताओं को उनका बकाया चुकाने के लिए 189 कंपनियों की संपत्ति की बिक्री करनी पड़ी। कोरोना से उत्पन्न हालात को देखते हुए पिछले वर्ष अस्थायी तौर पर दिवालिया प्रकिया निलंबित भी की गई थी।
उल्लेखनीय है कि कोविड-19 के काल में कंपनियों ने अपना अस्तित्व बचाए रखने और बिजनेस जारी रखने के लिए टेक्नोलॉजी का सहारा लिया। इस दौरान कई तरह के नवोन्मेष सामने आए। कंपनियों ने भी अपने कामकाज को जारी रखने के लिए कई तरह के प्रयोग किए और कई ऐसे बदलाव तो अब स्थायी तौर पर बने रहेंगे, इस तरह की संभावना जतायी जा रही है।
Edited By Ankit Kumar