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बिहार के कृषि विभाग में बड़े पैमाने पर मिलेगी नौकरी, सभी नियुक्तियां होंगी नियमित

सरकार कृषि विभाग में बड़े पैमाने पर बहाली करने जा रही है। विभागीय मंत्री अमरेंद्र प्रताप सिंह सिंह ने सोमवार को विधानसभा में यह घोषणा की। उन्होंने कहा कि कृषि विभाग के सभी स्वीकृत मगर रिक्त पद भरे जाएंगे। सभी नियुक्तियां नियमित होगी।

By Akshay PandeyEdited By: Published: Mon, 01 Mar 2021 06:46 PM (IST)Updated: Mon, 01 Mar 2021 06:46 PM (IST)
बिहार के कृषि विभाग में बड़े पैमाने पर मिलेगी नौकरी, सभी नियुक्तियां होंगी नियमित
बिहार सरकार कृषि विभाग में बड़े पैमाने पर बहाली करने जा रही है। प्रतीकात्मक तस्वीर।

राज्य ब्यूरो, पटना: बिहार सरकार कृषि विभाग में बड़े पैमाने पर बहाली करने जा रही है। विभागीय मंत्री अमरेंद्र प्रताप सिंह ने सोमवार को विधानसभा में यह घोषणा की। उन्होंने कहा कि कृषि विभाग के सभी स्वीकृत मगर रिक्त पद भरे जाएंगे। सभी नियुक्तियां नियमित होंगी। इसकी प्रक्रिया शुरू हो चुकी है। स्कूलों में भी कृषि की पढ़ाई शुरू होगी। अभी यह कालेज एवं विश्वविद्यालय स्तर पर है। उन्होंने सदन में कृषि विभाग का 33 अरब, 35 करोड़, 47 लाख एवं 43 हजार रुपये का बजट(वित्तीय वर्ष 2021-22) पेश किया। विपक्ष की गैर-हाजिरी में यह ध्वनिमत से पारित हो गया। माले की अगुआई में हुए छात्रों-युवाओं के प्रदर्शन पर लाठीचार्ज और सरकार की कथित किसान विरोधी नीति के खिलाफ विपक्ष के सभी सदस्यों ने मंत्री के भाषण के दौरान सदन का बहिष्कार किया। 

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किसानों की आय दूनी करने का लक्ष्य

कृषि मंत्री अमरेंद्र प्रताप सिंह ने खेती-किसानी के लिए किए गए सरकार के प्रयासों की चर्चा की। भरोसा दिया कि सरकार किसानों की आय दूनी करने के लक्ष्य को हासिल करने की दिशा में आगे बढ़ रही है। उन्होंने कहा कि कृषि विभाग की नर्सरी अतिक्रमित हैं अथवा काम नहीं कर रही हैं। इन्हें आधुनिक तरीके से विकसित करने की योजना बन रही है। बीज उत्पादन बढ़ाने के खास उपाय किए जा रहे हैं। बीज का उत्पादन फिलहाल कृषि विभाग के अपने क्षेत्र में हो रहा है। किसानों की जमीन पर भी बीज का उत्पादन हो, इसके लिए नीति बन रही है।

लालू-राबड़ी शासन के हवाले से विपक्ष पर प्रहार

मंत्री ने लालू-राबड़ी शासन के हवाले से विपक्ष पर प्रहार किया। कहा कि गरीबों के बच्चे चरवाहा स्कूल में पढ़ें। बड़े लोगों के बच्चे बड़े कालेजों में पढ़ें। इसी नीति के तहत कृषि फार्म में चरवाहा स्कूल खोले गए थे। अब वहां बीज का उत्पादन हो रहा है। राज्य जल्द ही दूसरे राज्यों को बीज देगा। उन्होंने बताया कि जलवायु के अनुकूल खेती अभी प्रयोग के स्तर पर है। इसे जल्द ही स्थायी योजना का रूप दिया जाएगा। 

नए सर्टिफिकेट कोर्स शुरू किए जाएंगे

मंत्री अमरेंद्र प्रताप सिंह ने बताया कि कृषि क्षेत्र में युवाओं को आत्मनिर्भर और उद्यमी बनाने के लिए नए सर्टिफिकेट कोर्स शुरू किए जाएंगे। आत्मनिर्भर भारत पैकेज के तहत फार्मर प्रोडयूसर कंपनी के प्रोत्साहन के लिए कार्यक्रम चलाए जाएंगे। खेत के स्तर पर आधारभूत संरचना के विकास के लिए कार्यक्रम चलाए जाएंगे। राज्य में एग्री वैल्यू चेन सिस्टम को मजबूत किया जाएगा। लघु कृषक व्यापार संघ को मजबूत किया जाएगा। सात निश्चय पार्ट 2 के तहत हर खेत की सिंचाई का लक्ष्य रखा गया है। परम्परागत के अलावा औषधीय खेती को भी बढ़ावा दिया जाएगा। 

राज्य को तीन कृषि कर्मण पुरस्कार

अमरेंद्र प्रताप सिंह ने 2005-20 के बीच हासिल कृषि विभाग की उपलब्धियों का भी ब्यौरा दिया। बताया कि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की पहल पर तीन कृषि रोड मैप के जरिए इस क्षेत्र में अविश्वसनीय उपलब्धियां हासिल की गईं। राज्य को तीन कृषि कर्मण पुरस्कार मिले। इस अवधि में चावल के उत्पादन में 87.51, गेहूं में 97.62 और मक्का के उत्पादन में 129. 93 प्रतिशत की वृद्धि हुई। वर्ष 2018-21 के बीच किसानों को इनपुट अनुदान मद में 2741,  डीजल अनुदान मद में 444, आर्गेनिक सब्जी की खेती के लिए 10.45 एवं प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि के जरिए किसानों को 7503 करोड़ रुपये की आर्थिक सहायता दी गई। ये राशि डीबीटी के जरिए सीधे किसानों के बैंक खाते में जमा की गई है। उन्होंने कहा कि एपीएमसी खत्म करने के राज्य सरकार के फैसले से किसानों को बहुत लाभ मिला। केंद्र के नए तीन कृषि कानूनों का लाभ भी किसानों को मिलेगा। 


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