बिहार की शराबबंदी के बावजूद छलक रहे जाम, कानून का उल्लंघन करने में यूपी वाले टॉप
शराबबंदी कानून के बावजूद दूसरे राज्यों व विदेशों से बिहार आकर जाम छलकाने वालों की कमी नहीं। इसकी गवाही पुलिस के आंकड़े ही दे रहे हैं। डालते हैं एक नजर।
पटना [राज्य ब्यूरो]। बिहार में पूर्ण शराबबंदी कानून लागू होने के बाद शराब का धंधा मंदा तो पड़ा है, लेकिन बंद नहीं हुआ है। समय-समय पर शराब की जब्ती व शराब के साथ गिरफ्तारियां इसके प्रमाण हैं। खास बात यह भी कि यहां दूसरे राज्यों से आकर जाम के फेर में पकड़े जाने वालों की भी अच्छी तादाद है। ऐसे लोगों की गिरफ्तारियों की बात करें तो उत्तर प्रदेश (यूपी) के लोग टॉप पर हैं। पुलिस के आंकड़े बताते हैं कि दूसरे पायदान पर झारखंड और तीसरी पर पश्चिम बंगाल के लोग हैं। चौथे नंबर पर हरियाणा और पांचवें पायदान पर पंजाब के लोग हैं।
दरअसल, बिहार में अप्रैल 2016 से पूर्ण शराबबंदी लागू हैं। कानून के तहत बिहार में शराब लेकर चलना और पीना गैरकानूनी है। फिर भी हालत यह है कि साल दर साल दूसरे राज्यों से बिहार आकर शराब पीने वालों की संख्या घटने के बजाए बढ़ती ही जा रही है। पुलिस के आंकड़े इस बात की पुष्टि कर रहे हैं।
चालू वित्तीय वर्ष में अक्टूबर तक 472 लोग गिरफ्तार किए गए हैं। इसी तरह 2016 में 585 और 2017 में दूसरे प्रदेशों से बिहार आकर शराबबंदी कानून की अनदेखी कर शराब पीते पुलिस ने 1194 लोगों को दबोचा था।
ये हालात तब हैं जब सरकार लगातार जागरूकता अभियान चला रही है। यही नहीं, सामाजिक-राजनीतिक जागरूकता को लेकर तमाम प्रयास किए जा रहे हैं।
विदेशियों में शराबबंदी कानून का उल्लंघन करने वालों में नेपाल और बांग्लादेश वाले पहले दूसरे नंबर पर हैं। चीन के कुछ लोग भी इस कानून के उल्लंघन में गिरफ्तार हुए थे।