उद्योग जगत ने कहा, रोजगार सृजन में सहायक होगा पैकेज, सरकार ने की सभी सेक्टर्स को राहत देने की कोशिश
उद्योग संगठनों का कहना है कि यह पैकेज रोजगार सृजन में सहायक होगा। भारतीय उद्योग परिसंघ (सीआइआइ) के प्रेसिडेंट उदय कोटक ने कहा कि यह देखना सुखद है कि वित्तीय दबाव के बावजूद सरकार ने एक और पैकेज का रास्ता चुना।
नई दिल्ली, पीटीआइ। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण की ओर से घोषित तीसरे राहत पैकेज की उद्योग जगत ने जमकर तारीफ की है। उद्योग संगठनों का कहना है कि यह पैकेज रोजगार सृजन में सहायक होगा। भारतीय उद्योग परिसंघ (सीआइआइ) के प्रेसिडेंट उदय कोटक ने कहा कि यह देखना सुखद है कि वित्तीय दबाव के बावजूद सरकार ने एक और पैकेज का रास्ता चुना।
ईसीएलजीएस का दायरा बढ़ाने से दबाव में चल रहे सेक्टर्स को फायदा होगा। फिक्की की प्रेसिडेंट संगीता रेड्डी ने आवास, इन्फ्रास्ट्रक्चर और कंस्ट्रक्शन पर फोकस दिखाता है कि सरकार सुधार की राह पर बढ़ रही इकोनॉमी को गति देने में इन सेक्टर्स की क्षमताओं का भरपूर प्रयोग करना चाहती है। एसबीआइ ईकोरैप की रिपोर्ट के मुताबिक, 2.65 लाख करोड़ रुपये के पैकेज के जरिये सरकार ने इंसेंटिव के जरिये मांग बढ़ाने की तैयारी की है। रोजगार सृजन को पैकेज के केंद्र में रखा गया है।
बंधन बैंक के मैनेजिंग डायरेक्टर एवं सीईओ सीएस घोष ने कहा कि यह राहत पैकेज सही समय पर उठाया गया कदम है। इससे तेजी की राह पर बढ़ रही अर्थव्यवस्था को प्रोत्साहित करने में मदद मिलेगी। डन एंड ब्रैडस्ट्रीट के ग्लोबल चीफ इकोनॉमिस्ट अरुण सिंह ने कहा कि संक्रमण बढ़ने की चिंता के बीच इस पैकेज से बड़ी राहत मिलेगी।
65,000 करोड़ रुपये की खाद सब्सिडी के एलान की भी सराहना हो रही है। रसायन एवं उर्वरक मंत्री डीवी सदानंद गौड़ा ने कहा कि इससे किसानों को खाद की उपलब्धता सुनिश्चित होगी। रेटिंग एजेंसी इकरा ने कहा कि यह कदम उर्वरक उद्योग के लिए राहतभरा होगा।
इकरा के अनुमान के मुताबिक, वित्त वर्ष 2020-21 के अंत तक सब्सिडी बकाया 57,000 से 60,000 करोड़ रुपये पर पहुंच सकता है। इस बकाया से सेक्टर में नकदी की उपलब्धता पर संकट आ सकता था। सरकार ने जो अतिरिक्त आवंटन किया है, उससे स्पष्ट है कि सरकार का रुख उर्वरक सेक्टर को लेकर बदल रहा है।
रियल एस्टेट सेक्टर के लिए की गई घोषणाओं पर क्रेडाई के नेशनल चेयरमैन जक्षय शाह ने कहा कि आयकर में राहत से नकदी संकट से जूझ रहे डेवलपर्स को राहत मिलेगी। उन्होंने कहा कि महामारी के कारण पहले से ही प्रॉपर्टी के दाम कई जगहों पर सर्किल रेट से नीचे जा चुके हैं।
नरेडको और एसोचैम के प्रेसिडेंट निरंजन हीरानंदानी ने भी इस कदम का स्वागत किया। ऑटोमोबाइल इंडस्ट्री के संगठन सियाम के प्रेसिडेंट केनिची अयुकावा ने कहा कि तीसरे राहत पैकेज में रोजगार सृजन और क्रेडिट गारंटी के विशेष प्रावधान किए गए हैं। इससे संकट में चल रहे कई सेक्टर्स को दबाव से बाहर आने में मदद मिलेगी।