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मूलभूत सुविधाओं के लिए तरस रहा निबंधन कार्यालय

संवाद सूत्र राघोपुर(सुपौल) प्रखंड के गणपतगंज निबंधन कार्यालय को अब भी मूलभूत सुविधाओं का इं

By JagranEdited By: Published: Tue, 14 Sep 2021 12:34 AM (IST)Updated: Tue, 14 Sep 2021 12:36 AM (IST)
मूलभूत सुविधाओं के लिए तरस रहा निबंधन कार्यालय
मूलभूत सुविधाओं के लिए तरस रहा निबंधन कार्यालय

संवाद सूत्र, राघोपुर(सुपौल): प्रखंड के गणपतगंज निबंधन कार्यालय को अब भी मूलभूत सुविधाओं का इंतजार है। खासकर महिलाएं जो जमीन खरीद-बिक्री करने आती हैं उन्हें काफी कठिनाईयों का सामना करना पड़ता है। लोगों के लिए बेहतर शौचालय, स्वच्छ पानी तक के लिए इधर-उधर भटकना पड़ता है। साफ-सफाई की उचित व्यवस्था नहीं रहने से कार्यालय परिसर में गंदगी की समस्या उत्पन्न हो गई है।

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नहीं है पार्किंग की सुविधा

वीरपुर अनुमंडल क्षेत्र के गणपतगंज निबंधन कार्यालय में राघोपुर, बसंतपुर, प्रतापगंज प्रखंड क्षेत्र के लोग यहां जमीन निबंधन करने के लिए वाहन लेकर आते हैं। वाहन पार्किंग के लिए यहां कोई चिन्हित जगह नहीं रहने के चलते लोग जहां-तहां वाहन को खड़ा कर चले जाते हैं। जिससे लोगों को चलने में काफी कठिनाई का सामना करना पड़ता है। ऐसा भी नहीं है कि कार्यालय को जमीन की कमी है। सूत्रों की मानें तो गणपतगंज निबंधन कार्यालय को ढाई से तीन एकड़ जमीन है। बावजूद मूलभूत सुविधा से कार्यालय वंचित है।

---------------------------- 1919 से कार्यरत है कार्यालय

स्थानीय बुजुर्ग टिक्कम जैन, सीताराम दास, कातिब संघ के सचिव सिकंदर यादव आदि ने कहा कि ब्रिटिश हुकूमत के समय करीब 1919 ईं से यहां निबंधन कार्यालय संचालित हो रहा है। भले ही उस समय भी कार्यालय को पक्की चारदीवारी नहीं थी, लेकिन कच्ची चारदीवारी थी। साफ-सफाई, हरे- भरे पेड़ पौधों से बाग बगीचा से परिपूर्ण कार्यालय परिसर मानों एक रमणीक स्थल की तरह अपनी पहचान रखता था। अब जब सरकार को यहां से राजस्व में वृद्धि हुई तो चारदीवारी की कौन कहे शौचालय एवं पीने के पानी के लिए भी लोगों को इधर-उधर भटकना पड़ता है।

----------------------------- क्या कहते हैं लोग

सोमवार को बसंतपुर प्रखंड से अपने परिवार के साथ निबंधन कार्य के लिए आए दिवाकर कुमार ने कहा कि वर्षो से निबंधन कार्य के लिए यहां आते रहते हैं। पहले की अपेक्षा यहां अधिक असुविधा महसूस होती है। आज के समय में कार्यालय परिसर में शौचालय, पेयजल, चारदीवारी, साफ-सफाई की व्यवस्था नहीं होना अधिकारी एवं जनप्रतिनिधि की उदासीनता एवं लापरवाही को उजागर करता है।


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