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PM Modi Virtual Rally : पीएम मोदी ने इंजीनियरों की तारीफ कर युवाओं का दिल जीता, गंगा और छठ की भी चर्चा

PM Modi Virutual Rally आज शहरी विकास से जुड़ी योजनाएं के बहाने भाजपा के परंपरागत वोटस्र से संवाद किया। बोले स्वार्थ-नीति के कारण दशकों तक बिहार में नहीं हुआ विकास।

By Sumita JaswalEdited By: Published: Tue, 15 Sep 2020 05:27 PM (IST)Updated: Tue, 15 Sep 2020 10:11 PM (IST)
PM Modi Virtual Rally :  पीएम मोदी ने इंजीनियरों की तारीफ कर युवाओं का दिल जीता, गंगा और छठ की भी चर्चा
PM Modi Virtual Rally : पीएम मोदी ने इंजीनियरों की तारीफ कर युवाओं का दिल जीता, गंगा और छठ की भी चर्चा

पटना, रमण शुक्ला । PM Modi Virutual Rally : चूंकि खास दिन (अभियंता दिवस) था, लिहाजा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अपना फोकस उस खास तबके पर ही रखा। एक बड़े कार्यकारी बल का उत्साह बढ़ाने के साथ ही अपने संबोधन से वे उस युवा-वर्ग को भी आकृष्ट करने में कामयाब रहे, जो बतौर मतदाता बिहार में निर्णायक हैसियत में है।  विधानसभा चुनाव से पहले प्रधानमंत्री हफ्ते भर के अंदर मंगलवार को तीसरी बार बिहार पर मेहरबान हुए। उपहारों की टोकरी में चूंकि शहरी विकास से जुड़ी योजनाएं थीं, जहां भाजपा के सर्वाधिक व परंपरागत मतदाता है, लिहाजा प्रधानमंत्री उनसे सीधे मुखातिब हो गए। अभियंता दिवस के बहाने युवाओं को साधने का पूरा प्रयास किया। इंजीनियरों की तारीफ कर जता दिया कि काम और काबिलियत पर ही भविष्य निर्भर है। इस तरह वे युवाओं का दिल जीतने में कामयाब रहे।

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दर्द देने वालों को खरी-खरी 

करोड़ों रुपये के उद्घाटन और शिलान्यास समारोह के जरिए विकास की आड़ में विपक्ष की जमकर खबर ली। राजद-कांग्रेस पर तंज कसते हुए कहा कि बिहार में एक दौर ऐसा भी आया जनता को आधुनिक सुविधाएं देने के बजाय प्रतिबद्धता पूरी तरह बदल गई थी। नतीजतन राज्य में गवर्नेंस से फोकस ही हट गया। जब शासन पर स्वार्थ-नीति हावी हो जाती है, वोट बैंक का तंत्र सिस्टम को दबाने लगता है तो सबसे ज्यादा असर समाज के उस वर्ग पर पड़ता है, जो प्रताडि़त और वंचित-शोषित है। बिहार के लोगों ने इस दर्द को दशकों तक सहा है।

पूरा फोकस वोट बैंक पर 

पिछले डेढ़ दशक का जिक्र करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि नीतीश कुमार और सुशील कुमार मोदी की टीम समाज के सबसे कमजोर वर्ग के आत्मविश्वास को लौटाने का प्रयास कर रही है। बेटियों की पढ़ाई, पंचायती राज सहित स्थानीय निकाय में वंचित-शोषित समाज की भागीदारी को प्राथमिकता मिली है। स्वच्छता अभियान और जलापूर्ति योजनाओं के जरिए बिहार में बढ़े रोजगार के अवसर का जिक्र नई आबादी का भरोसा जीतने का उपक्रम रहा। सेहत और समृद्धि का संदेश देकर वे युवाओं के साथ हर उम्र और आय वर्ग को साधने का प्रयास किए।

मनोरथ पूरे करेंगी गंगा मइया 

गंगा मइया के जरिए धार्मिक मनोभाव वाले मतदाताओं को रिझाने की कोशिश रही। कहा कि बिहार के लोगों का तो गंगाजी से बहुत ही गहरा नाता है। गंगा जल की स्वच्छता का सीधा प्रभाव करोड़ों लोगों पर पड़ता है। गंगाजी की स्वच्छता को ध्यान में रखते हुए ही बिहार में छह हजार करोड़ रुपये से अधिक की परियोजनाएं स्वीकृत की गई हैं। गंगाजी को निर्मल और अविरल बनाने का अभियान जैसे-जैसे आगे बढ़ता जा रहा है, वैसे-वैसे इसमें पर्यटन के आधुनिक आयाम भी जुड़ते जा रहे हैं। बिहार सहित पूरे देश में 180 से अधिक घाटों के निर्माण का काम चल रहा है। इसमें से 130 घाट पूरे भी हो चुके हैं।

छठ के संयोग से भी संभावना 

लोक आस्था के महापर्व छठ से बिहार की पहचान जुड़ी है। चुनाव के दौरान इसका आयोजन भी एक संयोग है। योजनाओं का हवाला देते हुए प्रधानमंत्री उस संयोग से संभावना को भी टटोल गए। कहा कि छठी मइया के आशीर्वाद से हम बिहार को गंदे जल और बीमारी बढ़ाने वाले जल से मुक्ति दिलाने के लिए जी-जान से काम करते रहेंगे। सरकार ने डॉल्फिन परियोजना की घोषणा की है। इसका बहुत बड़ा लाभ गंगा में डॉल्फिन को भी होगा। पटना से लेकर भागलपुर तक के क्षेत्र का विस्तार डॉल्फिन का निवास स्थान है। इसलिए डॉल्फिन परियोजना से बिहार को बहुत लाभ होगा। रोजगार के अवसर बढऩे के साथ ही गंगा स्वच्छता अभियान को गति मिलेगी।


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