इंटर परीक्षा में एक बेंच पर नहीं बैठे सकेंगे दो से अधिक छात्र, जूता पहनने पर नहीं मिलेगी इंट्री
बिहार विद्यालय परीक्षा समिति की ओर से तीन फरवरी से 13 फरवरी तक चलने वाली इंटरमीडिट में जूता पहन कर इंट्री पर बैन रहेगा।
पटना, जेएनएन। बिहार विद्यालय परीक्षा समिति की ओर से तीन फरवरी से 13 फरवरी तक चलने वाली इंटरमीडिट वार्षिक परीक्षा इस बार एक बेंच पर दो से अधिक छात्रों को बैठने की अनुमति नहीं होगी। साथ ही परीक्षा में छात्रों को जूता-मोजा पहनकर आने की भी अनुमति नहीं होगी। कदाचारमुक्त परीक्षा के लिए सुपर जोन व जोन में बांट कर अधिकारियों की ड्यूटी लगेगी। परीक्षा को लेकर बोर्ड अध्यक्ष ने सभी डीएम, एसपी व डीईओ को दिशा-निर्देश भेजा है।
जांच व प्रवेश पत्र देखने के बाद मिलेगी इंट्री
पत्र परीक्षा केंद्र पर मजिस्ट्रेट के सामने 10 मिनट पहले ही खोलकर पैकेट तैयार कर परीक्षा कक्षों में भेजा जाएगा। परीक्षा केंद्रों पर परीक्षार्थियों की जांच व प्रवेश पत्र देखने के बाद ही इंट्री मिलेगी। सैद्धांतिक परीक्षा की डाटा उत्तर पुस्तिका में कई बिंदु पहले से अंकित रहेगा।
एक रूम में कम से कम होंगे दो वीक्षक
इसमें परीक्षार्थियों को उत्तर देने का माध्यम, प्रश्न पत्र सेट कोड, परीक्षार्थी का नाम, विषय व हस्ताक्षर करना होगा। प्रत्येक 25 परीक्षार्थियों पर एक वीक्षक होंगे, जबकि एक रूम में कम से कम दो वीक्षक रहेंगे। पानी पिलाने के लिए शिक्षकेत्तर कर्मचारियों की नियुक्ति आसपास के स्कूल व कॉलेज से करनी है। दूसरे मजदूरों को किसी परिस्थिति में नहीं रखा जाना है। उड़नदस्ता दल व निरीक्षी पदाधिकारी के पहुंचने पर तुरंत गेट खोलने की व्यवस्था का निर्देश दिया गया है।
महत्वपूर्ण बिंदु
परीक्षा केंद्रों पर ब्लू-ट्रूथ, पेजय आदि रखने की अनुमति नहीं होगी।
किसी छात्र के प्रवेश पत्र गुम होने पर उपस्थिति पत्रक में सेकेंड कॉपी से पहचान कर परीक्षा में बैठने की अनुमति मिलेगी।
निरीक्षी पदाधिकारी व पदाधिकारियों के लिए होगा विजिटर रजिस्टर।
हर पाली से पहले होगी परीक्षा केंद्र परिसर की सफाई, श्यामपट्ट को भी रखना है खाली।
परीक्षा केंद्रों पर सीसीटीवी व वीडियोग्राफरों की संख्या में भी वृद्धि के निर्देश।
परीक्षा आरंभ होने से कुछ दिन पहले डीएम व एसएसपी करेंगे अधिकारियों व केंद्राधीक्षकों की संयुक्त ब्रीफिंग। जिला नियंत्रण को निर्देश रहेगा कि हर दिन दोनों पालियों में कदाचार के आरोप में निष्कासित छात्रों की सूची बोर्ड को उपलब्ध कराएं।
सूचनाओं व संवाद के लिए व्हाट्सअप ग्रुप बनाएं। इसमें डीएम, एसपी व डीइओ रहेंगे शामिल।