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पटना में 11.73 करोड़ के आरटीजीएस मामले में आरा से उठाए गए दो संदिग्ध

नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया के खाते से 11.73 करोड़ रुपये आरटीजीएस मामले की जांच तेज कर दी गई है। जांच के लिए पुलिस की दो टीमें बनी हैं। टीम आरोपितों की गिरफ्तारी के लिए जगह जगह छापेमारी कर रही है। आरा से दो संदिग्ध को हिरासत में लिया गया है।

By JagranEdited By: Published: Mon, 11 Jan 2021 01:55 AM (IST)Updated: Mon, 11 Jan 2021 01:55 AM (IST)
पटना में 11.73 करोड़ के आरटीजीएस मामले में आरा से उठाए गए दो संदिग्ध
पटना में 11.73 करोड़ के आरटीजीएस मामले में आरा से उठाए गए दो संदिग्ध

पटना । नेशनल हाईवे अथॉरिटी ऑफ इंडिया (एनएचआइ) के बैंक अकाउंट से 11.73 करोड़ रुपये आरटीजीएस कराने के प्रयास मामले की जांच के लिए गांधी मैदान थाने की पुलिस ने दो टीमें गठित की हैं। बैंक की आंतरिक जांच में 28 करोड़ की हेराफेरी की बात सामने आने के बाद पुलिस ने जांच का दायरा बढ़ा दिया है।

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मामले में पुलिस ने जिन चार संदिग्ध की पहचान की है, वे आरा के रहने वाले हैं। सभी का सत्यापन करने के बाद पुलिस रविवार को आरा में दबिश दी। लेकिन, कोई घर नहीं मिला। पुलिस उनके रिश्तेदारों से पूछताछ की। चारों संदिग्ध के दो अन्य करीबी को पुलिस हिरासत में लेकर पटना लौट आई। मामले में बैंक अधिकारी सहित तीन लोगों को हिरासत में लिया गया है। केस दर्ज करने के बाद से गांधी मैदान पुलिस दस लोगों से पूछताछ कर चुकी है।

नौकरी दिलाने का झांसा

देकर भेजा था बैंक

आरा में छापेमारी कर रही पटना पुलिस को संदिग्ध सौरभ कुमार, सागर कुमार, अमृत और सिद्धार्थ की तलाश है। पुलिस की मानें तो पूर्व में गिरफ्तार शुभम गुप्ता को सिर्फ बैंक में फर्जी दस्तावेज लेकर 11.73 करोड़ रुपये का आरटीजीएस कराने के लिए भेजा गया था। बोरिग रोड स्थित जिस निजी बैंक में रुपये का आरटीजीएस कराना था, उस बैंक के लोग ही शुभम का इस्तेमाल किए थे, जिसे निजी कंपनी में नौकरी का झांसा दिया गया था। पुलिस बोरिग रोड स्थित उस कंपनी के अकाउंट को भी खंगाला चुकी है, जिसमें एक साल से कोई मोटी रकम का ट्रांजेक्शन हुआ ही नहीं है। जिस आधार कार्ड के जरिए निजी कंपनी ने बोरिग रोड स्थित बैंक में खाता खोला, उसका सत्यापन भी पुलिस कर चुकी है। आधार कार्ड जिसका था उससे भी पुलिस पूछताछ कर चुकी है। उसने बताया कि उसने कोई अकाउंट नहीं खोला और न ही उस कंपनी के बारे में कुछ जानता है। अब पुलिस की मानें तो मामले में चारों संदिग्ध से पूछताछ के बाद ही कुछ अहम जानकारी मिल सकती है। इन चारों ने सुमित का नाम लेकर उसे कोटक महिंद्रा बैंक के गाधी मैदान ब्राच में भेजा था। मामले में पुलिस के हाथ कुछ मोबाइल नंबर लगे हैं। हालांकि, सभी मोबाइल नंबर के इस्तेमाल में फर्जी दस्तावेज का इस्तेमाल किया गया है। पुलिस उन नंबरों का डिटेल खंगाल रही है।

पुलिस अब बोरिग रोड और गांधी मैदान स्थित दोनों निजी बैंक के कर्मी, एनएचआइ और भू-अर्जन के कई कर्मियों की सूची तैयार कर रही है। इन सभी से पूछताछ होगी। बोरिंग रोड स्थित निजी बैंक के मैनेजर पुलिस की हिरासत में है। हालांकि, वह बीमार हैं और उनका निजी अस्पताल में उपचार चल रहा है।

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कोट---

मामले में कुछ लोगों से पूछताछ हुई है। गांधी मैदान थाने की पुलिस मामले की जांच में जुटी है। कुछ लोगों से पूछताछ के लिए पुलिस की एक टीम आरा गई थी।

-उपेंद्र शर्मा, एसएसपी


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