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मोतिहारी परिवहन कार्यालय में निगरानी का छापा, दो कर्मचारी रंगेहाथ गिरफ्तार

राज्य निगरानी ब्यूरो की एक टीम ने शनिवार को दोपहर बाद जिला परिवहन कार्यालय मोत‍िहारी में छापेमारी कर रिश्वत लेते दो कर्मचारियों को रंगेहाथ दबोच लिया है। सफारी गाड़ी के इंट्री व ट्रांसफर के एवज में अरेराज के नागरिक से ले रहे थे रिश्वत के 39 हजार रुपये।

By Murari KumarEdited By: Published: Sat, 05 Dec 2020 03:56 PM (IST)Updated: Sat, 05 Dec 2020 05:38 PM (IST)
मोतिहारी परिवहन कार्यालय में निगरानी का छापा, दो कर्मचारी रंगेहाथ गिरफ्तार
मोतिहारी। निगरानी के शिकंजे में डीटीओ कार्यालय के रिश्वतखोर कर्मचारी

पूर्वी चंपारण, जेएनएन। राज्य निगरानी ब्यूरो की एक टीम ने शनिवार को दोपहर बाद जिला परिवहन कार्यालय में छापेमारी कर रिश्वत लेते दो कर्मचारियों को रंगेहाथ दबोच लिया। पकड़े गए कर्मचारियों मे डाटा इंट्री ऑपरेटर मो. खुर्शीद और संविदा पर कार्य कर रहे रिटायर्ड कर्मी लिपिक राजेन्द्र राम शामिल हैं। इन दोनों को कड़ी पूछताछ के बाद निगरानी टीम अपने साथ लेकर चली गई। बताया जाता है कि ये दोनों सफारी गाड़ी के ऑर्नर ट्रांसफर के एवज में रिश्वत के रूप में 39 हजार रुपये ले रहे थे। इसी दौरान पहले से जाल बिछाए निगरानी की टीम ने उन दोनों कर्मचारियों को रंगेहाथ रिश्वत लेते गिरफ्तार कर लिया। इसके बाद पूरे कोर्ट व कलेक्ट्रेट कैम्पस में हड़कम्प मच गया।

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 मिली जानकारी के अनुसार गोविंदगंज थाना क्षेत्र के सलहां गांव निवासी ध्रुव नारायण मिश्रा उतराखंड में रहते हैं। उन्होंने उतराखंड में ही एक सफारी गाड़ी खरीदी थी। इस गाड़ी को उपयोग के लिए वे अपने घर लाए थे। गाड़ी का जिले में इंट्री व ट्रांसफर के लिए उन्होंने जिला परिवहन कार्यालय में संपर्क किया। इसके बाद उतराखंड से अनापत्ति प्रमाण पत्र मंगाने के बाद भी पिछले तीन वर्षों से उनको काम के लिए दौड़ाया जा रहा था। इसी बीच उनसे इस काम के लिए तीन बार में 37-37 हजार रुपये की मांग की गई। यानी एक लाख 11 ग्यारह हजार रुपये देने में असमर्थता जताने पर डाटा इंट्री आपरेटर खुर्शीद ने अंतिम रूप से 30 हजार व रिटायर्ड लिपिक नौ हजार रुपये की मांग की।

 पिछले तीन वर्षों से इस काम के लिए परेशान ध्रुव नारायण मिश्रा ने इसकी सूचना निगरानी विभाग को दी और कार्रवाई की गुहार लगाई। तब निगरानी की टीम ने सूचना का सत्यापन कर अपना जाल बिछाया और रिश्वत के रुपये के साथ दोनों परिवहन कर्मियों को रंगेहाथ दबोच लिया। छापेमारी टीम का नेतृत्व डीएसपी सर्वेश कुमार सिंह कर रहे थे। जबकि,उनकी टीम में इंस्पेक्टर सत्येंद्र राम, इश्वर प्रसाद, ऋषि सिंह, रघुनाथ सिंह सहित अन्य 14 सदस्य शामिल रहे। डीएसपी सर्वेश कुमार सिंह ने इस मामले में जिला परिवहन पदाधिकारी अनुराग कौशल सिंह से भी आवश्यक जानकारी ली।


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