इस अस्पताल में शारीरिक दूरी पालन को किया जा रहा नजरअंदाज, कोरोना संक्रमण की जद में रहते मरीज
समस्तीपुर सदर अस्पताल के ओपीडी में एक-दूसरे से सटकर पूर्जा कटाने दवा लेने की लाइन लगाई जा रही है। वहीं अस्पताल परिसर में प्रवेश करने से थर्मल स्कैनिंग भी नहीं की जाती।
समस्तीपुर, प्रकाश कुमार। कोरोना का संक्रमण लगातार फैल रहा है, लेकिन बाजार से लेकर सरकारी दफ्तरों तक इसे लेकर लोग बेपरवाह हो रहे हैं। यही हाल समस्तीपुर सदर अस्पताल के ओपीडी में देखने को मिल रहा है, जहां शारीरिक दूरी के मपदंड को ताक पर रख इलाज के लिए पूर्जा कटाने, दवा लेने के लिए लंबी कतार लग रही है।
नियमों की हो रही अनदेखी
कोरोना वायरस के संक्रमण को रोकने के लिए सरकारी कार्यालयों में आने वाले सभी लोगों और कर्मचारियों की थर्मल स्कैनिंग जरूरी है। मास्क पहनना तो सबके लिए अनिवार्य किया गया है। लेकिन समस्तीपुर सदर अस्पताल में इन नियमों का पालन नहींं किया जा रहा है। सरकारी दफ्तरों में खुद को बचाने की खातिर अधिकारी और कर्मचारी तो पूरी तरह से सतर्क हैं। टेबल पर सैनिटाइजर भी रखे हुए हैं, लेकिन मरीजों और उनके स्वजनों के लिए शारीरिक दूरी का नियम भूल गए हैं।
थर्मल स्कैनिंग की व्यवस्था नहीं
सदर अस्पताल के ओपीडी में प्रत्येक दिन तीन सौ से अधिक मरीज इलाज के लिए पहुंचते हैं। इनके साथ इनके स्वजन भी रहते हैं। ओपीडी के मुख्य द्वार पर गार्ड की तैनाती कर दी गई है। गार्ड बिना मास्क वाले को तो जरूर रोकते हैं। लेकिन थर्मल स्कैनिंग की व्यवस्था नहीं है।
सिविल सर्जन कार्यालय में भी पाबंदी नहीं
यही हाल सिविल सर्जन कार्यालय का भी है। कार्यालय में अधिकारी व कर्मचारी तो अपनी सुरक्षा को लेकर मास्क लगाकर ड्यूटी करते है। सैनिटाइजर का भी उपयोग करते है। लेकिन, कार्यालय में प्रवेश करने वाले बाहरी लोगों पर किसी तरह की पाबंदी नहीं दिखती है।
अस्पताल प्रशासन की उचित व्यवस्था नहींं
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कोरोना संक्रमण से बचने के लिए मास्क पहनने और सार्वजनिक जगहों पर दो गज की शारीरिक दूरी को जरूरी बताया है। उन्होंने इसकी अहमियत पर चर्चा की। इसे सोशल वैक्सीन कहकर संबोधित किया। यह भी कहा कि बीमारी से संबंधित वैक्सीन जब आएगा तब आएगा, फिलहाल सोशल वैक्सीन का इस्तेमाल करना है। सदर अस्पताल के ओपीडी में इलाज के लिए पहुंचीं महिला मरीज मास्क तो लगाकर रहतीं हैं। लेकिन शारीरिक दूरी का पालन नहींं करतीं हैं। अस्पताल प्रशासन ने भी इस पर उचित व्यवस्था नहीं की है। ओपीडी में सभी एक-दूसरे से सटकर खड़ी रहतीं हैं। महिला वार्ड में इलाज के क्रम में भी भीड़ की वजह से सभी एक दूसरे से सटकर लाइन में लगी रहती हैं। यहां शारीरिक दूरी का पालन नहीं किया जा रहा है।