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115 अंकों पर निर्धारित होगी विवि में असिस्टेंट प्रोफेसर की नियुक्ति

सहायक प्राध्यापक की नियुक्ति के नियमों को राज्यपाल ने मंजूरी दे दी है।

By JagranEdited By: Published: Tue, 11 Aug 2020 01:28 AM (IST)Updated: Tue, 11 Aug 2020 01:28 AM (IST)
115 अंकों पर निर्धारित होगी विवि में असिस्टेंट प्रोफेसर की नियुक्ति
115 अंकों पर निर्धारित होगी विवि में असिस्टेंट प्रोफेसर की नियुक्ति

पटना। सहायक प्राध्यापक की नियुक्ति के नियमों को राज्यपाल ने मंजूरी दे दी है। सोमवार को जारी अधिसूचना के मुताबिक अब बिहार के विश्वविद्यालयों में सहायक प्राध्यापक पद पर नियुक्तियां बिहार राज्य विश्वविद्यालय सेवा आयोग के द्वारा होंगी। इस परिनियम को मंजूरी मिलने के बाद कॉलेजों और विश्वविद्यालयों में सहायक प्राध्यापकों की नियुक्ति का रास्ता साफ हो गया है। चयन प्रक्रिया 115 अंकों पर आधारित होगी। इसमें 15 अंक साक्षात्कार और 100 शैक्षणिक योग्यता के लिए निर्धारित होंगे। नियुक्ति के लिए आवेदकों की अधिकतम आयु 55 वर्ष निर्धारित की गई है। आयु की गणना वैकेंसी जारी करने वाले साल की पहली जनवरी से होगी। इस परिनियम के प्रारूप को मुंगेर विश्वविद्यालय, मगध विश्वविद्यालय और पूíणया विश्वविद्यालय के कुलपतियों ने तैयार किया था।

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- डिजिटल डिग्री प्रमाण पत्र देने के लिए डीयू ने की ऑनलाइन पोर्टल की व्यवस्था

- पोर्टल पर करना होगा पंजीकरण, सत्यापन के बाद एक सप्ताह में जारी होगी डिग्री

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जागरण संवाददाता, नई दिल्ली :

दिल्ली हाई कोर्ट के सख्त रुख के बाद दिल्ली विश्वविद्यालय से उत्तीर्ण हो चुके छात्रों को अब डिजिटल डिग्री प्रमाण पत्र जारी किया जाएगा। न्यायमूर्ति प्रतिबा एम सिंह की पीठ के समक्ष शपथ पत्र दाखिल कर डीयू ने बताया कि इसके लिए छात्रों को ऑनलाइन पोर्टल www.स्त्रद्बद्दद्बष्द्गह्मह्लद्ब.स्त्रह्व.ड्डष्.द्बठ्ठ पर पंजीकरण कराना होगा। पंजीकरण के लिए छात्रों को कॉलेज का नाम व अकादमिक योग्यता की जानकारी दर्ज करनी होगी। इसके बाद एक सप्ताह के भीतर सत्यापन की प्रक्रिया पूरी होगी और डिजिटल डिग्री प्रमाण पत्र जारी कर दिया जाएगा।

दिल्ली हाई कोर्ट में डिजिटल डिग्री प्रमाण पत्र की मांग को लेडी हार्डिग मेडिकल कॉलेज, मौलाना आजाद मेडिकल कॉलेज और यूनिवर्सिटी कॉलेज ऑफ साइंसेस जैसे कॉलेजों के 21 छात्र-छात्राओं की तरफ से दायर याचिका पर सुनवाई चल रही थी। इन छात्र-छात्राओं ने 2018 एवं 2019 में परीक्षा पास की थी, लेकिन उन्हें डिग्री प्रमाण पत्र नहीं दिया गया। पीठ ने याचिका पर सुनवाई करते हुए डीयू को आदेश दिया था कि 13 अगस्त से पहले याचिकाकर्ताओं को डिग्री प्रमाण पत्र जारी किए जाएं। इसके अलावा पीठ ने दिल्ली हाई कोर्ट के आइटी विभाग के अधिकारी, डिजी-लॉकर के वरिष्ठ अधिकारी और डीयू कंप्यूटर सेंटर के संयुक्त निदेशक संजीव सिंह की एक समिति बनाकर एक सैंपल डिग्री बनाकर पीठ के समक्ष पेश करने का आदेश दिया था।

पीठ के आदेश के मुताबिक सोमवार को ई-मेल के माध्यम से एक सैंपल डिग्री प्रमाण पत्र पेश किया गया। पीठ ने सैंपल डिग्री प्रमाण पत्र पर संतोष जताते हुए कहा कि याचिकाकर्ता डिजिटल डिग्री प्रमाण पत्र का इस्तेमाल करने के लिए स्वतंत्र है। पीठ ने इसके साथ डीयू से कहा कि अंकतालिका भी डिजिटल माध्यम से जारी करने की संभावना पर विचार करें। पीठ ने डीयू को इस संबंध में शपथ पत्र दाखिल करने का निर्देश देते हुए सुनवाई सात सितंबर के लिए स्थगित कर दी।


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