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Lok Sabha Election 2019: कांग्रेस ने कहा-पार्टी सिंबल से करेंगे सबका स्वागत, जानिए

बिहार कांग्रेस में मेहमान उम्मीदवारों की संख्या दिन-ब-दिन बढ़ती जा रही है और कांग्रेस भी अपने मेहमान उम्मीदवारों का स्वागत पार्टी सिंबल से करने में लगी हुई है। पढ़िए इस खबर में...

By Kajal KumariEdited By: Published: Fri, 22 Mar 2019 06:15 PM (IST)Updated: Sat, 23 Mar 2019 11:01 AM (IST)
Lok Sabha Election 2019: कांग्रेस ने कहा-पार्टी सिंबल से करेंगे सबका स्वागत, जानिए
Lok Sabha Election 2019: कांग्रेस ने कहा-पार्टी सिंबल से करेंगे सबका स्वागत, जानिए

पटना [अरुण अशेष]। एक पान मसाला वाला विज्ञापन आपको शायद याद होगा-मेहमानों का स्वागत...से। या फिर सलमान खान की फिल्म का वो गाना-स्वैग से करेंगे सबका स्वागत, लगभग उसी विज्ञापन और गाने की तर्ज पर बिहार में कांग्रेस भी अपने मेहमानों का स्वागत पार्टी सिंबल से कर रही है।

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महागठबंधन में कांग्रेस को मिलने वाली सीटों की घोषणा से पहले ही मेहमानों की आमद शुरू हो गई थी। अनुमान है कि कोटे की 50 फीसद सीटें मेहमानों को दी जाएगी। गनीमत है कि नए लोगों की बेशुमार आमद का विरोध भी हो रहा है। नहीं तो मूल कांग्रेसियों के लिए एक भी सीट नहीं बच पाती। 

1990 में राज्य की सत्ता से अलग होने के बाद कांग्रेस की ऐसी हालत पहली बार नहीं हो रही है, जब उसे अपनी पार्टी के अंदर दो अंकों में लोकसभा के उम्मीदवार नहीं मिल रहे हैं। अधिक दिन नहीं हुए। 2009 के लोकसभा चुनाव में उसे दर्जन भर उम्मीदवारों की जरूरत पड़ी थी। तीन मेहमान उम्मीदवार बुलाए गए थे। जनता ने तीनों को खारिज कर दिया।

पांच साल के दौरान पार्टी इतनी तैयारी भी नहीं कर पाई, जिससे एकाध दर्जन उम्मीदवार पार्टी के अंदर से ही निकल जाएं। नतीजा यह निकला कि जिसे किसी दल में आसरा नहीं मिला, मुंह उठाए कांग्रेस मुख्यालय सदाकत आश्रम में घुस गए। अब पार्टी सभी मेहमानों को उम्मीदवार बनाना चाहती है। दिक्कत राजद को लेकर हो रही है। वह सबको उपकृत करने के लिए तैयार नहीं है। 

कांग्रेस में कीर्ति आजाद और पप्पू सिंह जैसे लोग भी शामिल हुए। दोनों टिकट के दावेदार हैं। ऐन मौके पर सांसद तारिक अनवर की भी एंट्री हुई। इन तीनों के बारे में बताया गया कि पुराने कांग्रेसी हैं। एक के पिता, दूसरे की मां और तीसरे खुद कांग्रेसी रहे हैं।

इधर अधिवक्ता मनन कुमार मिश्र भी आ गए हैं। उनके लिए कांग्रेस वाल्मीकिनगर की मांग कर रही है। कई दलों में भ्रमण कर चुके मुजफ्फरपुर के पूर्व विधायक विजेंद्र चौधरी भी कुछ दिन पहले कांग्रेसी हो गए। इनके टिकट पर संकट है। सो, टिकट का फैसला होने के बाद ही पता चल पाएगा कि कांग्रेस में रह गए या किसी अन्य गंतव्य के लिए चल पड़े।

पूर्व सांसद लवली आनंद भी टिकट की उम्मीद में कांग्रेस में शामिल हुई थीं। उनके समर्थक बता रहे हैं कि टिकट मिले न मिले, शिवहर से चुनाव लड़ेंगी। जिन्दगी का पहला चुनाव कांग्रेस के राजेश खन्ना से हारे फिल्म अभिनेता शत्रुघ्न सिन्हा कांग्रेस के दरवाजे पर सतर्क मुद्रा में खड़े हैं।

हां का संकेत मिला तो शामिल हो जाएंगे। नहीं मिला तो वापस लौट जाएंगे। विधायक अनंत सिंह या उनकी पत्नी को उम्मीदवार बनाया जाता है तो वह भी मेहमान ही माने जाएंगे। मेहमानों के जोरदार स्वागत के सवाल पर प्रदेश कांग्रेस के प्रवक्ता एचके वर्मा ने कहा-हम कुछ नहीं कहेंगे।


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