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खरमास आरंभ, अब एक महीने के बाद बजेगी शहनाई, जानें शादी के शुभ मुहूर्त

खरमास रविवार 14 मार्च से आरंभ हो गया है। इसके साथ ही सभी प्रकार के शुभ मांगलिक कार्य पर भी विराम लग गया है। अब शुभ कार्य अगले माह 14 अप्रैल के बाद से आरंभ होगा। जानें कौन से दिन रहेंगे शुभ।

By Akshay PandeyEdited By: Published: Mon, 15 Mar 2021 01:08 PM (IST)Updated: Mon, 15 Mar 2021 09:44 PM (IST)
खरमास आरंभ, अब एक महीने के बाद बजेगी शहनाई, जानें शादी के शुभ मुहूर्त
'खरमास' रविवार 14 मार्च से आरंभ हो गया है। जानें क्या हैं अप्रेल माह के शुभ दिन।

जासं, पटना : हिंदू धर्मावलंबियों के लिए खास माह 'खरमास' रविवार 14 मार्च से आरंभ हो गया है। इसके साथ ही सभी प्रकार के शुभ मांगलिक कार्य पर भी विराम लग गया है। अब शुभ कार्य अगले माह 14 अप्रैल के बाद से आरंभ होगा। ज्योतिष आचार्य की मानें तो 14 अप्रैल दिन बुधवार को सूर्य के मेष राशि में प्रवेश करने के बाद खरमास का भी समापन होगा। खरमास के दौरान पितृ पिंडदान का खास महत्व है। 

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भगवान विष्णु की करें पूजा

खरमास में भगवान विष्णु की विधि पूर्वक पूजा, पाठ करने से घर में सुख-समृद्धि की वृद्धि होती है। धार्मिक अनुष्ठान अगर खरमास में किया जाए तो अतुल्य पुण्य की प्राप्ति होती है। खरमास के दौरान भगवान विष्णु की पूजा-अर्चना व भजन करना पुण्यकारी माना गया है। 

सूर्य संक्रांति और लग्न के राजा

ज्योतिष आचार्य ने पंचांग के हवाले से बताया कि रविवार 14 मार्च को सूर्य के मीन राशि में प्रवेश करने से खरमास का आरंभ हो गया। बनारसी पंचांग के अनुसार 14 मार्च को सूर्य रात में सात बजकर 58 मिनट पर मीन राशि में प्रवेश कर गए हैं। सूर्य को संक्रांति और लग्न का राजा माना जाता है। सूर्य का राशि परिवर्तन खरमास का द्योतक है। ऐसे में शुभ मांगलिक आयोजन नहीं होते हैं। विवाह, नए घर में गृह प्रवेश, नए वाहन की खरीद, संपत्तियों का क्रय विक्रय, मुंडन संस्कार जैसे अनेक शुभ कार्य वर्जित माना जाता है। सूर्य, गुरु की राशि धनु एवं मीन राशि में प्रवेश करता है तो इससे गुरु का प्रभाव समाप्त हो जाता है। शुभ मांगलिक कार्यों के लिए गुरु का पूर्ण बली अवस्था में होना आवश्यक है। विवाह के लिए सूर्य और गुरु दोनों को मजबूत होना चाहिए। ज्योतिष शास्त्र के अनुसार, शादी के शुभ योग के लिए बृहस्पति, शुक्र और सूर्य का शुभ होना जरूरी है। रवि गुरु का संयोग सिद्धिदायक और शुभफलदायी होता है।

शादी-विवाह के शुभ लग्न मुहूर्त:- 

(मिथिला पंचाग के मुताबिक)

अप्रैल: 16, 23, 25, 26, 30

मई: 2, 3, 7, 9, 12, 13, 21, 23, 24, 26, 30, 31

जून: 4, 6, 10, 11, 20, 21, 24, 25, 27, 28  

बनारसी पंचाग के अनुसार

अप्रैल: 22, 24, 26, 27, 28, 29, 30

मई: 1, 2, 3, 7, 8, 9, 12, 13, 14, 19, 20, 21, 22, 24, 26, 27, 28, 29, 30

जून: 5, 11, 15, 16, 17, 18, 19, 20, 21, 22, 23, 24, 26

जुलाई: 1, 2, 3, 6, 7, 8, 12, 15, 16 

नवंबर: 19, 20, 21, 26, 28, 29        

दिसंबर: 1, 2, 5, 7, 12, 13


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