दरभंगा: अब मोबाइल एप के जरिए उपलब्ध होगी सड़क दुर्घटना से संबंधित जानकारी
Darbhanga News दरभंगा जिले के कमतौल थाना परिसर में पुलिस पदाधिकारियों को दिया गया सड़क दुर्घटनाओं में कमी लाने के लिए प्रशिक्षण सड़क दुर्घटना की जानकारी अब एप पर भी दर्ज करेंगे पुलिस पदाधिकारी एक साथ मिलेगी कई विभाग को सूचना।
दरभंगा (कमतौल), जासं। कमतौल पुलिस अंचल के पुलिस कर्मियों को कमतौल थाना परिसर में सड़क दुर्घटनाओं में कमी लाने के लिए प्रशिक्षण दिया गया। यातायात पुलिस उपाधीक्षक सह सड़क सुरक्षा के जिला नोडल पदाधिकारी बिरजू पासवान ने पुलिस पदाधिकारियों को प्रशिक्षण देते हुए कहा कि सड़क दुर्घटनाओं में कमी लाने के लिए सरकार कृत संकल्पित है। इसे लेकर सरकार के निर्देश पर सभी थानों के पुलिस पदाधिकारियों व कर्मियों को प्रशिक्षण दिया जा रहा है। इसमें नए डिवाइस का संचालन कैसे करना है यह भी बताया जा रहा है।
कहा कि सड़क दुर्घटना से संबंधित सभी जानकारी मोबाइल एप के जरिए उपलब्ध होगी।
सड़क दुर्घटना कहां, कब और कैसे हुई, दुर्घटना में कितने लोगों की मृत्यु हुई, कितने चोटिल हुए इसका डेटाबेस तैयार किया जाएगा। इसके बाद एप के जरिए दुर्घटना से जुड़ी सभी विवरण आसानी से उपलब्ध हो जाएंगी। उन्होंने पुलिस पदाधिकारियों को सड़क दुर्घटनाओं के कारणों को उल्लेख करने को कहा। इसमें सड़क की बनावट में दोष, अत्यधिक दुर्घटना होने वाले स्थल की सड़क के किनारे यातायात से संबंधित पहचान चिन्ह का उल्लेख (गति सीमा, मोड़) नहीं होना आदि जानकारी भी देने को कहा।
इधर, डिस्ट्रिक्ट राल आउट मैनेजर (डीआरएम) सुनील कुमार ने बताया कि यह आइआरएडी मोबाइल एप है। इसके माध्यम से किसी भी तरह की सड़क दुर्घटना की जानकारी प्राप्त होगी, जिसमें पुलिस, स्वास्थ्य विभाग, परिवहन विभाग एवं पथ विभाग को भी शामिल किया गया है। मौके पर सर्किल इंस्पेक्टर बसंत कुमार झा, प्रशिक्षु डीएसपी सह कमतौल थानाध्यक्ष सर्वेश चंद्र, जाले के थानाध्यक्ष यशोदानन्द पांडेय, सिंहवाड़ा के थानाध्यक्ष अमित कुमार, रैयाम के संजय कुमार ङ्क्षसह सहित संबंधित सभी थाना के पुलिस पदाधिकारी उपस्थित थे।
फोल्डर जमा नहीं करने वाले शिक्षकों के खिलाफ होगी सख्त कार्रवाई
दरभंगा। निगरानी जांच के लिए अपने शैक्षणिक, प्रशैक्षणिक, अनुभव , विकलांगता प्रमाण पत्र और जाति प्रमाण पत्र आदि का फोल्डर जमा नहीं करने वाले नियोजित शिक्षकों पर शिकंजा कसता जा रहा है। निगरानी द्वारा प्रमाण पत्रों को लेकर प्राथमिकी दर्ज होने के बावजूद जो शिक्षक कार्यरत है उन्हें भी स्कूल से बाहर का रास्ता दिखाने का उपाय हो रहा है। जिला शिक्षा पदाधिकारी ने स्थापना के जिला कार्यक्रम पदाधिकारी से ऐसे सभी शिक्षकों , पुस्तकालय अध्यक्षों का विवरण विद्यालय का नाम, नियोजन इकाई का नाम , कार्यरत हैं या विद्यालय छोड़ चुके हैं , बर्खास्त किया गया है या नहीं आदि का विवरण विहित प्रपत्र में तलब किया है ।
जिला शिक्षा पदाधिकारी विभा कुमारी ने स्पष्ट किया है कि निगरानी जांच के लिए जिन शिक्षकों ने या नियोजन इकाई ने फोल्डर जमा नहीं किया है उनके खिलाफ भी प्राथमिक दर्ज कराने का आदेश पहले भी दिया गया था । इसके बावजूद अभी तक जिले के एक हजार से अधिक शिक्षकों का फोल्डर निगरानी जांच के लिए जमा नहीं हो सका है । इतना ही नहीं ऐसे शिक्षक विद्यालय में बने हुए हैं और वेतन की निकासी भी की जा रही है । जबकि ऐसे शिक्षकों को पहले ही सेवामुक्त करते हुए उनके खिलाफ प्राथमिक दर्ज हो जानी चाहिए थी। इस लिए जितने भी शिक्षक के विरुद्ध प्राथमिक दर्ज है उनके संबंध में विस्तृत विवरण उपलब्ध कराया जाए, ताकि उनकी सेवामुक्ति के लिए आवश्यक कार्रवाई की जाए। इसके अलावा जिन शिक्षकों का फोल्डर निगरानी जांच के लिए जमा नहीं किया गया है वे विद्यालय में रहकर वेतन आदि का भुगतान प्राप्त कर रहे हैं या नहीं। ऐसे शिक्षकों की विवरणी भी नियोजन इकाईवार उपलब्ध कराने का निर्देश दिया गया है।