सरकारी विभागों पर है 4.26 करोड़ का बिजली बिल बकाया
एक ओर दो हजार से अधिक बिजली बिल बकाया रखने वालों की बत्ती विभाग गुल कर रहा है। इसके लिए अभियान चलाया जा रहा है। कनेक्शन काटने में पुलिस की भी सहायता ली जा रही है। लेकिन बात आती है सरकारी विभागों की तो बिजली विभाग की कार्रवाई रुक जाती है। यहां एक-दो हजार नहीं, लाखों का बकाया है।
जासं, छपरा : एक ओर दो हजार से अधिक बिजली बिल बकाया रखने वालों की बत्ती विभाग गुल कर रहा है। इसके लिए अभियान चलाया जा रहा है। कनेक्शन काटने में पुलिस की भी सहायता ली जा रही है। लेकिन बात आती है सरकारी विभागों की तो बिजली विभाग की कार्रवाई रुक जाती है। यहां एक-दो हजार नहीं, लाखों का बकाया है। बावजूद इसके विद्युत विभाग रिमाइंडर के सिवा कुछ नहीं कर पा रहा है। हालांकि इनकम टैक्स कार्यालय एवं मत्स्य विभाग का कनेक्शन काटा गया है। आंकड़े पर गौर करें तो सरकारी कार्यालयों पर करीब 4 करोड़ 26 लाख रुपये का बकाया है। सबसे बड़े बकाएदारों में पीएचईडी का नाम सबसे ऊपर है। इस विभाग पर कुल 2 करोड़ 25 लाख 85 हजार का बकाया है। जिला प्रशासन दूसरे स्थान पर है। जिला प्रशासन पर 1 करोड़ 26 लाख 96 हजार 312 रुपये का बकाया है। हालांकि कुछ विभागों का प्राप्त डाटा विगत वर्ष तक का ही है।
विभाग ने कुछ कार्यालयों का कनेक्शन काटने के लिए दस्तक दिया है, लेकिन उन विभागों द्वारा एक-दो दिन का समय लिया गया है। सरकारी कार्यालयों पर बकाया राशि की सूची
पीएचईडी 2 करोड़ 25 लाख 84 हजार 950 रुपये
जिला प्रशासन- 1 करोड़ 26 लाख 96 हजार 312 रुपये
आयुक्त कार्यालय- 73 हजार 328 रुपये
पीडब्ल्यूडी- 36 लाख 53 हजार 200 रुपये
डीटीओ कार्यालय- 13 लाख 67 हजार 292 रुपये
सेल्स टैक्स विभाग - 72 हजार 416 रुपये
डाकघर- 2 लाख 52 हजार 956 रुपये
आयकर विभाग- 96 हजार 954
कृषि विभाग- 7 लाख 04 हजार 721
मंडल कारा- 5 लाख 73 हजार 038
वन विभाग- 86 लाख 54 हजार 235
शिक्षा विभाग- 4 लाख 30 हजार 272
गंडक विभाग- 6 लाख 287 रुपये बिजली विभाग- 12 लाख 15 हजार 628
न्यायालय- 9 लाख 29 हजार 058 रुपये
पुलिस विभाग- 61 लाख 64 हजार 532
स्वास्थ्य विभाग- 34 लाख 34 हजार 494 रुपये
क्या कहते हैं अधीक्षण अभियंता
सरकारी विभाग पर बहुत पैसा बकाया है। कार्रवाई की जा रही है। कुछ विभाग का कनेक्शन काटा गया है तो कुछ की पहल चल रही है। एक-दो विभाग को छोड़कर अन्य सभी का विद्युत कनेक्शन बकाया बिल को लेकर शीघ्र काटा जाएगा।
कुमार गौरव, अधीक्षण अभियंता, विद्युत विभाग