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दरभंगा में जलजनित रोगों से बचाव को लेकर सभी स्वास्थ्य केंद्रों पर पुख्ता इंतजाम

बरसात में मलेरिया डेंगू डायरिया व चिकनगुनिया रोग का खतरा एआरवी एवीएस दवाओं का किया गया है पुख्ता इंतजाम इधर इन बीमारियों से निपटने के लिए स्थानीय स्तर पर स्वास्थ्य अधिकारियों ने पुख्ता इंतजाम का दावा भी करने की सूचना दी है।

By Dharmendra Kumar SinghEdited By: Published: Fri, 11 Jun 2021 01:20 PM (IST)Updated: Fri, 11 Jun 2021 01:20 PM (IST)
दरभंगा में जलजनित रोगों से बचाव को लेकर सभी स्वास्थ्य केंद्रों पर पुख्ता इंतजाम
दरभंगा में होने वाली बीमार‍ियों को लेकर स्वास्थ्य व‍िभाग। प्रतीकात्‍मक तस्‍वीर

दरभंगा, जासं। बारिश के साथ पांच बीमारियों ने दस्तक दे दी है। इस मौसम में मुख्य रूप से मलेरिया, डेंगू, डायरिया और चिकनगुनिया जैसे रोग होते हैं। इसके अलावा आंख में कंजरवाइटिस, सन स्ट्रोक, सर्दी-खांसी, बुखार जैसे रोगों का भी खतरा रहता है। इधर इन बीमारियों से निपटने के लिए स्थानीय स्तर पर स्वास्थ्य अधिकारियों ने पुख्ता इंतजाम का दावा भी करने की सूचना दी है।

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इस मौसम में इन रोगों का कारण जल-जमाव, कीचड़, गंदगी आदि है, जो मच्छर और बैक्टीरिया के वाहक होते हैं। इस मौसम में नमी के कारण बैक्टीरिया अधिक पनपते हैं। ये बैक्टीरिया पानी और खाद्य पदार्थों को दूषित करते हैं। ऐसे में जरूरी है कि घरों के आसपास जल-जमाव को नहीं रहने दे। गंदगी से दूर रहे। मच्छरदानी का उपयोग करें। डीएमसीएच के मेडिसिन विभाग के पूर्व अध्यक्ष डॉ. सीएम झा ने लोगों को इस मौसम में सावधानी बरतने और जागरूक रहने की सलाह दी है।

रोग से निबटने की है तैयारी 

मुख्य दवा भंडार गृह से सभी प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों के लिए इस मौसम में पांच बीमारियों पर नियंत्रण के लिए दवाओं की आपूर्ति कर दी गई है। पेयजल की स्वच्छता के लिए हेलोजन टेबलेट की आपूर्ति की गई है। ताकि चापाकल के पानी को साफ किया जा सके। पशुओं को पानी पीने के लिए तालाब को स्वच्छ करने के लिए ब्लीङ्क्षचग पाउडर दिया गया है। बुखार के लिए पारासीटामोल, स्लाईन, डायरिया के रोकथाम के लिए ओआरएस के पॉकेट समेत सभी संबंधित दवाओं की आपूर्ति की गई है। सांप काटने की दवा एवीएस प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्रों में 50 से 100 वायल आवंटित है।

कुत्ता काटने की एंटीरैबिज वायल सभी केंद्रों 30 से 60 दवा की आपूर्ति की गई है। इसके अलावा सिम्टोमैटिक इलाज के लिए भी कई जीवन रक्षक दवाओं की आपूर्ति की गई है। एंटी फंगल से बचाव को लेकर एक दर्जन से लेकर दो दर्जन तक पैकेट की आपूर्ति किया गया है। इधर डीएमसीएच में एवीएस तीन हजार से अधिक है। एआरवी की दवा आठ हजार से अधिक बताया गया इसके अलावा कई जीवन रक्षक दवाओं का भी पुख्ता इंतजाम किया गया है। जिन दवाओं की कमी है उन दवाओं की खरीद की जा रही है। इनमें ब्लीङ्क्षचग पॉउडर, हैलोजन टेबलेट, ओआरएस पॉकेट व एंटीबायोटिक दवाएं शामिल हैं।

क्या कहते है सिविल सर्जन 

डॉ. संजीव कुमार सिन्हा ने बताया कि कुछ दवाओं की खरीद के लिए प्रक्रिया चल रही है। सभी पीएचसी में दवाओं की आपूर्ति कर दी गई है। सभी पीएचसी के प्रभारियों को बताया गया है कि दवा की कमी होने पर शीघ्र सूचना दें। ताकि दवा की आपूर्ति की जा सके।


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