Move to Jagran APP

एईएस से बचाव को पोस्टर, इर्द-गिर्द पसरी गंदगी

मुजफ्फरपुर एईएस प्रभावित दरियापुर गांव में जगह-जगह स्वच्छता के पोस्टर और इर्द-गिर्द पसरी गंदगी है।

By JagranEdited By: Published: Sun, 23 Feb 2020 01:24 AM (IST)Updated: Sun, 23 Feb 2020 06:11 AM (IST)
एईएस से बचाव को पोस्टर, इर्द-गिर्द पसरी गंदगी
एईएस से बचाव को पोस्टर, इर्द-गिर्द पसरी गंदगी

मुजफ्फरपुर : एईएस प्रभावित दरियापुर गांव में जगह-जगह स्वच्छता के पोस्टर और इर्द-गिर्द पसरी गंदगी है। यहीं के सुबोध पासवान की 10 वर्षीय बेटी निशा कहती है-माइ गे अंगना बहुते मच्छर लगइछ..। खाए के न मन करईछई। बच्ची को डर है कि कहीं वो बीमार न हो जाए। पिछले साल उसकी एक बहन की मौत एईएस से हो गई थी। माता-पिता अभी भी सदमे में हैं। सरकारी मदद के बड़े-बड़े दावे, लेकिन बच्चों के पचके पेट सच्चाई के दे रहे सुबूत। हर आंगन में गरीबी ऐसी कि अगर एक दिन मजदूरी न की तो चूल्हा बंद हो जाएगा।

loksabha election banner

शिक्षा से दूर एईएस प्रभावित कांटी प्रखंड के दरियापुर गांव के लोग पोस्टर पर लिखीं लाइनें पढ़ नहीं सकते। हां, ये जरूर जानते कि ये सरकारी पोस्टर है। पूछने पर कि कोई अधिकारी आए थे, जवाब ना में होता है। स्वच्छता की सच्चाई यही है कि बच्चे बिना हाथ धोये खा लेते। गंदगी में ही बच्चे खेलते हैं।

नल तो लगे पर पानी नहीं : गत वर्ष मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के गांव में आगमन को लेकर प्रशासन ने पूरे इलाके में वो सारी व्यवस्था कर दी थी, जिसे देख वे खुश हो जाएं। एक ही दिन में सभी के दरवाजे पर नल लगा दिए गए, ताकि शुद्ध पानी मिले। नल तो लगे हैं, लेकिन पानी नहीं टपकता। ऐसे में इन परिवारों को दूषित पानी पीना पड़ता। स्वच्छता के लिए सरकार की तरफ से 20 लाख रुपये खर्च किए गए, लेकिन कोई फलाफल नहीं।

पोषण के लिए आदर्श आंगनबाड़ी केंद्र : बच्चों के पोषण के लिए दरियापुर में आदर्श आंगनबाड़ी केंद्र है। करीब 40 बच्चे वहां जाते हैं। सुबोध का कहना है कि गए साल जब बेटी को एईएस हुआ तो आंगनबाड़ी केंद्र लेकर गए, वहां से एसकेएमसीएच। सेविका रानी कुमारी कहती हैं कि प्रत्येक बच्चे पर पोशाक के लिए सालाना चार सौ रुपये मिलता है। इसके अलावा खाद्य सामग्री मिलती है। मेनू के अनुसार बच्चों को खाना दिया जाता है।

------------------

कोट

-'एईएस से बचाव के लिए दरियापुर में लगातार जागरूकता अभियान चलाया जा रहा है। सभी घरों में नल लगाए गए हैं। किन कारणों से पानी नहीं आ रहा, इसकी जांच कराई जाएगी।'

-उमा भारती, बीडीओ, कांटी

------------------


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.