छपरा की JP University से जेपी के विचारों को हटाने पर गुस्से में लालू यादव, बोले - ये बर्दाश्त से बाहर
छपरा विश्वविद्यालय से जेपी यूनिवर्सिटी के पाठ्यक्रम से जय प्रकाश नारायण के विचारों को हटाये जाने के बाद लालू यादव ने बुधवार को ट्वीट कर अपना दर्द बयां किया है। उन्होंने ट्वीट कर लिखा है कि 30 साल पहले छपरा में मैंने जेपी यूनिवर्सीटी की स्थापना की थी।
पटना, आनलाइन डेस्क। राष्ट्रीय जनता दल के सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव ( Lalu Prasad Yadav) का एक बार फिर से दर्द छलका है। बिहार के छपरा विश्वविद्यालय से जयप्रकाश विश्वविद्यालय के पाठ्यक्रम से जय प्रकाश नारायण (Jai Prakasah Narayan) के विचारों को हटाये जाने से लालू यादव दुखी हैं। उन्होंने इस मसले पर अपनी कड़ी प्रतिक्रिया जाहिर की है। ट्विटर (Twitter) पर लालू यादव ने लिखा है कि यह फैसला बर्दाश्त से बाहर है। बिहार सरकार को इस पर तुरंत संज्ञान लेना चाहिए।
फैसला बर्दाश्त से बाहर, सरकार ले तुरंत संज्ञान
छपरा विश्वविद्यालय से जयप्रकाश विश्वविद्यालय के पाठ्यक्रम से जय प्रकाश नारायण के विचारों को हटाये जाने के बाद राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव ने बुधवार को ट्वीट कर अपना दर्द बयां किया है। उन्होंने ट्वीट कर लिखा है कि 30 साल पहले छपरा में मैंने जेपी यूनिवर्सीटी ( JP University) की स्थापना की थी। लेकिन अब संघी बिहार सरकार जेपी विश्वविद्यालय के सिलेबस से समाजवादी जेपी के विचारों को हटा रही है। लालू यादव ने आगे लिखा है कि संघी मानसिकता के पदाधिकारियों का यह फैसला बर्दाश्त से बाहर है। इस पर बिहार सरकार को तुरंत संज्ञान लेना चाहिए।
पंडित दीनदयाल उपाध्याय के विचार किए जाएंगे शामिल
गौरतलब है कि छपरा की जेपी यूनिवर्सिटी के राजनीतिक विज्ञान के पीजी कोर्स से जय प्रकाश नारायण के विचारों को पाठ्यक्रम से हटा दिया गया है। पदाधिकारियों ने यह फैसला किया है कि पंडित दीनदयाल उपाध्याय के विचारों को पाठ्यक्रम में शामिल किया जाएगा। जानकारी के मुताबिक यूनिवर्सिटी के स्थापना से ही समाजवादी नेता जयप्रकाश नारायण,लोहिया के राजनीतिक विचारों के बारे में पढ़ाया जाता रहा है। जय प्रकाश विश्वविद्यालय के राजनीतिक विज्ञान के पीजी कोर्स जय प्रकाश नारायण के विचारों को हटाए जाने पर यूनिवर्सिटी के छात्रों में गुस्सा है। छात्रों का कहना है कि इस फैसले के खिलाफ छात्र संघ मोर्चा भी खोल सकता है। छात्रों का कहना है कि नए सिलेबस से कोई समस्या नहीं हैं लेकिन जेपी के विचारों को भी रखना चाहिए था।