Move to Jagran APP

मुजफ्फरपुर सदर अस्पताल के एमसीएच भवन में शुरू हुआ शिशु वार्ड, चार बच्चे भर्ती

शिशु रोग विशेषज्ञ व महिला चिकित्सक नियमित राउंड देते रहें। किसी भी तरह की दवा व इलाज में संकट नहीं होना चाहिए। जो महिला यहां पर प्रसव के लिए आएं उनकी सेवा हो। रेफर करने से पहले एसकेएमसीएच के महिला या शिशु रोग विभागाध्यक्ष से मोबाइल पर बात की जाए।

By Ajit KumarEdited By: Published: Thu, 09 Sep 2021 12:45 PM (IST)Updated: Thu, 09 Sep 2021 12:45 PM (IST)
मुजफ्फरपुर सदर अस्पताल के एमसीएच भवन में शुरू हुआ शिशु वार्ड, चार बच्चे भर्ती
दस महिलाओं का हुआ प्रसव, एक सप्ताह में बढ़ा रुझान। फाइल फोटो

मुजफ्फरपुर, जागरण संवाददाता । सदर अस्पताल में बंद पड़े मातृ-शिशु सदन में मातृ एवं शिशु का इलाज चल रहा है। चार बच्चों को भर्ती किया गया। इसके साथ दस महिलाओं का प्रसव कराया गया । सिविल सर्जन डा.विनय कुमार शर्मा ने शिशु वार्ड में चल रहे मरीजों के हालत का जायजा लिया । उन्होंने हिदायत दी है कि एमसीएच में शिशु रोग विशेषज्ञ व महिला चिकित्सक नियमित राउंड देते रहें। किसी भी तरह की दवा व इलाज में संकट नहीं होना चाहिए । जो महिला यहां पर प्रसव के लिए आएं उनकी सेवा हो। रेफर करने से पहले एसकेएमसीएच के महिला या शिशु रोग विभागाध्यक्ष से मोबाइल पर बात की जाए । 

loksabha election banner

लक्ष्य में पिछडऩे पर डीएम ने बंद किया था वेतन, पटरी पर अब सिस्टम

मातृ-शिशु के बेहतर इलाज के लिए राज्य स्तर पर चल रहे लक्ष्य कार्यक्रम के तहत एमसीएच का दस अगस्त को प्रमाणीकरण होना था । उस समय तक मातृ-शिशु सदन व्यवस्थित नहीं था । शिशु वार्ड में ताला लटका था। यहां समय पर सही सही रोस्टर का पालन और बच्चों के इलाज सुविधा नदारद थी । 31 अगस्त को समीक्षा बैठक में जिलाधिकारी प्रणव कुमार ने सख्ती बरती । उपाधीक्षक के साथ डा.सुषमा आलोक, डा.रश्मि रेखा व डा.प्रीति के सात दिनों के वेतन पर रोक लगा दी। उसके बाद सभी सक्रिय हुए। इस बीच सिविल सर्जन डा.विनय कुमार शर्मा ने नए रोस्टर को लागू किया। एक सितंबर से यहां महिलाओं का प्रसव व सिजेरियन हो रहा है। ज‍िससे परेशानी कम  होती जा रही है।

प्र्रसूता व शिशु के इलाज की मिल रही सुविधा

- आधुनिक सुविधायुक्त वातानुकूलित वार्ड में इलाज।

- 24 घंटे बेड पर ही आक्सीजन, चिकित्सक, एएनएम की सुविधा

- हर तरह की दवा व इलाज बिल्कुल मुफ्त, प्रसूता को एक हजार से 1400 रुपये प्रोत्साहन राशि।

- प्रसूता को घर से लाने व पहुंचाने के लिए नि:शुल्क एंबुलेंस की सेवा  


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.