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IDBI बैंक के शेयरधारकों के लिए ओपन ऑफर लाएगी LIC

एलआइसी-आइडीबीआइ बैंक के सौदे में सरकार अपनी हिस्सेदारी नहीं घटाएगी। बल्कि बैंक अतिरिक्त शेयर एलआइसी को जारी कर सकता है ताकि उसकी हिस्सेदारी 51 फीसद तक हो जाए

By Praveen DwivediEdited By: Published: Wed, 11 Jul 2018 11:19 AM (IST)Updated: Thu, 12 Jul 2018 07:40 AM (IST)
IDBI बैंक के शेयरधारकों के लिए ओपन ऑफर लाएगी LIC
IDBI बैंक के शेयरधारकों के लिए ओपन ऑफर लाएगी LIC

नई दिल्ली (बिजनेस डेस्क)। भारतीय जीवन बीमा निगम (एलआईसी) आइडीबीआइ बैंक के माइनॉरिटी यानी छोटे शेयरधारकों के लिए ओपन ऑफर लेकर आएगी। उसने आइडीबीआइ बैंक की 51 फीसद हिस्सेदारी अधिग्रहीत करने का प्रस्ताव रखा है।

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सूत्रों के अनुसार एलआइसी मार्केट रेगुलेटर सेबी से इस संबंध में बात करेगी। हालांकि इससे पहले वह बैंक की बहुमत हिस्सेदारी लेने के लिए अपने बोर्ड से मंजूरी लेगी। बीमा नियामक इरडा बैंक की हिस्सेदारी खरीदने के लिए एलआइसी को पहले ही मंजूरी दे चुका है। एलआइसी के इस कदम से एनपीए से जूझ रहे बैंक को करीब 10,000-13000 करोड़ रुपये पूंजी मिल सकती है।

सूत्रों के अनुसार बैंक के छोटे शेयरधारकों के हितों की रक्षा के लिए एलआइसी ओपन ऑफर लाएगी। इसके साथ ही एलआइसी-आइडीबीआइ डील की प्रक्रिया शुरू हो जाएगी। सेबी के अधिग्रहण संबंधी नियमों के मुताबिक अधिग्रहणकर्ता को कंपनी के शेयरधारकों के लिए ओपन ऑफर लाना होगा या कम से कम 25 फीसद वोटिंग राइट देना होगा। इरडा ने एलआइसी को आइडीबीआइ में अपनी हिस्सेदारी मौजूदा 10.82 फीसद से बढ़ाकर 51 फीसद करने की मंजूरी पिछले सप्ताह दी थी। मौजूदा नियमों के मुताबिक कोई बीमा कंपनी किसी सूचीबद्ध वित्तीय कंपनी की 15 फीसद से ज्यादा हिस्सेदारी खरीद नहीं सकती है। इसी वजह से इरडा से विशेष अनुमति ली गई है।

एलआइसी आइडीबीआइ बैंक की हिस्सेदारी खरीदकर बैंकिंग क्षेत्र में उतने की योजना बना रही है। इनके बीच सौदे से दोनों को फायदा होगा। एलआइसी अपने विशाल नेटवर्क का लाभ उठाकर बैंकिंग क्षेत्र में प्रभावी पहुंच बना सकती है जबकि आइडीबीआइ बैंक को पूंजी मिलने से अपनी बैलेंस शीट सुधारने का अवसर मिलेगा। एलआइसी अपनी 2000 शाखाओं के जरिये बैंकिंग सेवाएं दे सकती है जबकि आइडीबीआइ बैंक अपनी शाखाओं पर एलआइसी की पॉलिसी बेच सकती है। बैंक को एलआइसी के 22 करोड़ पॉलिसीधारकों के खाते भी मिलेंगे। इससे उसका डिपॉजिट भी बढ़ेगा।

एलआइसी-आइडीबीआइ बैंक के सौदे में सरकार अपनी हिस्सेदारी नहीं घटाएगी। बल्कि बैंक अतिरिक्त शेयर एलआइसी को जारी कर सकता है ताकि उसकी हिस्सेदारी 51 फीसद तक हो जाए। इससे बैंक को नई पूंजी मिल सकेगी। नए शेयर जारी होने के बाद सरकार की बैंक में हिस्सेदारी मौजूदा 80.96 फीसद से घटकर 50 फीसद से कम हो जाएगी।


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