बिहार की सड़कों को जगमगाने की तैयारी, स्ट्रीट लाइट लगाने में आएगी तेजी; समीक्षा के बाद ही भुगतान
राज्य के 142 नगर निकायों में स्ट्रीट लाइट लगाए जाने की निकायवार समीक्षा होगी। हर निकाय में इसके लिए नोडल पदाधिकारी को जिम्मेवारी दी जाएगी। संबंधित निकायों में समीक्षा के बाद ही एजेंसी को भुगतान करने का निर्देश दिया गया है।
राज्य ब्यूरो, पटना। राज्य के 142 नगर निकायों में स्ट्रीट लाइट लगाए जाने की निकायवार समीक्षा होगी। हर निकाय में इसके लिए नोडल पदाधिकारी को जिम्मेवारी दी जाएगी। संबंधित निकायों में समीक्षा के बाद ही एजेंसी को भुगतान करने का निर्देश दिया गया है। अभी तक 90 से अधिक निकायों में स्ट्रीट लाइट लगाने का काम पूरा हो चुका है। इसमें 12 नगर निगम, 27 नगर परिषद और 51 नगर पंचायत शामिल हैं। शेष निकायों में काम जल्द पूरा करने का निर्देश दिया गया है। उपमुख्यमंत्री तारकिशोर प्रसाद ने मार्च तक ही इसे पूरा करने का निर्देश दिया था मगर कई निकायों में काम अब भी अधूरा है। स्ट्रीट लाइट लगाने वाली ईईएसएल कंपनी को एग्रीमेंट के अनुसार काम को अविलंब पूरा करने को कहा गया है।
मॉनिटरिंग की होगी दुरुस्त व्यवस्था
जिन निकायों में स्ट्रीट लाइट लगाई जानी है, उसकी मॉनिटरिंग की दुरुस्त व्यवस्था करने का निर्देश दिया गया है। जिन नगर निकायों में स्ट्रीट लाइट लग गई है, वहां कितनी फीसद लाइट जल रही है, इसे भी देखने को कहा गया है। नगर निकायों के कार्यपालक पदाधिकारी और सिटी मैनेजर को भी इससे जुड़ी जवाबदेही दी गई है। एलईडी लाइट वाले सभी पोल का नंबर लिखने को कहा गया है। कुछ खराबी होने पर संबंधित मैकेनिक का मोबाइल नंबर भी सार्वजनिक करने को कहा गया है, ताकि कुछ भी दिक्कत होने पर आसानी से उससे संपर्क किया जा सके। सभी स्ट्रीट लाइट को ऑन-ऑफ करने की व्यवस्था भी वार्डवार सुनिश्चित करने को कहा गया है, इसलिए वार्ड स्तर पर ही कर्मचारियों को जवाबदेही देने को कहा गया है ताकि दिन में लाइट जलने से तो बचे ही, ऊर्जा की बचत भी हो।
अब भी कई सड़कें हैं वीरान
लाइट के अभाव में अब भी कई सड़कें वीरान हैं। वहां बदमाश लूटपाट के इरादे से डेरा डाले रहते हैं। इसके अलावा दुर्घटनाएं होने की आशंका भी बढ़ जाती है। बात पटना की करें तो जेपी सेतु और एलिवेटेड सड़क पर कई जगह लाइट नहीं है, जिसके कारण वाहन चालकों को अनहोनी का भय बना रहता है।