बिहार इंटरमीडिएट-मैट्रिक परीक्षा 2022 से पहले विद्यार्थियों के लिए यह काम करना जरूरी, नहीं तो...
Bihar Intermediate Examination 2022 Bihar Matriculation Examination 2022 स्वास्थ्य विभाग के राज्य अपर मुख्य सचिव प्रत्यय अमृत ने जिला शिक्षा पदाधिकारी के साथ सिविल सर्जन-सह-सदस्य सचिव को भी पत्र भेजा है। जिसमें परीक्षा से पहले टीकाकरण कराने को कहा गया है।
मुजफ्फरपुर, जासं। Bihar Intermediate Examination 2022, Bihar Matriculation Examination 2022: इंटर-मैट्रिक परीक्षा के पहले 10वीं, 11वीं और 12वीं के सभी विद्यार्थियों को कोविड निरोधी टीके लगाने का आदेश दिया गया है। स्वास्थ्य विभाग के राज्य अपर मुख्य सचिव प्रत्यय अमृत ने जिला शिक्षा पदाधिकारी के साथ सिविल सर्जन-सह-सदस्य सचिव को भी पत्र भेजा है। कहा है कि मैट्रिक से इंटरमीडिएट तक (10, 11 और 12वीं) की परीक्षा (सभी बोर्ड, बिहार बोर्ड / सीबीएसई/आइसीएसई) का संचालन किया जाना है। इसमें 15 से 18 वर्ष आयुवर्ग के परीक्षार्थी सम्मिलित होते हैं। टीका लगने पर कोरोना संक्रमण से रोकथाम होगा। जिला एवं प्रखंड स्तर पर प्रतिदिन शाम को बैठक के दौरान उपरोक्त कार्यों की समीक्षा अनिवार्य रूप से की जाए। वैसे विद्यालय, जिनके द्वारा शत-प्रतिशत टीकाकरण का लक्ष्य प्राप्त कर लिया गया है, उन्हें गणतंत्र दिवस पर सम्मानित किया जाए।
छोटे बच्चे में कोरोना के लक्षण तो होगी जांच
मुजफ्फरपुर : कोरोना के लक्षण वाले बच्चे की जांच कराई जाएगी। इसके लिए सरकारी अस्पताल के साथ निजी अस्पताल संचालकों को पूरी निगरानी रखने की सलाह दी गई है। सिविल सर्जन डा. विनय कुमार शर्मा ने कहा कि अबतक इस जिले में एक भी बच्चा कोरोना पाजिटिव नहीं मिला है। इसके बाद भी सतर्कता बरती जा रही हैं। पाजिटिव मिलने पर बच्चों को एसकेएमसीएच में रेफर किया जाएगा। वहां विशेष वार्ड काम कर रहा है। इसके अलावा सदर अस्पताल में भी इलाज की सुविधा है। सीएस ने कहा कि दो दिन पहले एक संक्रमित बच्चा मिला जो मोतिहारी का बताया गया। बिना सूचना के वह एसकेएमसीएच से गायब हो गया है।
कोरोना जांच व टीकाकरण को ले कुढऩी और कटरा प्रभारी का वेतन बंद
मुजफ्फरपुर : कोरोना जांच व टीकाकरण की गलत रिपोर्ट देने वाले पर सख्ती की जा रही है। म़ुशहरी पीएचसी से लगातार शिकायत मिल रही थी कि दूसरी खुराक लिए बिना ही पूर्ण टीकाकृत बता दिया गया। अब एक बार फिर इस पीएचसी में बिना जांच के लिए संक्रमित का मैसेज भेजा जा रहा है। इसकी समीक्षा के बाद सिविल सर्जन डा.विनय कुमार शर्मा ने चेतावनी दी कि कोरोना की सही तरीके से जांच, टीकाकरण लक्ष्य को सही तरीके से पूरा करना है। बिना टीका दिए अगर किसी को रिपोर्र्ट नहीं जानी चाहिए। अलग-अलग तरीके से लापरवाही सामने आने पर मुशहरी के वेरिफायर पर एफआइआर, कुढऩी और कटरा के पीएचसी प्रभारी का वेतन बंद करने तथा कांटी के स्वास्थ्य प्रबंधक को सेवा से बर्खास्त करने का आदेश दिया गया है। सभी पीएचसी प्रभारी से जवाब-तलब किया गया है।
इस तरह से सामने आई लापरवाही
सिविल सर्जन ने बताया कि मुशहरी के मणिका विशुनपुर चांद के उच्च माध्यमिक विद्यालय के 40 से अधिक बच्चों को बिना जांच कोविड निगेटिव बता दिया गया है। इस शिकायत के बाद स्कूल में वैक्सीनेशन का गलत वेरिफाई करने वाले वेरिफायर पर एफआइआर दर्ज की जाएगी। सिविल सर्जन ने बताया कि जांच कराई गई। पीएचसी प्रभारी ने जांच रिपोर्ट में वेरिफायर की गलती पाई है। सीएस ने कहा कि कोरोना वैक्सीनेशन में सबसे खराब प्रदर्शन करने वाले कुढऩी और कटरा के प्रभारी का वेतन रोक दिया गया है। कांटी के अस्पताल प्रबंधक को पद से बर्खास्त करने की अनुशंसा मुख्यालय से की गई है। टीकाकरण में सबसे खराब प्रदर्शन कटरा का है। कुढऩी पीएचसी भी नीचे से दूसरे नंबर पर है। इनसे बार-बार शोकाज पूछने के बावजूद वहां वैक्सीनेशन का आंकड़ा नहीं बढ़ रहा है। इसे लेकर दोनों प्रभारी का वेतन बंद कर दिया गया है। वहीं कांटी की अस्पताल प्रबंधक की लापरवाही और डीएम की बैठक में उपस्थित नहीं होने समेत अन्य शिकायतों के बाद उन्हें बर्खास्त करने की अनुशंसा मुख्यालय से की गई है।