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स्मार्ट बोर्ड से लैस होंगी बिहार के सरकारी स्कूलों की क्लास, किताब- इंटरनेट और TV से सीधे जुड़ेंगे छात्र

शिक्षा विभाग सभी स्कूलों की कक्षाओं को डिजिटल बोर्ड से लैस करने के लिए जल्द ही एक योजना तैयार करेगा। प्रस्तावित योजना में स्मार्ट बोर्ड पर आने वाले खर्च का आकलन भी होगा ताकि उसके हिसाब से केंद्र सरकार के पास बजट का क्लेम किया जा सके।

By Akshay PandeyEdited By: Published: Mon, 28 Dec 2020 09:43 AM (IST)Updated: Mon, 28 Dec 2020 09:43 AM (IST)
स्मार्ट बोर्ड से लैस होंगी बिहार के सरकारी स्कूलों की क्लास, किताब- इंटरनेट और TV से सीधे जुड़ेंगे छात्र
बिहार के सरकारी स्कूलों की क्लास स्मार्ट होगी।

राज्य ब्यूरो, पटना: शिक्षा विभाग सभी स्कूलों की कक्षाओं को डिजिटल बोर्ड से लैस करने के लिए जल्द ही एक योजना तैयार करेगा। प्रस्तावित योजना में स्मार्ट बोर्ड पर आने वाले खर्च का आकलन भी होगा, ताकि उसके हिसाब से केंद्र सरकार के पास बजट का क्लेम किया जा सके। एक उच्च पदस्थ अधिकारी ने बताया कि सरकारी स्कूलों की कक्षाएं स्मार्ट बोर्ड से लैस होंगी, इसकी रूपरेखा शिक्षा के रोडमैप में शामिल किया गया है।

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प्रधानाध्यापकों को निर्देश बनाएं कार्ययोजना 

दरअसल, हाल में शिक्षा विभाग की ओर से सभी प्रधानाध्यापकों को निर्देश दिया गया है कि स्कूलों को स्मार्ट बोर्ड से लैस करने के लिए कार्ययोजना बनाएं। विभाग के एक अधिकारी ने बताया कि यदि केंद्र से वित्तीय मदद मिली तो प्रस्तावित रोडमैप के तहत अगले सत्र से सभी स्कूलों को स्मार्ट बोर्ड से लैस करने का अभियान चलाया जाएगा। कक्षाओं के डिजिटल बोर्ड से लैस होने के बाद छात्रों की पूरी पढ़ाई इसी के जरिए कराई जाएगी। इसके जरिए वे किताबें, इंटरनेट और टीवी से भी सीधे जुड़ सकेंगे। सभी स्कूलों में डिजिटल लाइब्रेरी भी स्थापित की जाएगी। 

यह भी जानें

- शिक्षा विभाग की ओर से प्रस्तावित योजना में केंद्र से मिलेगी बिहार को वित्तीय मदद।

- नई व्यवस्था लागू होने पर सभी 72 हजार प्रारंभिक एवं 6800 माध्यमिक विद्यालयों को मिलेगा लाभ।

- शिक्षा के अधिकार कानून को नर्सरी से बारहवीं कक्षा तक मिलेगा विस्तार 

कैब ने बिहार में सभी स्कूलों की कक्षाओं को स्मार्ट बोर्ड से लैस करने पर दी सहमति

हाल में केंद्रीय शिक्षा सलाहकार बोर्ड (कैब) ने बिहार में सभी स्कूलों की कक्षाओं को स्मार्ट बोर्ड से लैस करने पर सहमति दी है। नई व्यवस्था लागू होने पर प्रदेश के सभी  72 हजार प्रारंभिक एवं 6800 माध्यमिक विद्यालयों को लाभ मिलेगा। महत्वपूर्ण बात यह कि स्मार्ट बोर्ड से जब स्कूली कक्षाएं लैस होंगी तब शिक्षकों को भी डिजिटल स्मार्ट बनाने के लिए चरणबद्ध तरीके से प्रशिक्षण दिलाया जाएगा। 


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