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सीतामढ़ी में नल का जल योजना में मानक की अनदेखी, कई जगह शोभा की वस्‍तु

गांवों में इस योजना का है बुरा हश्र कहीं पाइप फटी है तो कहीं नल की टोंटी गायब कहीं बिजली ही नदारद। वार्ड प्रबंधन एवं क्रियान्वयन समिति बीडीओ प्रखंड पंचायती राज पदाधिकारी पर योजना की मॉनीटरिंग की जवाबदेही।

By Ajit KumarEdited By: Published: Mon, 30 Nov 2020 11:38 AM (IST)Updated: Mon, 30 Nov 2020 11:38 AM (IST)
सीतामढ़ी में नल का जल योजना में मानक की अनदेखी, कई जगह शोभा की वस्‍तु
लोगों की शिकायत है कि कमीशन के खेल में योजना में लूट मची है। फोटो : जागरण

सीतामढ़ी, जेएनएन। नल का जल योजना में गुणवत्ता की खुलमखुला अनदेखी की जा रही। जलापूर्ति की पाइप से लेकर नल की टोंटी तक घटिया इसतेमाल हो रही। कहीं नल लगे हैं तो उसकी टोंटी गायब हो चुकी है, कहीं पाइप फट चुकी है और पानी सड़क पर बह रहा है। पानी की बर्बादी को देखकर गांव वालों ने पानी टंकी से सप्लाई रोक दी है। कहीं-कहीं नल ही बंद करना पड़ा है। कुछ इलाकों में बिजली के इंतजार में जलमीनार शोभा की वस्तु बनी है। किसी पंचायत में पाइप लाइन नहीं बिछ पाई है। जिन पंचायतों में नल जल योजना की कवायद पूरी हो चुकी है वहां नलों से पानी नहीं टपक रहा है। कारण घटिया पाइप लाइन बिछाने से पाइप कट-फट गई है। उससे होकर बहता पानी सड़कों पर फैल रहा है। कही पाइप बिछी ही नहीं है।

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टोंटी की जगह प्लास्टिक

अधिकतर जगहों पर पीतल की टोंटी की जगह प्लास्टिक लगी हुई है। कही-कही वार्ड सदस्यों ने अपने चहेतों के घर पर जलमीनार बनवा दी है। नल जल योजना की समीक्षा बैठकों में डीएम अभिलाषा कुमारी शर्मा हर बार कहती रही हैं कि गुणवत्ता से समझौता बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। गुणवत्तापूर्ण कार्य नहीं होने पर वार्ड प्रबंधन एवं क्रियान्वयन समिति पर कार्रवाई की जाएगी। साथ ही संबंधित प्रखंड के बीडीओ और प्रखंड पंचायती राज पदाधिकारी पर भी जवाबदेही तय कर कार्रवाई की जाएगी। बीपीआरओ को प्रत्येक दिन क्षेत्र में जाकर नल-जल योजना की जांच करने का निर्देश दिया गया था। नल-योजना में गड़बड़ी को लेकर सरकार ने हेल्पलाइन नंबर जारी किया है। पेयजल आपूर्ति में ग्रामीणों को कोई दिक्कत हो, कोई परेशानी हो, तो कॉल सेंटर के इस नंबर 0612-232 224 पर अपनी शिकायत दर्ज करा सकते हैं।

आइएसआइ मार्का का सबमर्सिबल नहीं मिलता

गांवों के घरों में जलापूर्ति के लिए जो पाइप बिछी है, वह घटिया क्वालिटी की है। नल जल के लिए आईएसआइ मार्का सबमर्सिबल का ही प्रयोग किया जाना है। पाइप में फर्जी आईएसआई मार्का का इस्तेमाल किया जा रहा है। इस फर्जी मार्का वाली पाइप के धंधे में पंचायत प्रतिनिधि, अधिकारी व आईएसआई मार्का विभाग के अधिकारी भी शामिल हो सकते हैं। सरकार हर वार्ड को प्रति माह एक हजार रुपये नल-जल योजना के रख-रखाव, बिजली बिल और मरम्मत के लिए मुहैया कराएगी। वार्ड सचिव या वार्ड सदस्य पंप को ऑपरेट करने की जिम्मेदारी दी गई है। छह महीने रख-रखाव संबंधित अनुदान राशि पंचायती राज विभाग देगा। यानी वर्ष में दो किस्तों में छह-छह हजार रुपये मुहैया कराया जाएगा। प्रावधान के अनुसार आइएसआइ मार्का की पाइप होनी चाहिए। लोकल पाइप डालने के कारण जगह-जगह रिसाव हो रहा है। मात्र 10 इंच से एक फुट गढ्ढा काट कर ही पाइप डाली गई है। प्राक्कलन के अनुसार, तीन फुट गड्ढा काट कर पाइप बिछानी है। जलापूर्ति के लिए जो बोरिंग जमीन में गाड़नी है, वह भी मानक के अनुरूप नहीं है। लोगों की शिकायत है कि कमीशन के खेल में योजना में लूट मची है। इस योजना की निगरानी जांच की मांग उठ रही है।

सुरसंड में आधे वार्डों में नहीं पहुंच रहा पानी

प्रखंड मुख्यालय से सटी पश्चिम बनौली पंचायत में रविवार को बीडीओ देवेंद्र कुमार के द्वारा एक टीम गठित कर सभी वार्डों में नल जल योजना का निरीक्षण किया गया। वार्डों में घूम-घूम कर आम लोगों से जानकारी ली गई। अधिकतर लोगों ने नल जल योजना से संबंधित कार्य को संतोषजनक नहीं बताया। पंचायत के वार्ड संख्या 2, 3, 5 में बिजली की सुविधा उपलब्ध न होने के कारण नल बंद था। बीडीओ ने विद्युत विभाग के कनीय अभियंता विजयकांत ठाकुर से बात कर 15 दिनों के भीतर कनेक्शन करने का आदेश दिया। वार्ड संख्या 6, 10 और 11 में कार्य अधूरा मिला। वार्ड संख्या-12 के लोगों से शिकायत मिली कि नल से रूक रूक कर पानी आता है। इसपर बीडीओ ने ऑपरेटर को ध्यान देने को कहा। बीडीओ ने निरीक्षण के बाद मुखिया समेत सभी वार्ड सदस्यों और सचिवों को कहा कि जिन वार्डों में कार्य अधूरा है वहां शीघ्र कार्य पूर्ण करें। नल जल योजना का ठेका प्रखंड के एक ही व्यक्ति को दिए जाने की शिकायत भी सामने आई। लोगों का कहना है कि इससे संवेदक की मनमानी है।

वार्ड सदस्य ने निजी जमीन में बिछवा दी पाइप

रीगा प्रखंड के कुशमारी गांव अंतर्गत उफरौलिया वार्ड नंबर-2 में स्थानीय वार्ड सदस्य की मनमानी की शिकायत को लेकर कई लोग बीडीओ से लेकर डीएम तक गुहार लगा रहे हैं। कई महीनों से ये लोग दौड़ लगा रहे हैं मगर उनकी सुनवाई नहीं हो रही। वार्ड नंबर-2 के विनय कुमार, नरेश चंद्र व सौरभ कुमार का कहना है कि उनकी निजी जमीन की खुदाई कराकर पाइप डाली जा रही। पाइप डालने से एतराज इसलिए है कि भविष्य में आपूर्ति में रुकावट आने पर बार-बार जमीन की खुदाई करनी पड़ेगी। इस कारण उस जमीन पर कोई पक्का निर्माण खड़ा नहीं कर सकते। इन लोगों ने कहा कि रीगा बीडीओ, एसडीओ, डीडीसी, डीएम से लेकर प्रमंडलीय आयुक्त को आवेदन देकर ध्यान आकृष्ट कराया गया। इन लोगों का कहना है कि सीतामढ़ी में रहने के कारण स्थानीय वार्ड सदस्य ने मनमाने तरीके से उनकी जमीन को खुदवाकर पाइप बिछवा दी। बीडीओ को कई बार इसकी शिकायत की गई मगर वह ध्यान नहीं दे रही हैं। 


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