आयकर विभाग ने चालू वित्त वर्ष में अब तक 39.14 लाख करदाताओं को 1.26 लाख करोड़ रुपये का रिफंड किया जारी
आयकर विभाग ने चालू वित्त वर्ष में अब तक 39 लाख करदाताओं को 1.26 लाख करोड़ रुपये का कर रिफंड जारी किया है। कुल कर रिफंड में व्यक्तिगत आयकर रिफंड 34532 करोड़ रुपये और कॉरपोरेट कर रिफंड 92376 करोड़ रुपये है।
नई दिल्ली, पीटीआइ। आयकर विभाग ने चालू वित्त वर्ष में अब तक 39 लाख करदाताओं को 1.26 लाख करोड़ रुपये का कर रिफंड जारी किया है। वित्त राज्यमंत्री अनुराग ठाकुर के कार्यालय ने बुधवार को ट्वीट कर यह जानकारी दी। कुल कर रिफंड में व्यक्तिगत आयकर रिफंड 34,532 करोड़ रुपये और कॉरपोरेट कर रिफंड 92,376 करोड़ रुपये है।
ट्वीट में कहा गया है, ‘‘39.14 लाख करदाताओं को 1,26,909 करोड़ रुपये का कर रिफंड किया गया है। इस दौरान 37,21,584 व्यक्तिगत आयकरदाताओं को 34,532 करोड़ रुपये का रिफंड जारी किया गया है। वहीं 1,92,409 मामलों में 92,376 करोड़ रुपये का कॉरपोरेट कर रिफंड किया गया है। यह आंकड़ा 27 अक्टूबर, 2020 तक का है।’’
Rs 1,26,909 crore tax refunds issued
39.14 lakh taxpayers got refunds
Income tax refunds of Rs. 34,532 crore have been issued in 37,21,584 cases
Corporate tax refunds of Rs. 92,376 crore have been issued in 1,92,409 cases
(Till 27th Oct,2020)@FinMinIndia @IncomeTaxIndia— Office of Mr. Anurag Thakur (@Anurag_Office) October 28, 2020
आयकर विभाग ने कई शहरों में हवाला कारोबारियों और फर्जी बिल बनाने वालों पर छापे मारकर 62 करोड़ रुपये की नकदी जब्त की है। आयकर विभाग के सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार, ये बेनामी धन है और इसे संजय जैन के रूप में पहचाने गए एक व्यक्ति से संबंधित विभिन्न परिसरों से जब्त किया गया।
आयकर विभाग ने सोमवार को दिल्ली-एनसीआर, हरियाणा, पंजाब, उत्तराखंड और गोवा में 42 परिसरों में छापेमारी की थी, जिनसे यह राशि जब्त की गई। आयकर विभाग ने कहा कि इस दौरान हवाला रैकेट द्वारा कथित रूप से करीब 500 करोड़ रुपये के अवैध लेनदेन के संकेत मिले।
उन्होंने कहा कि जिन परिसरों में छापे मारे गए, वहां लकड़ी की अलमारी और फर्नीचरों में 2000 रुपये और 500 रुपये के नोट छिपाकर रखे गए थे। इससे पहले सीबीडीटी ने मंगलवार को जारी बयान कहा था कि 2.37 करोड़ रुपये की नकदी और 2.89 करोड़ रुपये के आभूषणों के साथ ही 17 बैंक लॉकरों की जानकारी मिली है, जिनकी जांच की जानी बाकी है।